निषाद पार्टी के अध्यक्ष और योगी सरकार में मत्स्य मंत्री डॉ. संजय निषाद ने कहा कि धनंजय सिंह और ब्रजेश सिंह किसी के लिए बाहुबली हो सकते हैं, लेकिन उनके लिए संरक्षक हैं। निषाद पार्टी को बड़ा और खड़ा करने में उनकी बड़ी भूमिका है, यदि कोई कानूनी अड़चन नहीं हुई तो वह उन्हें चुनाव लड़ने का मौका देंगे। निषाद का कहना है कि मछुआ समाज को अनुसूचित जाति में आरक्षण देने का भाजपा का पुराना वादा है, यदि वादा पूरा नहीं हुआ तो भाजपा को इसका जवाब देना होगा। संजय निषाद ने बिहार चुनाव सहित अन्य मुद्दों पर दैनिक भास्कर से विस्तार से बात की। संजय निषाद ने एक बार फिर दोहराया है कि सरकार में ऐसे अफसर बैठे हैं जो बाहर से खुद को कमल के साथ दिखाते हैं लेकिन अंदर से हाथी और साइकिल वाले हैं। ऐसे अफसरों को चिह्नित कर हटाना चाहिए। पढ़िए पूरा इंटरव्यू… सवाल : बिहार चुनाव का आगाज हो गया है, आपकी पार्टी की क्या भूमिका रहेगी? संजय निषाद: हम लोग केंद्रीय नेतृत्व से गवर्न होते हैं। जेपी नड्डा, अमित शाह, पीएम नरेंद्र मोदी राष्ट्रीय स्तर पर राष्ट्र के विकास के लिए काम करते हैं। हम 24 कैरेट के राष्ट्रवादी हैं, मुगलों को मौत के घाट उतारने वाले और भगवान राम को पार उतारने वाले लोग हैं। लोकतंत्र में जीत के माध्यम से ही समस्या का समाधान हो सकता है। निषाद समाज की समस्या तब ही दूर होगी जब लोकतंत्र में हमारी जीत होगी। बिहार में भी बहार आए, निषाद समाज को आरक्षण का मुद्दा राष्ट्रीय स्तर का मुद्दा है। बिहार के 18 फीसदी निषाद एनडीए के साथ रहेंगे। सवाल: क्या अमित शाह, जेपी नड्डा आपका भी राष्ट्रीय नेतृत्व है? संजय निषाद: हमें जॉइन तो जेपी नड्डा साहब ने कराया था। हम लोग 2017, 2018 में भाजपा से अलग चुनाव लड़े थे, हम 2019 में भाजपा के साथ आए। हमें तो शीर्ष नेतृत्व जहां कहता है वहीं हम जाते हैं। जितनी भी संवैधानिक समस्याएं थीं चाहे वह राम मंदिर का मुद्दा हो या जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 की समाप्ति हो, यह मुद्दे भाजपा ने ही सुलझाए हैं जबकि अन्य दल इन मुद्दों को उलझा रहे थे। सवाल: पिछले दिनों एक आदेश के तहत जातियों का नाम लिखने पर रोक लगाई गई थी, आपने इसका विरोध भी किया था, अब क्या कर रहे हैं? संजय निषाद: निषाद, ठाकुर, ब्राह्मण यदि जाति नहीं लिखेगा तो क्या करेगा, इन्हें जाति मानें या धर्म। अभी क्षत्रिय महासभा का सम्मेलन हुआ था तो कौनसा उन पर मुकदमा हो गया। जाति के नाम पर एक होना चाहिए। जैसे सामाजिक न्याय समिति की रिपोर्ट कहती है कि ओबीसी के 27 फीसदी आरक्षण पर मिल्क मैन का कब्जा है, एससी के 22 फीसदी आरक्षण पर लैदर-मैन का कब्जा है। तो अदर मैन कहां जाएगा? यदि धोबी, पासी, वाल्मीकि एकत्रित नहीं हुआ तो क्या करेंगे? केवट, मल्लाह एकजुट नहीं होगा तो क्या करेगा। यदि हाथी और मिल्क-मैन को सभी का हिस्सा खिलाना हो तो इस तरह की रोक लगाएं। सामाजिक न्याय समिति की रिपोर्ट कहती है कि यादव और जाटव अपनी संख्या से सौ गुना से अधिक सरकारी नौकरियों पर कब्जा किए हैं। कब्जा वापस लेने के लिए समूह में एकत्रित होना होगा, यदि कब्जा कराना हो तो जाति लिखने पर रोक लगाएं। सरकार को इसके खिलाफ अपील में जाना चाहिए, विचार करना चाहिए। सरकार को इन जातियों के साथ खड़े रहना चाहिए। सवाल: पंचायत चुनाव में निषाद समाज की क्या भूमिका रहेगी? संजय निषाद: पंचायत चुनाव बिना सिंबल का होता है, जब सदस्य जीतकर आते हैं तो ब्लॉक प्रमुख और जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए गठबंधन करेंगे। सदस्य का चुनाव अलग लड़ेंगे, यदि भाजपा कहेगी तो तालमेल मिलाया जाएगा। सवाल: आप कहते हैं कि सरकार में सपा के अधिकारी बैठे हैं, तो क्या आपने उन अफसरों के खिलाफ कार्रवाई के लिए सरकार से बात की? संजय निषाद: अभी देखिए अधिकारियों ने जाति नहीं लिखने का आदेश जारी कर दिया, अभी क्षत्रिय महासभा की बैठक हुई है यदि उन पर मुकदमा दर्ज होता तो प्रदेश का क्षत्रिय तो नाराज हो जाता। अभी जिन जातियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा क्या वह भाजपा के साथ रहेंगी, यह आदेश वही अधिकारी जारी कर रहे हैं जो सरकार को नुकसान पहुंचा रहे हैं? जापान में एक लड़की को स्कूल ले जाने और लाने के लिए ट्रेन चलती है लेकिन यहां स्कूल बंद करा दिए गए हैं। यदि कोई स्कूल चल रहा था तो उसे प्राइवेट को देते थे, अब बच्चे दस किलोमीटर स्कूल जाएंगे। यह छोटे-छोटे निर्णय काफी प्रभावित करते हैं, अधिकारी तो वोट मांगने जाते नहीं हैं, अधिकारी ऐसे निर्णय लेते हैं कि वोट खराब हो जाए। 2020 में चौरीचौरा में दो निषाद ब्लॉक का चुनाव जीते थे, दूसरे दिन प्रमाण पत्र लेने गए तो यादव अधिकारी ने उनका प्रमाण पत्र ही बदल दिया। जब जिले के निषादों ने आंदोलन किया तो वह एसडीएम जेल गया था, जब उससे पूछा गया तो उसने कहा कि सरकार आएगी तो वापस बहाल हो जाएंगे, हमारा काम ही यह है। सोचिए कि यदि इस सोच के लोग तहसील, कचहरी और थाना में रहेंगे तो क्या होगा? अंदर से हाथी-साइकिल है बाहर से कमल है, लेकिन जब वह नुकसान करते हैं तो पता चलता है। सीएम योगी समय-समय पर ऐसे अफसरों के खिलाफ कार्रवाई भी करते हैं। ऐसे अफसरों को चिह्नित कर हटाना जाहिए। सवाल: आप बीजेपी के नेताओं की बयानबाजी से नाराज थे, क्या कुछ सुधार आया है अब? संजय निषाद: अभी बहुत कुछ सुधार हुआ है। कुछ आयातित नेता हैं, उनका काम ही है कि सत्ता में साथ आना और मलाई खाना। जो नेता सपा के साथ रहा हो तब निषादों का आरक्षण छीन लिया, बहनजी ने जमीन छीन ली थी। अब वही लोग भाजपा को गुमराह कर रहे हैं कि झउआ भर वोट हैं, पौव्वा पीएगा और वोट दिलाएगा। 2019 और 2022 में निषाद ने भाजपा को ऐतिहासिक जीत दिलाई है। निषाद नेता आरक्षण पर क्यों नहीं बोलते हैं। आरक्षण के मुद्दे पर भाजपा 45 सीट हार गई, हम भाजपा के सहयोगी हैं इसलिए यह हमारी भी हार है। हमने निषाद का महत्व बढ़ाया है, निषाद पार्टी के कारण उनकी पूछ हो रही है। भाजपा को अपने कैडर लीडर को आगे बढ़ाना चाहिए जो संघ से आया हो। दूसरे दल से आए हैं उन्हें अवसर नहीं दें। सवाल: आपका 2019 से बीजेपी से गठबंधन है, आपकी मांगों को कितना पूरा किया गया जिनके लिए आपने निषाद समाज से बीजेपी को वोट देने की अपील की थी? संजय निषाद: यह भाजपा का खुद का मुद्दा है। मछुआ विजन 2014 में बनाया था। योगी जी खुद आवाज उठाते रहे हैं कि निषाद को एससी में आरक्षण मिलना चाहिए। आज जब भाजपा खुद सरकार में है, मैं तो वकील हूं अपनी मांग करूंगा। जवाब तो भाजपा को देना होगा। पहली बार है कि सीएम योगी ने आरजीआई को पत्र लिखा है। आरजीआई ने कह दिया है कि केवल, मल्लाह, माझी को एससी में आरक्षण दिया। सामाजिक न्याय अधिकारिता मंत्रालय इसका नोडल विभाग है, भाजपा को इसे हल करना चाहिए। हमारा कहना है कि ओबीसी से हमारा नाम खारिज करो और अनुसूचित में जोड़ने का आदेश जारी करो। राज्यपाल और राष्ट्रपति ने भी आदेश दिया है, इसका पालन करना चाहिए। इससे 2027 की जीत आसान हो जाएगी। सवाल: बाहुबली धनंजय सिंह और ब्रजेश सिंह आपके संपर्क में हैं, क्या आपकी पार्टी उन्हें टिकट देगी? संजय निषाद: कांग्रेस, सपा का कितना आतंक था कि वह किसी दूसरे दल को खड़ा नहीं होने देते थे। हमारे लोगों पर मुकदमा दर्ज किया जाता था। यह लोग आपके लिए बाहुबली हो सकते हैं, लेकिन यह लोग उस समय हमारे संरक्षक रहे हैं, हमारी पार्टी को खड़ा-बड़ा करने में उनकी भूमिका है। हमारे समाज को संरक्षण दिया था। यदि उन लोगों ने साथ दिया है कि वह हमारे मित्र हैं। यदि न्यायालय रोकेगा तो रुक जाएंगे, लेकिन लोकतंत्र में मिलना-जुलना जारी रहना चाहिए। वह लोग सरकार के साथ हैं, हम भी सरकार के साथ हैं। --------------------- ये खबर भी पढ़ें... महिला बोली- कामदगिरि की परिक्रमा से दूर हुई गरीबी:जो मांगते हैं, मिलता है; दिवाली तक चित्रकूट 40 लाख श्रद्धालु आएंगे ‘हम पिछले 16 साल से रोज कामदगिरि पर्वत की परिक्रमा कर रहे हैं। यह हमारी आस्था का प्रतीक है। यहां आने के बाद हम एक विशेष ऊर्जा से भर जाते हैं। हम सामाजिक और जनहित में जो भी काम करते हैं। ऐसा लगता है कि उसमें हमें यहां की ईश्वरीय शक्ति सहयोग करती है। आगे हमेशा ऐसे ही करते रहेंगे।’ ये कहना है श्रद्धालु अक्षांश पंडित का। अक्षांश की ही तरह ही हजारों लोग चित्रकूट के कामदगिरि पर्वत की परिक्रमा कर रहे हैं। दीपावली तक इस परिक्रमा में शामिल होने वाले लोगों की संख्या 40 लाख तक पहुंच जाती है। पढ़ें पूरी खबर
हरियाणा के रोहतक में मगन सुहाग सुसाइड केस में आरोपी पत्नी दिव्या को हाईकोर्ट से राहत मिल गई है। हाईकोर्ट ने 9 शर्तों पर दिव्या को नियमित जमानत दी है। साथ ही निर्देश दिए कि अगर दिव्या निर्देशों का उल्लंघन करती है तो उसकी जमानत को रद्द किया जा सकता है। बता दें कि गांव डोभ निवासी मगन सुहाग ने 18 जून को फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली थी। मरने से पहले मगन ने वीडियो बनाकर अपनी मौत के लिए पत्नी दिव्या व महाराष्ट्र पुलिस के सिपाही दीपक को जिम्मेदार ठहराया था। इस मामले में दिव्या की जमानत याचिका पर रोहतक एडिशनल सेशन कोर्ट में 4, 8, 9,11 व 19 सितंबर को सुनवाई हुई, जिसमें याचिका को खारिज कर दिया गया। अब हाईकोर्ट से जमानत मंजूर हुई है। दिव्या को इन बिंदुओं पर मिली जमानत दिव्या के वकील ने जमानत के लिए दी यह दलील-दिव्या के वकील राहुल सिंगला ने जमानत के लिए हाईकोर्ट में लगाई याचिका में कहा कि दिव्या 3 महीने 5 दिन से हिरासत में है। सह-अभियुक्त दीपक, जो उसका दोस्त बताया जा रहा है, उसे 9 जुलाई को अंतरिम जमानत दी गई थी, जिसकी पुष्टि 4 सितंबर को हुई। दिव्या का पति मगन नशे का आदी और बेरोजगार था, उसकी कमाई की मांग करता था। वकील राहुल सिंगला ने याचिका में कहा कि दिव्या के खिलाफ ऐसा कोई आरोप नहीं है जिससे उसका मामला धारा 45 बीएनएस के तहत परिभाषित उकसावे की परिभाषा के अंतर्गत आता हो। वीडियो फुटेज की अभी तक कोई एफएसएल रिपोर्ट नहीं है। चालान 28 अगस्त को पेश किया गया है, आरोप अभी तय होने बाकी हैं और कुल 20 अभियोजन पक्ष के गवाह। वह किसी अन्य मामले में शामिल नहीं है। अब जानिए…पुलिस पूछताछ में दिव्या ने क्या बातें कबूलीं
दिल्ली- मेरठ रोड पर मोदीनगर कस्बे से 3500 मीटर की दूरी पर लतीफपुर तिबड़ा गांव की रुबी चौधरी हत्याकांड ने पूरे गाजियाबाद को हिलाकर रख दिया। एक सप्ताह पहले मंगलवार सुबह गाजियाबाद राजनगर एक्सटेंशन स्थित अजनारा सोसायटी में गैंगस्टर रुबी चौधरी की उसी के पति गैंगस्टर विकास चौधरी ने गोली मारकर हत्या कर दी। रुबी पिछले 5 सालों में इसलिए चर्चित रही है कि भी भाई की हत्या कराने वाले की सुपारी दी तो कभी गैंगस्टर में वह पति के साथ जेल के सलाखों में पहुंची। भाई की मौत का ऐसा बदला लेने के लिए जिस पति को शूटर बनाया, उसी के हाथों खुद की भी जान गंवा बैठी। पिता की थी आसपास इलाके में पहचान रुबी के पिता की सत्ते सिंह की तिबड़ा गांव और आसपास के इलाके में एक जमींदार किसान के तौर पर पहचान थी। एक समय 20 बीघा जमीन ऑन रोड थी, लेकिन उनकी मौत के बाद ही इस परिवार का रसूख भी जरायम की दुनिया में बदल गया। 2019 में इकलौते बेटे की हत्या हुई तो घर में ताला लटक गया। 2013 में बीमारी से सत्ते सिंह की मौत हो गई, 2019 में इकलौते बेटे दीपेश चौधरी की हत्या कर दी गई। 2020 में भाई की हत्या करने वाले अक्षय की हत्या हुई तो सत्ते सिंह की बड़ी बेटी रुबी चौधरी, पति विकास और रुबी की मां करुणा को भी जेल जाना पड़ा। तीनों करीब ढाई साल तक जेल में रहे। 2023 में जमानत हुई तो रबी और पति विकास को पुलिस ने फिर गैंगस्टर में जेल भेज दिया। रुबी की हत्या में पति विकास चौधरी ने मुजफ्फरनगर कोर्ट में एक मामले में कोर्ट में सरेंडर किया। जिसे पुलिस अब रिमांड पर लेकर हत्या में प्रयुक्त हथियार बरामद करने के साथ पूछताछ करेगी। यकीन नहीं कि दामाद बेटी की जान ले लेगा तिबडा गांव में जब पता चला कि पति ने ही गाजियाबाद शहर में रुबी चौधरी की गोली मारकर हत्या कर दी तो उस समय रुबी की मां अरुणा घर के ऊपरी मंजिल पर थीं। जहां उनके ही भतीजे प्रमोद ने यह जानकारी उन्हें दी। जिसके बाद मां छत पर ही हाथ पर हाथ रखकर बैठ गईं, फिर रोते हुए कहा कि पहले इकलौता बेटा चला गया। अब मेरी बेटी भी चली गई। मैंने कौन सा बदनसीब देखा है, बेटे के मर्डर के बाद बेटी रुबी ही सारे कोर्ट और कचहरी के काम देखती थी, लेकिन विकास तूने यह क्या कर दिया। रुबी की हत्या कर पति विकास चौधरी फरार है, जहां रुबी की 13 साल और 11 की बेटी अपनी नानी करुणा के पास पहुंच गईं। मां अभी भी कहती हैं कि मुझे यकीन नहीं होता कि दामाद मेरी बेटी की जान ले लेगा.. 2019 से पहले उसने मेरी बेटी रुबी को कभी तू भी नहीं कहा। मां करुण कहती हैं कि हमनें तो इस घर से बड़ी बेटी रुबी को शान से शादी कर विदा किया था, लेकिन अब तो पूरा परिवार ही बिखर गया। भाई की हत्या का बदला क्या, घर बर्बाद कहिए रुबी चौधरी के पड़ोसी 60 साल के भूरा सिंह बताते हैं कि पूरा परिवार ठीक था, जहां 17 अप्रैल 2019 को रुबी के भाई दीपेश चौधरी की हत्या शराब के ठेके के विवाद में हुई। हत्या करने वाला अक्षय सांगवान भी पड़ोस के ही गांव का था। जिसके बाद रंजिश बढ़ती ही चली गई। उस दिन से ही परिवार की बर्बादी शुरू हो गई। दीपेश की हत्या भी बराबर के गांव के रहने वाले अक्षय सांगवान ने की थी, क्या शराब काे ठेके का विवाद। लेकिन पता नहीं शराब को क्या समझते हैं। इसी में पूरा परिवार शुरू हो गया। इकलौते भाई की हत्या से पहले रुबी चौधरी को जानता भी नहीं था, उसकी शादी 2007 में पति सत्ते सिंह ने खूब पैसा खर्च कर मेरठ के मछरी गांव में विकास चौधरी से की। अपने मायके आती भी कभी हमने पड़ोस के किसी के घर आते जाते नहीं देखा। हमारे गांव की तो वह बेटी ही थी। लेकिन जब भाई की हत्या हुई तो बस अंदर ही अंदर वह बदला लेने की भावना से कहने लगी। जब अगस्त 2020 में दीपेश की हत्या करने वाले अक्षय की हत्या हुई और यहां पुलिस की गाड़ियां आईं तो पता चला कि हत्या रुबी ने अपने पति विकास के साथ मिलाकर कराई। समय ऐसा भी आया कि इस परिवार में 2 साल तक दीया जलाने वाला भी कोई नहीं था। रुबी के भाई मर्डर हो गया, रबी अपने पति विकास के साथ जेल चली गई। रुबी की मां करुणा को भी पुलिस ने जेल भेज दिया। 2023 में जमानत पर बाहर आए तो फिर से पुलिस ने गैंगस्टर में रुबी और इसके पति को जेल भेज दिया। मां बोली मेरे फोटो का क्या करोगे रुबी चौधरी का मकान तिबड़ा गांव के बीचों बीच है। करीब 400 मीटर से अधिक जमीन पर दो मंजिला मकान है। नीचे गांव के लोग बैठे हुए थे। कहा कि मीडिया वाले हो आ जाओ, बैठ जाओ.. लेकिन भाई फोटो वोटो मत लेना। इस परिवार में अब बचा ही क्या है, सब कुछ अखबारों में छप गया। दूसरी मंजिल पर रुबी चौधरी की मां करुणा थीं। बस इतना कहा कि मैने सब कुछ देख लिया। 12 साल पहले पति सत्ते सिंह की मौत हुई। फिर सोचा कि इकलौता बेटा दीपेश है, वह सब संभाल लेगा। लेकिन 2019 में बेटे की भी हत्या कर दी। 2020 में बेटी रुबी जेल चली गई, दामाद जेल चला गया। मैं ढाई साल तक जेल में रही। बस ऊपर वाले से यही कहूंगी कि भगवान ऐसा दिन किसी को मत दिखाना। मां करुणा ने कहा कि मुझे तो पता भी नहीं था कि हत्या हमने कराई है, लेकिन मुझे भी बुढ़ापे में ढाई साल जेल में रहना पड़ा। जमीन के पैसे के लिए हत्या का इशारा गांव और आसपास के लोगों में एक चर्चा यह भी है कि रुबी चौधरी को उसके पति विकास ने पैसे के लिए हत्या कर दी। विकास पहले आता था तो कभी ऐसा नहीं लगा कि वह अपराधी है। साले दीपेश की हत्या करने वाले अक्षय हत्याकांड में वह जेल गया, इसके लिए भी रुबी ने ही उसे उकसाया था। रुबी के पिता की मौत के बाद करीब 13 बीघा जमीन परिवार ने बेच दी। अब 6 बीघा जमीन ऑन रोड है जिसकी कीमत आज करीब 4 करोड़ रुपये से अधिक है। विकास जेल से आया तो वह भी शराब पीने का आदी हो गया, इसलिए ही वह रुबी के साथ मारपीट करने लगा। रुबी को शक होने लगा कि विकास के किसी अन्य महिला से नजदीकी सम्बंध हो गए। इसलिए वह भी शक करने लगी। उसे शक था कि विकास कहीं विदेश न भाग जाए। इसमें प्रोपर्टी का भी कुछ लग रहा है। इस समय विकास जेल में बंद है, जिसने हत्या के 3 दिन बाद मुजफ्फरनगर कोर्ट में सरेंडर किया था।
झांसी में दीपावली पर जमकर फूटे पटाखों ने महानगर की आबोहवा खराब कर दी है। रात होते-होते बारूद के धुआं से आसमान में छा गया। इससे वायु प्रदूषण का स्तर बढ़ गया। सोमवार शाम 7 बजे AQI (एयर क्वालिटी इंडेक्स) 73 दर्ज किया गया था। जो रात 1 बजे 138 पर पहुंच गया। 6 घंटे में AQI 65 बढ़ने से झांसी ऐलो जोन में आ गया है। वायु प्रदूषण के इस स्तर में फेफड़े, अस्थमा और हृदय रोग से पीड़ित लोगों को सांस लेने में तकलीफ होने लगती है। शाम तक ठीक था एक्यूआई सामान्य तौर पर झांसी का पीएम-10 का स्तर 60 से 80 के बीच रहता है, जो कि संतोषजनक स्थिति मानी जाती है। झांसी में प्रदूषण विभाग ने वायु प्रदूषण का स्तर मापने के लिए शिवाजी नगर में यंत्र लगाए हैं। इसके अनुसार, दीपावली यानी सोमवार सुबह 6 बजे एक्यूआई 76 था। पूरे दिन झांसी की स्थिति संतोषजनक बनी रही। रात को पूजा के बाद लोगों ने जमकर आतिशबाजी की। इससे धीरे-धीरे प्रदूषण का स्तर बढ़ने लगा। रात 11 बजे एक्यूआई 107 पहुंचने से झांसी येलो जोन में आ गया। ज्यों ज्यों बारूद का धुआं हवा में धुल रहा है, एक्यूआई भी बढ़ता चला जा रहा है। रात 12 बजे एक्यूआई 124 पहुंच गया। एक घंटे बाद देर रात 1 बजे एक्यूआई 138 पहुंच गया। सांस के रोगी इन बातों का रखें ध्यान मेडिकल कॉलेज के चेस्ट रोग विभागाध्यक्ष डॉ. मधुर्मय शास्त्री का कहना है कि सांस के मरीज धूल से बचाव के लिए मास्क जरूर लगाएं। सांस रोगी दवा की पर्याप्त खुराक लें। इन्हेलर साथ रखें और नियमित उपयोग करें। अगर अस्थमा का अटैक आता है तो तुरंत डॉक्टर को दिखाएं। क्या होता है पीएम-10 पीएम 10 को पर्टिकुलेट मैटर कहते हैं। ये हवा में मौजूद 10 माइक्रोमीटर या उससे कम व्यास वाले छोटे कणों का एक समूह है। इसमें धूल, गर्दा और धातु के सूक्ष्म कण शामिल होते हैं। इससे खांसी, सांस लेने में तकलीफ, हृदय, फेफड़ों से जुड़ी गंभीर बीमारियां होने का खतरा रहता है।
आज आपके घर अखबार नहीं आएगा, लेकिन आपके पास पहुंचने वाली खबरों की रफ्तार नहीं थमेगी। दैनिक भास्कर ऐप पर आपको लखनऊ की हर जरूरी खबर मिलेगी। यहां पढ़िए लखनऊ की कल यानी 20 अक्टूबर की 10 बड़ी खबरें...दीपावली पर जमकर आतिशबाजी हुई। आग लगने की कुछ घटनाएं हुईं। बाजारों में रौनक और ट्रैफिक जाम भी देखने को मिला। दिवाली पर पीजीआई इलाके में दो गुटों में गोली चली। एक युवक घायल हो गया। कृष्णानगर में कारोबारी की पत्नी की संदिग्ध हालात में मौत हो गई। पति, सास, ससुर और ननद के खिलाफ दहेज हत्या का केस दर्ज हुआ... 1. लखनऊ में दिवाली पर जमकर आतिशबाजी: पुलिसवालों ने लक्ष्मण मेला मैदान में बच्चों को मिठाई-पटाखे बांटे, कजाकिस्तान की छात्राओं ने जलाए दीप लखनऊ में धूमधाम से दीपावली मनाई जा रही है। घरों को रंग-बिरंगी रोशनी से सजाया गया है। दोपहर साढ़े तीन बजे बाद शुभ मुहूर्त में लक्ष्मी-गणेश की पूजा शुरू हुई। हजरतगंज पुलिस ने लक्ष्मण मेला मैदान पर गरीब बच्चों को मिठाई और पटाखे बांटे। हजरतगंज चौराहे पर जरूरतमंदों के लिए भंडारा लगाया गया। लखनऊ विश्वविद्यालय में विदेशी छात्राओं ने दीप जलाकर दिवाली मनाई। 2.लखनऊ में कारोबारी की पत्नी की मौत:ससुरालवालों पर FIR; मां बोली- विधानसभा स्पीकर सतीश महाना ताऊ, इसलिए कार्रवाई नहीं लखनऊ में कारोबारी की पत्नी की संदिग्ध हालात में मौत मामले में ससुरालवालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है। दरअसल, महिला की गर्दन पर चोट के निशान थे। पुलिस ने शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा है। मायके वालों का आरोप है कि पति ने 10 लाख के दहेज के लिए हत्या की और शव को अपोलो अस्पताल में छोड़कर भाग गया। पढ़ें पूरी खबर 3.लखनऊ में दिवाली के दिन युवक को गोली मारी: हालत गंभीर; रास्ते को लेकर पड़ोसियों में लाठी-डंडे चले-8 लोग घायल लखनऊ में दिवाली के दिन दो गुटों में गोली चल गई। गोलीबारी में एक युवक के पेट में गोली लगी है। प्रारंभिक सूचना के अनुसार घटना में 9 लोग घायल हुए हैं। घटना पीजीआई थाना क्षेत्र में सोमवार शाम को हुई। पूरी खबर पढ़ें 4.लखनऊ में मोबाइल शॉप में लगी आग: फायर ब्रिगेड की 3 गाड़ियों ने पाया काबू, लाखों का सामान राख आलमबाग क्षेत्र में रविवार देर रात एक मोबाइल शॉप में आग लग गई। दुकान में रखना समान जलकर राख हो गया। मौके पर पहुंची फायर ब्रिगेड की टीम ने आग पर काबू पा लिया। किसी प्रकार की जनहानि नहीं हुई। पढ़ें पूरी खबर 5.दिवाली के दिन तालकटोरा-अलीगंज की हवा खराब: 2 इलाके यलो जोन में, गोमती नगर की हवा सबसे अच्छी लखनऊ में सुबह के समय अलीगंज का वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) ऑरेंज जोन में दर्ज किया गया। इस दौरान AQI 202 रहा। मौसम वैज्ञानिक अतुल कुमार ने बताया कि हवा की रफ्तार कम होने से वाहनों के धुएं, कंक्रीट की धूल और पटाखे जलाने सहित अन्य कारकों से आज शाम से पॉल्यूशन का स्तर बढ़ सकता है। पढ़ें पूरी खबर 6.लखनऊ में दिवाली पर सोने की मिठाई...VIDEO: ₹56 हजार किलो, मिठाई के पेड़ में सजाई गई; दुनिया की पहली AI कस्टमर की कर रही मदद लखनऊ में दिवाली पर पहली बार मिठाई का पेड़ लगा है, जिसे मिठाई वाटिका नाम दिया गया है। छप्पनभोग में दुनिया की पहली AI जनरेटेड स्वीट इंटेलिजेंस असिस्टेंट (SIA) ऑनलाइन मिठाई खरीदने में मदद कर रही है। इस बार सब से महंगी मिठाई एग्जॉटिका (सोने की मिठाई) बाजार में आई है। इसकी कीमत 56 हजार रुपए प्रति किलो है। पूरी खबर पढ़ें 7.लखनऊ में ₹25 हजार में ग्रीन इलेक्ट्रॉनिक पटाखे: ₹5,000 का स्काई शॉट 240 बार धमाका करता है, पिकॉक-चॉकलेट पटाखों की डिमांड दिवाली पर लखनऊ में प्रदेश की सबसे बड़ी रिटेल पटाखा मार्केट लगी है। 54 जगहों पर 1018 लाइसेंसधारी दुकानें सजी हैं। मार्केट में 100 से अधिक प्रकार के पटाखे उपलब्ध हैं। पीकॉक और स्काई शॉट पटाखा ट्रेंड में हैं। अनार, फुलझड़ी, चक्र घिन्नी, चटाई , फैंसी और आसमानी पटाखे भी खूब बिक रहे हैं। चॉकलेट पटाखे की भी डिमांड है। पढ़ें पूरी खबर 8.KGMU के बर्न वार्ड में 35 बेड रिजर्व: लखनऊ के सरकारी अस्पतालों में हाफ-डे, SGPGI-KGMU-लोहिया संस्थान में छुट्टी लखनऊ में दिवाली के दिन यानी आज भी सरकारी अस्पतालों में दोपहर तक OPD का संचालन हुआ। दोपहर 12 बजे तक अस्पताल आने वाले मरीजों का डॉक्टरों ने इलाज किया। मेडिकल कॉलेजों और चिकित्सा संस्थानों में दिवाली के सार्वजनिक अवकाश के कारण OPD नहीं चली। SGPGI, KGMU और लोहिया संस्थान में छुट्टी रही। इमरजेंसी सेवाएं संचालित हुईं। दिवाली को लेकर सभी जगहों पर विशेष इंतजाम किए गए हैं। बेड रिजर्व रखे गए हैं। पढ़ें पूरी खबर 9.दीपावली-छठ पर चल रहीं 145 पूजा स्पेशल ट्रेन:लगाएंगी 2547 फेरे; लखनऊ-मुंबई-दिल्ली-जयपुर के यात्रियों को सुविधा दीपावली और छठ पर्व पर यात्रियों की बढ़ती भीड़ को देखते हुए रेलवे प्रशासन ने खास तैयारी की है। यात्रियों को घर पहुंचने में परेशानी न हो, इसके लिए बड़ी संख्या में पूजा स्पेशल ट्रेनें चलाई जा रही हैं। पढ़ें पूरी खबर 10.दिवाली पर लखनऊ आने वाली फ्लाइटें फुल: पैसेंजर कनेक्टिंग उड़ानों से पहुंचे शहर, मुंबई से लखनऊ आने वालों को नहीं मिली सीधी उड़ान दीपावली पर घर लौटने वालों की भीड़ ने इस बार रेल और हवाई दोनों रास्तों को जाम कर दिया। ट्रेनों में सीट न मिलने से लोग हवाई सफर पर उतरे, लेकिन यहां भी हालात कुछ अलग नहीं रहे। रविवार को मुंबई से लखनऊ आने वाली सभी डायरेक्ट उड़ानें फुल हो गईं। मजबूरन यात्रियों को महंगी कनेक्टिंग फ्लाइटों से सफर करना पड़ा। पढ़ें पूरी खबर
अंबाला शहर के लोगों अब कुछ ही दिनों में खुशखबरी मिलने वाली है। अंबाला छावनी में बने नए एयरपोर्ट का उद्घाटन इसी साल के अंत तक होने जा रहा है। हरियाणा के ऊर्जा, परिवहन एवं श्रम मंत्री अनिल विज ने बताया कि केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एयरपोर्ट के उद्घाटन के लिए स्वीकृति दे दी है। अब केवल तारीख तय होना बाकी है, जिसके बाद औपचारिक रूप से अंबाला एयरपोर्ट को जनता के लिए खोल दिया जाएगा। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह करेंगे उद्घाटन मंत्री अनिल विज ने बताया कि अंबाला एयरपोर्ट का निर्माण केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के सहयोग से ही संभव हो सका। एयरपोर्ट निर्माण के लिए सेना की भूमि की आवश्यकता थी, और रक्षा मंत्री की पहल पर ही वह भूमि नागरिक उड्डयन विभाग को हस्तांतरित की जा सकी। इसी कारण उन्होंने आग्रह किया कि एयरपोर्ट का उद्घाटन भी रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ही करें। उन्होंने खुशी जताते हुए कहा, “अब अंबाला से देश के प्रमुख धार्मिक और पर्यटन स्थलों तक हवाई मार्ग से जुड़ने का सपना साकार होने जा रहा है।” अयोध्या, लखनऊ, जम्मू और श्रीनगर के लिए फ्लाइट अनिल विज ने जानकारी दी कि एयरपोर्ट के प्रारंभिक चरण में अंबाला से अयोध्या, लखनऊ, जम्मू एंड श्रीनगर के लिए उड़ानें शुरू की जाएंगी। यह सभी उड़ानें “उड़ान” योजना के तहत शुरू की जा रही हैं, जिससे आम जनता को सस्ती और सुगम हवाई सेवाएं उपलब्ध हो सकेंगी। विज ने बताया कि अंबाला एयरपोर्ट से यात्रियों को उत्तर भारत के धार्मिक, औद्योगिक और पर्यटन केंद्रों तक सीधा हवाई संपर्क मिलेगा, जिससे शहर के विकास को नई गति मिलेगी। एयरपोर्ट पर पूरी हुई तैयारियां ऊर्जा मंत्री विज ने बताया कि एयरपोर्ट की सभी आवश्यक तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। रन-वे का निर्माण, टर्मिनल बिल्डिंग, कंट्रोल रूम, सुरक्षा व्यवस्था और यात्रियों की सुविधाओं की सभी व्यवस्थाएं अब पूरी तरह से तैयार हैं। नागरिक उड्डयन विभाग के अधिकारी और कर्मचारी यहां पहले ही तैनात कर दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि अंबाला एयरपोर्ट का डिजाइन आधुनिक जरूरतों के अनुरूप तैयार किया गया है। इसमें यात्रियों के लिए प्रतीक्षालय, कैफेटेरिया, इलेक्ट्रॉनिक बोर्डिंग व्यवस्था और पर्याप्त पार्किंग स्पेस जैसी सुविधाएं शामिल हैं। रणनीतिक और आर्थिक दृष्टि से अहम स्थान अंबाला छावनी का भौगोलिक स्थान बेहद महत्वपूर्ण है। यह हरियाणा, पंजाब, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के बीच एक प्रमुख केंद्र के रूप में कार्य करता है। यहां से सड़क, रेल और अब हवाई मार्ग के माध्यम से देश के लगभग हर हिस्से तक पहुंचना आसान होगा। उन्होंने कहा कि अंबाला की औद्योगिक कनेक्टिविटी भी बहुत मजबूत है- यहां से जगाधरी के मेटल उद्योग, पानीपत के टेक्सटाइल उद्योग, गुरुग्राम के आईटी और ऑटोमोबाइल सेक्टर तथा पंचकूला और मोहाली के व्यापारिक क्षेत्रों तक सीधी पहुंच है। इससे व्यापारिक और औद्योगिक गतिविधियों में बड़ा उछाल आने की उम्मीद है। रोजगार और पर्यटन को बढ़ावा एयरपोर्ट के शुरू होने से न केवल स्थानीय लोगों को यात्रा में सुविधा होगी, बल्कि रोजगार के अवसरों में भी बढ़ोतरी होगी। पर्यटन और व्यापार से जुड़े क्षेत्र को सीधा लाभ मिलेगा। विज ने कहा कि अंबाला का यह एयरपोर्ट हरियाणा के लिए आर्थिक दृष्टि से मील का पत्थर साबित होगा। उन्होंने बताया कि स्थानीय स्तर पर होटल, टैक्सी सेवा, ट्रैवल एजेंसी, लोडिंग-अनलोडिंग जैसे कई व्यवसायों में रोजगार बढ़ेगा। नागरिक उड्डयन मंत्रालय से तीन एयरलाइनों को मंजूरी विज ने बताया कि उन्हें केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री का पत्र प्राप्त हुआ है, जिसमें तीन एयरलाइनों को अंबाला से उड़ान भरने की मंजूरी दी गई है। इसके अलावा कई अन्य निजी एयरलाइंस भी यहां से अपनी सेवाएं शुरू करने में रुचि दिखा रही हैं। उन्होंने कहा कि सरकार का लक्ष्य आने वाले समय में अंबाला को उत्तर भारत का एक प्रमुख एयर कनेक्टिविटी हब बनाना है।
पहली बार 51 देशों में अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के रंग देखने को मिलेंगे। इन देशों में महोत्सव के सांस्कृतिक और रंगारंग कार्यक्रम होंगे, जिनका लाइव प्रसारण भी देखा जा सकेगा। विदेश मंत्रालय की तरफ से यह पहल की गई है। इस बार महोत्सव के लिए मध्य प्रदेश को स्टेट पार्टनर बनाया गया है। हरियाणा के कुरुक्षेत्र में 15 नवंबर से अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव का शुभारंभ होने जा रहा है। इस बार महोत्सव की अवधि को भी बढ़ाया गया। पहले महोत्सव गीता के 18 अध्याय की तर्ज पर 18 दिन तक चलता था, मगर इस बार 21 दिनों तक महोत्सव के रंग देखने को मिलेंगे। 5 दिसंबर को महोत्सव का समापन होगा। इन देशों में होंगे कार्यक्रम इंग्लैंड, थाईलैंड, अमेरिका, किर्गीस्तान, मेक्सिको, यूगांडा, जर्मनी, रूस, चिली, प्रिटोरिया (साउथ अफ्रीका), जापान, बांग्लादेश, भूटान, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, मलेशिया, फिजी, हॉन्गकॉन्ग, लिथुआनिया, हंगरी, पौलेंड, चीन, म्यांमार, न्यूजीलैंड, घाना, स्वीट्जरलैंड और स्पेन के शहरों में गीता महोत्सव पर सांस्कृतिक कार्यक्रम होंगे। 15 कंट्री के स्कॉलर लेंगे हिस्सा कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड (KDB) के मानद सचिव उपेंद्र सिंघल ने बताया कि इस बार महोत्सव में 15 से ज्यादा कंट्री के 25 स्कॉलर हिस्सा लेंगे। महोत्सव के मुख्य कार्यक्रम 24 नवंबर से 1 दिसंबर तक होंगे। महोत्सव में 20 से ज्यादा देशों के राजदूत शामिल होंगे। साथ ही 7 देश के शिल्पकार अपनी संस्कृति का रंग बिखेरेंगे। इस बार ज्योतिसर के अनुभव केंद्र को भी महोत्सव के साथ जोड़ा जाएगा। गीता क्विज से शुरुआत महोत्सव की शुरुआत 4 से 14 नवंबर तक ऑनलाइन गीता क्विज और 16 नवंबर को गीता रन का आयोजन होगा। इसके अलावा 15 नवंबर से 5 दिसंबर तक शिल्प और सरस मेला चलेगा और शाम को पुरुषोत्तमपुरा बाग में भजन संध्या व महाआरती होगी। मुख्य कार्यक्रम 24 नवंबर से 1 दिसंबर तक चलेंगे। 25 को यूनिवर्सिटी में सेमिनार 25 नवंबर को कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी में 2 दिवसीय अंतरराष्ट्रीय गीता सेमिनार और ज्योतिसर व सन्निहित सरोवर पर कथा होगी। 28 से 30 नवंबर को गीता श्लोक उच्चारण, वाद-विवाद, निबंध लेखन, पेंटिंग, रंगोली, मेहंदी सहित अन्य प्रतियोगिताएं करवाई जाएंगी। प्रधानमंत्री मोदी के आने की उम्मीद इस कार्यक्रम में पीएम नरेंद्र मोदी के आने की उम्मीद है, नेशनल हाईवे 44 पर उमरी गांव के पास में प्रधानमंत्री का कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा। सीएम नायब सैनी कह चुके हैं कि ज्योतिसर का अनुभव केंद्र बनकर तैयार है। गीता जयंती महोत्सव और अनुभव केंद्र के शुभारंभ के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को निमंत्रण दिया गया है। उम्मीद है कि 24 नवंबर को मोदी महोत्सव का आगाज करेंगे। पिछली बार पहुंचे थे ये बड़े कलाकार पिछले महोत्सव में बॉलीवुड एक्ट्रेस मीनाक्षी शेषाद्रि, आशुतोष राणा, गायक हंसराज हंस, कवि डॉ . कुमार विश्वास, महावीर गुड्डू, रंजू प्रसाद और मनीषा ने अपने कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी थी। इसके साथ-साथ हरियाणा, ओडिशा व तंजानिया के पवेलियन में हरियाणा, ओडिशा व तंजानिया की सांस्कृतिक विरासत भी पर्यटकों ने देखी थी। विभिन्न राज्यों के कलाकारों देंगे प्रस्तुति महोत्सव में जम्मू कश्मीर से लेकर पंजाब, असम, झारखंड, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, मध्यप्रदेश, ओडिशा, गुजरात, महाराष्ट्र, सिक्किम सहित 19 प्रदेशों के लोक कलाकार और शिल्पकार अपनी कला व शिल्पकला की प्रस्तुति देंगे।
बहादुरगढ़ शहर में यातायात सुगमता और दिल्ली से बेहतर कनेक्टिविटी के लिए प्रस्तावित उत्तरी बाईपास (Northern Bypass) परियोजना अब तेजी से आगे बढ़ रही है। इस महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट के पहले चरण का निर्माण कार्य लगभग पूरा होने को है, वहीं दूसरे चरण की तैयारियां भी शुरू हो गई हैं। दूसरे चरण के काम से पहले वन विभाग ने मुंगेशपुर ड्रेन क्षेत्र में खड़े करीब 3 हजार पेड़ों की कटाई के लिए 1.29 करोड़ रुपए का बजट मांगा है। यह राशि पेड़ों की कटाई और पुनः रोपण (replantation) प्रक्रिया में खर्च की जाएगी। सिंचाई विभाग के कार्यकारी अभियंता इशान सिवाच ने कहा कि विभाग ने यह प्रस्ताव मुख्यालय भेज दिया है। स्वीकृति मिलते ही वन विभाग को यह राशि प्रदान कर दी जाएगी और पेड़ों की कटाई का काम शुरू होगा। फेज-2 का एस्टीमेट 125 करोड़ रुपए सिवाच के अनुसार, दूसरे चरण का एस्टीमेट करीब 125 करोड़ रुपए का तैयार किया जा रहा है। इसमें रिटेनिंग वाल, सड़क निर्माण, बिजली व्यवस्था और रेलवे आरओबी (ओवर ब्रिज) का निर्माण शामिल रहेगा। यह चरण सेक्टर-9 बाईपास से नाहरा-नाहरी रोड तक लगभग ढाई किलोमीटर क्षेत्र में फैला होगा। पहले चरण में 225 करोड़ की लागत से निर्माण जारीपरियोजना के पहले चरण में करीब 9 किलोमीटर लंबे हिस्से पर 225 करोड़ रुपए की लागत से कार्य चल रहा है। आसौदा से नाहरा-नाहरी रोड पर ड्रेन के दोनों तरफ रिटेनिंग वाल लगभग बन चुकी है। करीब 21 करोड़ की लागत से इस्कॉन मंदिर के पास बाक्स टाइप ड्रेन बनाई जा रही है। करीब 94 करोड़ रुपए की लागत से सड़क निर्माण का कार्य भी लगभग पूरा हो गया है। वहीं इस प्रोजेक्ट को नाहरा-नाहरी रोड से जोड़ने के लिए 6 करोड़ रुपए का अतिरिक्त एस्टीमेट तैयार किया गया है। यह बामनौली से आने वाले वाहनों को सीधी कनेक्टिविटी देगा। इन वाहनों को नाहरा-नाहरी रोड पर शहर की तरफ आने की जरूरत नहीं होगी। दरअसल अब तक शहर का दक्षिणी बाईपास बना हुआ है। वर्ष 2018 में उत्तरी बाईपास की मांग हुई तो सरकार की घोषणा पर इसका काम शुरू हुआ था। करीब तीन साल पहले इसका निर्माण शुरू हुआ था। बजट स्वीकृति के बाद टेंडर जारी होगाXEN सिवाच ने बताया कि फिलहाल विभाग ने ड्रेन की पैमाइश को लेकर संबंधित अधिकारियों को पत्र भेजे गए हैं ताकि अतिक्रमण हटाने की प्रक्रिया शुरू की जा सके। वन विभाग से पर्यावरण की मंजूरी मिल गई है। करीब 3 हजार पेड़ों की कटाई के बजट की मांग सरकार को भेजी गई है। एस्टीमेट बनाया जा रहा है। एस्टीमेट का भी बजट स्वीकृत होते ही दूसरे चरण का टेंडर जारी कर निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा उधर, वन विभाग के रेंज अफसर श्रीभगवान ढाका ने बताया कि सिंचाई विभाग को ड्रेन किनारे पेड़ों व जमीन को लेकर एस्टीमेट भेज रखा है। बजट मिलते ही आगामी कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल सिंचाई विभाग की ओर से इस दिशा में कोई बजट वन विभाग को जमा नहीं करवाया गया है।
हर साल की तरह इस बार भी दीपावली के बाद श्री राम मंदिर खटलापुरा, जहांगीराबाद में भक्ति और भोग का अद्भुत संगम देखने को मिलेगा। मंदिर परिसर में मंगलवार, 21 अक्टूबर को 183वां विशाल भंडारा, अन्नकूट महोत्सव और दीपोत्सव का आयोजन होने जा रहा है। यह आयोजन श्री राम मंदिर खटलापुरा समिति द्वारा किया जा रहा है। मंदिर परिसर में दिनभर श्रद्धालुओं का तांता लगा रहेगा। आयोजन की शुरुआत प्रातःकालीन पूजा-अर्चना और भगवान श्री राम, लक्ष्मण, सीता और हनुमान जी के मनमोहक श्रृंगार दर्शन से होगी। दोपहर बाद भक्तों के लिए अन्नकूट भंडारे की व्यवस्था की गई है, जिसमें छप्पन भोग के रूप में स्वादिष्ट व्यंजन परोसे जाएंगे। शाम होते ही भक्ति रस में डूबी भजन संध्या का आयोजन होगा, जिसमें स्थानीय और प्रसिद्ध कलाकार प्रभु भक्ति के गीत प्रस्तुत करेंगे। रात को मंदिर परिसर दीपों और रंग-बिरंगी लाइटों से आलोकित होगा। इस दौरान भव्य आतिशबाज़ी भी की जाएगी, जो पूरे जहांगीराबाद और आसपास के क्षेत्र को रोशन कर देगी। समिति के पदाधिकारियों ने बताया कि यह आयोजन 183 सालों से लगातार परंपरा के रूप में मनाया जा रहा है। क्या होता है अन्नकूट महोत्सवअन्नकूट महोत्सव, जिसे गोवर्धन पूजा के नाम से भी जाना जाता है, एक हिंदू त्योहार है जो दिवाली के अगले दिन मनाया जाता है। इस दिन भगवान श्रीकृष्ण ने इंद्रदेव के क्रोध से बृजवासियों की रक्षा के लिए गोवर्धन पर्वत को अपनी उंगली पर उठाया था। इस खुशी में, हर साल अलग-अलग प्रकार के भोजन (जिन्हें 'अन्नकूट' कहा जाता है) बनाकर भगवान को चढ़ाए जाते हैं और बाद में प्रसाद के रूप में सभी में बांटा जाता है।
नारनौल में रेलवे के अंडरपास में भरे पानी से लोग परेशान हैं। शहर में पांच अंडरपास बने हैं। इनमें से दो अंडरपास में बिना बारिश के भी पानी भरा रहता है। जिस कारण शहर में एक तरफ से दूसरी तरफ जाने वाले लोगों को परेशानी हो रही है। शहर में अंडरपास लोगों के लिए सिरदर्द बनते जा रहे हैं। पहले जहां बहरोड़ रोड वाले अंडर पास में पानी जमा होता था, वहीं अब सीआईए रोड वाले अंडरपास में भी पानी भरने लगा है। इस पानी को भरे एक माह से अधिक हो गया है, मगर इसके निकालने की ओर न तो नगर परिषद ध्यान दे रही है न ही रेलवे। शहर बंटा हुआ है दो हिस्सों में रेलवे व दिल्ली-मुंबई फ्रेट कॉरिडोर की लाइन बिछने के बाद शहर दो हिस्सों में बंट गया था। जिसके चलते शहर में रेलवे व कॉरिडोर लाइन कंपनी द्वारा शहर में पांच अंडरपास बनाए थे। इन अंडरपास में मुख्य रूप से नई मंडी नागरिक अस्पताल के सामने बना अंडरपास, गर्ल कॉलेज के पास बहरोड रोड अंडरपास, मोहल्ला खड़खड़ी सीआईए रोड अंडरपास, महता चौक के पास तथा श्याम मंदिर के पास बना अंडरपास शामिल हैं। बिना बारिश भरा रहता है पानी अब बारिश नहीं होने के बावजूद एक माह से सीआईए रोड पर बने अंडरपास पर भी यही समस्या हो गई है। यहां पर लबालब पानी भरा हुआ है। यहां से जाने वाले नागरिक दिपांशु सैनी, दिनेश कुमार, पवन यादव व कुलदीप शर्मा ने बताया कि इस मार्ग से गांव मांदी, गादा गांव, पुरानी मंडी व आसपास के गांवों के लोगों का आना-जाना रहता है, मगर यहां पर दो-तीन दिन से लबालब पानी भर गया है। गर्ल कॉलेज के पास भी यही स्थिति यहां गर्ल कॉलेज के पास बहरोड़ रोड वाले अंडरपास की वजह से लोग बहुत दिनों से परेशान हैं। इस अंडरपास पर भरे पानी का न तो रेलवे कोई समाधान कर पा रही है न ही नगर परिषद के पास इसका कोई उपाय है। यहां के लोग अनेक बार प्रदर्शन कर चुके हैं और अधिकारियों को ज्ञापन भी दे चुके, मगर समस्या का कोई समाधान नहीं हुआ है। वाहन चालक भी परेशान उन्होंने बताया कि इसकी वजह से यहां से न केवल पैदल आने-जाने वाले लोगों को परेशानी हो रही है, बल्कि वाहन चालक भी परेशान हैं। यहां पर इतना पानी जमा हो गया है कि दुपहिया वाहन इसमें फंस रहे हैं। वहीं इसकी शिकायत रेलवे को करने के बाद भी कोई समाधान नहीं हो रहा है। मामला संज्ञान में इस बारे में रेलवे के एक्सईएन जितेंद्र गुर्जर ने बताया कि यह समस्या उनके संज्ञान में है। उन्होंने कॉरिडोर लाइन वालों को इसके बारे में बता दिया है। जल्द ही इसका समाधान हो जाएगा। क्या बोले वार्ड पार्षद इस बारे में वार्ड पार्षद टिंकू ने बताया कि वे इस मामले को कई बार उठा चुके हैं, मगर उनकी समस्या का कोई समाधान नहीं हो पाया है। इसके लिए उन्होंने नगर परिषद चेयरपर्सन कमलेश सैनी से भी बात की है।
लखनऊ के लोगों को जल्द ही ट्रैफिक जाम से बड़ी राहत मिलने वाली है। गोमती नदी के दोनों तटों पर करीब 28 किलोमीटर लंबे फोरलेन ग्रीन कॉरिडोर का निर्माण तेजी से चल रहा है। इसका निर्माण IIM रोड से किसान पथ तक किया जा रहा है। यह प्रोजेक्ट 4 फेज में पूरा होगा। पहले फेज में IIM रोड से पक्का पुल तक की सड़क बन चुकी है। इस रूट से अब वाहनों की आवाजाही शुरू हो चुकी है। अधिकारियों का दावा है कि दिसंबर-2025 तक दूसरे फेज का काम पूरा हो जाएगा। इसके बाद पक्का पुल से पिपरा घाट कनेक्ट हो जाएगा। यह पूरा ग्रीन कॉरिडोर IIM रोड से किसान पथ को जोड़ेगा। इससे लखनऊ के दोनों छोर यानी पूर्वी और पश्चिमी इलाके आपस में कनेक्ट हो जाएंगे। ग्रीन कॉरिडोर प्रोजेक्ट की कुल लागत करीब 2078 करोड़ रुपए आंकी गई है। हाल ही में 15वें वित्त आयोग से 70 करोड़ रुपए का अतिरिक्त बजट स्वीकृत हुआ है। आवास विभाग ने दो पुलों के निर्माण के लिए 60 करोड़ रुपए जारी किए हैं। इस पूरे कॉरिडोर से 10 लाख की आबादी को फायदा मिलेगा। दूसरे फेज में निशातगंज, डालीगंज, हनुमान सेतु और कुकरैल क्षेत्र में काम जारी है। एलडीए इंजीनियरों की मानें तो इन इलाकों में पिलर निर्माण, पाइलिंग और खोदाई का कार्य किया जा रहा है। ग्रीन कॉरिडोर की 3 तस्वीरें देखिए... अब चारों फेज की डिटेल करीब 10 लाख की आबादी को मिलेगा फायदा गोमती नदी के किनारे बन रहे इस ग्रीन कॉरिडोर से लखनऊ की लगभग 10 लाख की आबादी को फायदा पहुंचेगा। एक लाख से ज्यादा वाहन इससे आवाजाही करेंगे। यह कॉरिडोर आईआईएम रोड, पक्का पुल, डालीगंज, कुकरैल, हनुमान सेतु, गोमती नगर, पिपराघाट और किसान पथ जैसे घनी आबादी वाले इलाकों को जोड़ता है। अभी इन क्षेत्रों में ट्रैफिक जाम और संकरी गलियों के कारण लोगों को रोजाना लंबा सफर तय करना पड़ता है। कॉरिडोर बनने के बाद शहर के उत्तरी और दक्षिणी हिस्सों के बीच आवाजाही सुगम हो जाएगी। इससे रोजाना लगभग एक लाख वाहन इस मार्ग से गुजर सकेंगे, जिससे शहर के मुख्य मार्गों पर दबाव 40 प्रतिशत तक कम होगा। ग्रीन कॉरिडोर की खासियतें कुकरैल नदी पर बनेगा चार लेन पुल इस प्रोजेक्ट के सबसे महत्वपूर्ण हिस्सों में से एक कुकरैल नदी पर 240 मीटर लंबा चार लेन पुल है। निशातगंज से कुकरैल तक बंधे का चौड़ीकरण किया जाएगा, जिससे भारी वाहनों की आवाजाही सुगम हो सकेगी। इस पुल के बनने से गोमती नगर से पुराने लखनऊ तक का सफर आधे समय में पूरा हो सकेगा। LDA के प्रभारी प्रोजेक्ट इंप्लीमेंटेशन यूनिट के अधिकारी एके सिंह सेंगर ने बताया- इस कॉरिडोर से नदी किनारे के क्षेत्रों में व्यवसायिक संभावनाएं बढ़ेंगी। गोमती किनारे होटल, कैफे, ओपन एयर थिएटर, जॉगिंग ट्रैक और पार्किंग जोन विकसित किए जा रहे हैं। इससे रोजगार के अवसर और पर्यटन गतिविधियां भी बढ़ेंगी। रोज एक लाख वाहन बिना जाम में फंसे आवाजाही करेंगे। एलडीए का लक्ष्य है कि दिसंबर-2025 तक परियोजना का दूसरा चरण पूरी तरह तैयार हो जाए। इसके बाद 2027 में शेष दो चरणों का कार्य पूरा कर आईआईएम रोड से किसान पथ तक पूरा ग्रीन कॉरिडोर चालू कर दिया जाएगा। पूरी परियोजना पूर्ण होने के बाद रोजाना करीब एक लाख वाहन रोज बिना जाम के आवाजाही कर सकेंगे।
हरियाणा के पंचकूला में नगर निगम हाऊस मीटिंग के एजेंडों को लेकर नगर निगम अधिकारी सीरियस नहीं है। नगर निगम कमिश्नर आरके सिंह ने 6 अक्टूबर को हुई हाऊस मीटिंग में कहा था कि रिकॉर्ड कर लीजिए, ठेकेदार को नियम के अनुसार ब्लैकलिस्ट भी किया जाएगा। लेकिन अभी तक नोटिस भी नहीं भेजा गया। पंचकूला शहर के सेक्टर-8, 9 व 10 की मार्केट में पेड पार्किंग चल रही है। शहर की एकमात्र पार्किंग हैं, जहां पर शहर के लोगों को शुल्क देना पड़ा है। इसके अलावा पंचकूला शहर पार्किंग शुल्क से मुक्त हो चुका है। यहां के पार्किंग ठेकेदार पर करीब सवा करोड़ का बकाया है। 10 नवंबर से उसका टेंडर कार्यकाल खत्म किया जा रहा है। ऐसे में उस अवधि के 20 दिन पहले तक उससे शुल्क जमा नहीं करवाया गया है। कांग्रेस MLA ने उठाया था मुद्दा पंचकूला से कांग्रेस MLA चंद्रमोहन बिश्नोई ने मुद्दा उठाते हुए कहा था कि पार्किंग ठेकेदार को राहत पहुंचाई जा रही है। जिसके बाद नगर निगम कमिश्नर गुस्से में आ गए और बोले कि कैमरा ऑन कर रिकॉर्ड कीजिए, मैं कह रहा हूं, उसे नोटिस भी दिया जाएगा और रिकवरी भी होगी। लेकिन बैठक के 15 दिन बाद भी कोई रिकवरी का नोटिस भी ठेकेदार को नहीं भेजा गया है। साल 2020 में शुरू हुई थी पेड पार्किंग पंचकूला शहर सेक्टर-8, 9 व 10 की मार्केट में पेड पार्किंग की शुरुआत साल 2020 में हुई थी। जिसके एक बार बंद भी किया गया लेकिन साल 2022 में इसे फिर शुरू कर दिया गया। नगर निगम के द्वारा निर्धारित शुल्क 5 व 10 रुपए से अधिक वसूली के आरोप भी लगे। ठेकेदार पर करीब डेढ़ करोड़ रुपए का बकाया भी हुआ। जब दबाव बना तो ठेकेदार ने 55 लाख रुपए जमा करवा दिए। 5 साल के लिए अलॉट हुआ था टेंडर पंचकूला नगर निगम ने साल 2020 में तीनों पार्किंग का टेंडर 5 साल के लिए किया। 3 साल बाद अगले दो साल के लिए रिन्यू किया जाना था। नगर निगम ने अगस्त 2020 में पेड पार्किंग के लिए टेंडर ओपन किया था, लेकिन किसी भी एजेंसी ने रुचि नहीं दिखाई। दोबारा अक्टूबर में टेंडर जारी किया गया था। सेक्टर-8, 9 व 10 की मेन मार्केट को पेड पार्किंग बनाने से पहले केवल सेक्टर 14 में ही पेड पार्किंग थी। जरूर होगा एक्शन : कमिश्नर नगर निगम कमिश्नर आरके सिंह ने कहा कि हाऊस मीटिंग के हर एजेंडे पर एक्शन लिया जाएगा दिवाली के बाद पार्किंग ठेकेदार को नोटिस भेज कर रिकवरी करवाई जाएगी। जो बात निगम हाऊस मीटिंग में कही थीं, उसे पूरा भी करवाया जाएगा।
हिसार के महाराजा अग्रसेन एयरपोर्ट का विंटर शेड्यूल 26 नवंबर से लागू हो रहा है। जिससे फ्लाइट की टाइमिंग में बदलाव हो रहा है। हिसार से जयपुर, अयोध्या और दिल्ली फ्लाइट अब सप्ताह में दो बार उड़ेगी। वहीं हिसार से चंडीगढ़ की फ्लाइट सप्ताह में 3 दिन उड़ान भरेगी। इससे पहले हिसार-अयोध्या, हिसार-दिल्ली और हिसार-जयपुर फ्लाइट सप्ताह में एक ही दिन उड़ान भरती थी। जबकि चंडीगढ़ फ्लाइट सप्ताह में दो दिन बुधवार और शनिवार उड़ान भरती थी। इसी के साथ नए विंटर शेड्यूल में जम्मू और अहमदाबाद की फ्लाइट शुरू करने की कोई संभावना अभी नहीं बनी है। बताया जा रहा है कि इस साल के अंत तक अहमदाबाद या फिर जम्मू के लिए फ्लाइट शुरू हो सकती है। बता दें कि हरियाणा में BJP सरकार ने जुलाई 2024 में हिसार एयरपोर्ट से पांच स्थानों के लिए हवाई सेवा शुरू करने की घोषणा की थी। इसमें से 4 स्थानों पर हवाई सेवा शुरू हो चुकी है। सिविल एविएशन मंत्री विपुल गोयल का कहना है हिसार से जयपुर के बाद जल्द ही जम्मू और कोलकाता के लिए फ्लाइट शुरू की जाएगी। एक महीने पहले शुरू की थी जयपुर फ्लाइट हरियाणा सरकार ने करीब एक महीने पहले हिसार से जयपुर के लिए सीधी उड़ान सेवा शुरू की थी। सीएम नायब सिंह सैनी ने वर्चुअली हिसार-जयपुर फ्लाइट को रिमोट का बटन दबाकर रवाना किया था। इस दौरान CM ने कहा कि अगले चरण में हिसार-चंडीगढ़ फ्लाइट को जम्मू तक एक्सटेंड किया जाएगा। हिसार से जयपुर के लिए विमान हर शुक्रवार शाम 5:35 बजे उड़ान भरकर करीब एक घंटे बाद शाम 6:40 बजे जयपुर पहुंचता है। इस उड़ान का किराया टैक्स सहित लगभग 2300 रुपए है, जबकि सीट बुकिंग का चार्ज अलग से लिया जाता है। इससे पहले हिसार से दिल्ली, अयोध्या और चंडीगढ़ के लिए भी उड़ान सेवाएं शुरू हो चुकी हैं। हवाई यात्रा से समय की बचत होगी हिसार से जयपुर सड़क से दूरी लगभग 350 किलोमीटर है, जिसे तय करने में लगभग 5 घंटे लगते हैं। वहीं, ट्रेन से यह सफर और भी लंबा हो जाता है। वहीं हिसार से चंडीगढ़ 250 किमी से ज्यादा दूरी पर है। चंडीगढ़ जाने में करीब 4 घंटे अपने वाहन से लगते हैं। ऐसे में हवाई यात्रा शुरू होने से यह सफर लगभग एक घंटे में पूरा हो सकेगा। हिसार से जयपुर हजारों यात्री ट्रेन और निजी वाहनों से जाते हैं। जयपुर में इलाज करवाने और व्यवसायिक कार्यों के लिए लोगों का आना-जाना लगा रहता है। वहीं चंडीगढ़ राजधानी होने के कारण लोगों को हाईकोर्ट व प्रशासनिक कामों के लिए जाना पड़ता है। एक साल पहले मुख्यमंत्री ने घोषणा की थी एक साल पहले मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने हिसार एयरपोर्ट से पांच स्थानों चंडीगढ़, अयोध्या, अहमदाबाद, जयपुर और जम्मू के लिए फ्लाइट संचालित करने की घोषणा की थी। पंचकूला के पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस में हरियाणा सरकार के नागरिक उड्डयन विभाग और अलायंस एयर एविएशन लिमिटेड के बीच हवाई कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिए एक समझौता ज्ञापन (MOU) पर हस्ताक्षर भी हुए थे। इस समझौते के बाद, हिसार से अयोध्या, दिल्ली और चंडीगढ़ के लिए फ्लाइट सेवाएं शुरू हो चुकी हैं। जयपुर के लिए भी फ्लाइट फाइनल हो चुकी है। हालांकि, अहमदाबाद और जम्मू के लिए फ्लाइट सेवाएं शुरू होना अभी बाकी है। सरकार ने हाल ही में कोलकाता के लिए भी फ्लाइट चलाने का फैसला लिया है। हिसार एयरपोर्ट पर कब-कब हुआ उद्घाटन-शिलान्यास
शहर में आज भी वाहनों का डायवर्जन रहेगा। दिवाली पर शहर में कई जगह जाम की समस्या बनी रही। भैया दूज के मौके पर शहर में बढ़ने वाली भीड़ को देखते हुए जिला प्रशासन ने यातायात व्यवस्था में डायवर्जन प्लान लागू किया है। यह व्यवस्था शहर में सुचारु और सुरक्षित यातायात सुनिश्चित करने के उद्देश्य से की गई है। सोमवार को दिवाली पर सुबह से ही बाजारों और फूल मंडी में जाम की स्थिति रही। शहर में वाहनों का दबाव बढ़ते ही लगातार जाम की समस्या बन रही है।डीसीपी ट्रैफिक त्रिगुण बिसेन ने बताया कि 17 अक्टूबर दोपहर 12 बजे से 24 अक्टूबर सुबह 11 बजे तक भारी वाहन जैसे ट्रक, ट्रॉला, बस, पिकअप आदि के लिए प्लान लागू किया है। शहर के प्रमुख बाजारों में चार पहिया वाहन प्रतिबंधित किए गए हैं। ट्रैफिक पुलिस ने लोगों से अपील की है कि भीड़भाड़ वाले स्थानों पर वाहन न लेकर जाएं। यह है डायवर्जन प्लान हल्के वाहनों के लिए सड़क से वाहन हटवाए जा रहे पार्किंग लिए प्रशासन ने घंटाघर रामलीला मैदान, कंपनी बाग कॉम्प्लेक्स और नेहरू युवा केंद्र के पास पार्किंग बनाई गई हैं। एडिशनल डीसीपी ट्रैफिक सच्चिदानंद का कहना है कि वाहनों की संख्या अधिक है। जहां ट्रैफिक पुलिस सड़क से भी वाहनों को हटवा रही है।
दिल्ली-एनसीआर को जोड़ने वाले कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) एक्सप्रेसवे पर अब हरियाली की नई परत चढ़ेगी। इस कड़ी में केएमपी पर 1 लाख 9 हजार पौधे लगाए जाएंगे। पौधारोपण में सात फीट हाइट के पौधे लगाए जाएंगे, ताकि वे जल्दी पनप सकें। प्रदूषण का कम करने के लिए यह कदम उठाया जा रहा है। हरियाणा राज्य औद्योगिक संरचना विकास निगम (HSIIDC) की ओर से इस परियोजना पर करीब 14 करोड़ रुपए खर्च किया जाएगा। एक्सप्रेसवे के डिवाइडर और दोनों ओर कुल 1 लाख 9 हजार पौधे लगाए जाएंगे। इस परियोजना में पौधारोपण के साथ तीन साल तक इन पौधों की नियमित देखभाल, सिंचाई और रखरखाव भी शामिल है। 3 साल तक रखनी होगी देखभाल एचएस आईआईडीसी ने इस कार्य के लिए टेंडर जारी कर दिया है, जिसे जल्द ही खोला जाएगा। टेंडर मिलने के बाद एजेंसी को पौधे लगाने के साथ-साथ तीन वर्षों तक उनकी सुरक्षा, कटाई-छंटाई और सिंचाई की जिम्मेदारी दी जाएगी। यदि कोई पौधा सूखता या नष्ट होता है तो उसकी भरपाई भी एजेंसी को ही करनी होगी। परियोजना के तहत लगाए जाने वाले पौधों में टर्मिनलिया मॅटाली, बोगनवेलिया, बैंबू और अन्य फूलदार व सजावटी प्रजातियों को शामिल किया गया है। अब पहले के 91 हजार पौधों के अलावा 18 हजार अतिरिक्त पौधे लगाए जाएंगे, जिनका चयन क्षेत्र की जलवायु, मिट्टी की गुणवत्ता और पर्यावरणीय आवश्यकताओं के अनुरूप किया गया है। वायु व ध्वनि प्रदूषण करेंगे कम निगम अधिकारियों का कहना है कि यह पहल न केवल एक्सप्रेसवे की सुंदरता बढ़ाएगी, बल्कि आसपास के औद्योगिक और शहरी इलाकों में प्रदूषण घटाने में भी मदद करेगी। वृक्षों की हरियाली धूल कणों को रोकने, तापमान संतुलित रखने और ध्वनि प्रदूषण कम करने में प्रभावी साबित होगी। गौरतलब है कि 135 किलोमीटर लंबे केएमपी एक्सप्रेसवे का निर्माण वर्ष 2018 में पूरा हुआ था। पहले भी यहां पौधारोपण किया गया था, लेकिन रखरखाव के अभाव में कई पौधे सूख गए। इस बार निगम ने रखरखाव को प्राथमिकता देते हुए परियोजना को दीर्घकालिक स्वरूप दिया है। अधिकारी उम्मीद जता रहे हैं कि यह हरित पहल भविष्य में न केवल हरियाणा की हरियाली बढ़ाएगी, बल्कि अन्य राजमार्गों के लिए भी प्रेरणास्रोत बनेगी।
हरियाणा के झज्जर जिले के छुछकवास कस्बे में बाईपास निर्माण की मांग पिछले एक दशक से अधूरी पड़ी है। कस्बे से होकर गुजरने वाले भारी वाहनों के कारण आए दिन जाम की स्थिति बनी रहती है, जिससे स्थानीय लोगों को भारी परेशानी झेलनी पड़ती है। इसके बावजूद सरकार और प्रशासन के आश्वासन केवल कागजों तक सीमित हैं। कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में वर्ष 2013 में छुछकवास बायपास को मंजूरी दी गई थी। इसके बाद 2019 में तत्कालीन मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने भी इस बाईपास को बनाने की घोषणा की थी, लेकिन घोषणाओं के बावजूद बायपास का निर्माण कार्य आज तक शुरू नहीं हो सका है। 80 प्रतिशत जमीन खरीदी जा चुकी छुछकवास बायपास के लिए कुल 26 एकड़ जमीन अधिगृहीत की जानी है। इनमें से 21 एकड़ जमीन की खरीद और रजिस्ट्री पूरी हो चुकी है, जबकि कुछ किसानों की जमीन की रजिस्ट्री अभी लंबित है। PWD (लोक निर्माण विभाग) के एक्सईएन सुमित कोहाड़ के अनुसार, छुछकवास बाईपास के लिए मुख्यमंत्री की ओर से 2019 में घोषणा की गई थी। अब तक करीब 80 प्रतिशत जमीन खरीदी जा चुकी है और स्थल पर दोनों तरफ पिलर भी लगाए जा चुके हैं। आने वाले होली पर्व तक टेंडर लगाकर निर्माण कार्य शुरू करवा दिया जाएगा। साढ़े तीन किलोमीटर लंबा होगा बाईपास प्रस्तावित बायपास लगभग साढ़े तीन किलोमीटर लंबा होगा, जो कस्बे के बाहरी हिस्से से निकलेगा। यह रास्ता भारी वाहनों के लिए डायवर्शन रोड के रूप में काम करेगा, जिससे कस्बे के मुख्य चौक पर लगने वाला जाम कम हो सकेगा।छुछकवास चौक से रोजाना हजारों की संख्या में ट्रक और ट्रैक्टर-ट्रॉली गुजरती हैं। संकरी सड़क और भारी ट्रैफिक के कारण आए दिन जाम लग जाता है। करीब 40 गावों के लोगों की आवाजाही- भुक्कल स्थानीय लोगों का कहना है कि प्रशासन ने कई बार सर्वे किए और आश्वासन दिए, लेकिन धरातल पर काम शुरू नहीं हुआ। वहीं बायपास को लेकर झज्जर से विधायक गीता भुक्कल ने कहा कि छुछकवास में बाईपास की सख्त जरूरत है जो कि वहां से करीब 40 गावों के लोगों का आगमन है और साथ दादरी जिले की तरफ से क्रशर जोन से दिन में हजारों की संख्या में भारी वाहन गुजरते हैं। जिसके कारण जाम लग जाता है। विधायक और सांसद भी उठा चुके मुद्दा झज्जर से कांग्रेस विधायक गीता भुक्कल ने बताया कि वह कई बार विधानसभा में बायपास निर्माण का मुद्दा उठा चुकी हैं। लेकिन सरकार की ओर से बायपास को बनाने के लिए कार्य करने पर ध्यान नहीं दिया जा रहा। वहीं, रोहतक लोकसभा से सांसद दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने भी इस विषय को केंद्र और राज्य सरकार के समक्ष उठाया है। हाल ही में झज्जर की दिशा बैठक में भी यह मुद्दा चर्चा में रहा। 12 साल बाद भी इंतजार जारी कांग्रेस सरकार में स्वीकृति से लेकर भाजपा सरकार में दोबारा घोषणा तक, छुछकवास बायपास का निर्माण अभी तक शुरू नहीं हुआ है। अब विभाग द्वारा होली तक टेंडर प्रक्रिया शुरू करने की बात कही जा रही है, जिससे ग्रामीणों में उम्मीद जगी है कि शायद इस बार लंबे इंतजार का अंत हो सके।
भिवानी जिले में पराली जलाने से रोकने के लिए प्रशासन ने एक्शन प्लान तैयार कर लिया है। इसको लेकर कृषि एवं कल्याण विभाग द्वारा किसानों को जागरूक किया जा रहा है। साथ ही कोई किसान पराली जलाता हुआ मिलता है, तो उसके खिलाफ कार्रवाई भी की जाएगी। डीडीए डॉ. विनोद फोगाट ने बताया कि पराली प्रबंधन के लिए तैयारी की गई है। गांव-गांव जाकर किसानों को जागरूक किया गया। जिसमें बताया कि पराली जलाने से जमीन खराब होगी और जीवों को भी नुकसान होता है। जमीन की भी वाटर होल्डिंग क्षमता कम होती है। काफी किसानों को बात समझ में आई है और किसान धान की पराली में आग नहीं लगाएंगे। 2 प्रकार से होगा कंट्रोल डीडीए डॉ. विनोद फोगाट ने कहा कि अगर कोई किसान धान की पराली में आग लगाता है तो उसको 2 प्रकार से कंट्रोल किया जाएगा। यलो जोन के गांवों में 50 किसानों पर एक नोडल ऑफिसर नियुक्त किए हैं। जिले के 2 गांव ही यलो जोन में शामिल हैं। हालांकि रेड जोन भिवानी में नहीं है। बाकी गांवों में 100 किसानों पर एक नोडल ऑफिसर डीसी द्वारा नियुक्त किया गया है। किसानों को जागरूक करने के लिए गांवों में कैंप लगाए गए हैं। अधिकारी किसानों के संपर्क में हैं, वहीं फ्लैग मार्च भी निकालेंगे। 3 स्टैप में कार्रवाई होगी उन्होंने कहा कि अगर कोई किसान पराली को जलाता है, तो 3 प्रकार से कार्रवाई होगी। सीआरएम आगजनी की मॉनिटरिंग हरसेक द्वारा की जा रहा है। वहां से एक्टिव फायर लोकेशन आ जाती है। उसके ऊपर कृषि विभाग, रेवेन्यू विभाग, पंचायत विभाग व पुलिस डिपार्टमेंट के साथ मिलकर कार्रवाई की जाती है। खेत की पहचान कर होगी एफआईआर डीडीए डॉ. विनोद फोगाट ने कहा कि सबसे पहले खेत की पहचान होगी। पहचान होने के बाद जिसने आग लगाई है। उसके ऊपर एफआईआर भी होगी। 5 हजार से 30 हजार तक जुर्माना भी लगाया जाएगा। रेड एंट्री भी होगी। रेड एंट्री का अर्थ है कि वह किसान किसी भी सरकारी स्कीम का लाभ उठा पाएगा। वहीं ना ही अनाज बेच पाएगा और ना ही कोई सब्सिडी ले पाएगा और ना ही किसी सरकारी स्कीम का फायदा ले पाएगा। 70 हजार एकड़ में धान की बिजाईउन्होंने बताया कि भिवानी जिले में 70 हजार एकड़ धान की बिजाई हुई है। अब तक धान की फसल अच्छी है। अगर कोई किसान पराली प्रबंधन करना चाहे तो 2 प्रकार से होता है। एक तो पराली को जमीन में मिला दें और दूसरा पराली को बाहर बेलर मशीन से बनाकर एनर्जी प्लांट या अन्य जगह प्रयोग करें। जो किसान प्रबंधन करेगा, उनको किसान प्रोत्साहन के लिए 1200 रुपए प्रति एकड़ के हिसाब से देगी। यह कार्रवाई मेरी फसल मेरा ब्योरा पोर्टल के माध्यम से होगी। कृषि उपकरणों के ऊपर 50 प्रतिशत तक सब्सिडी हैं। इस बार करीब 400 किसानों को परमिट जारी किए हैं, जो यंत्र खरीदेंगे।
कैथल जिले के कलायत और गुहला क्षेत्र में अब गर्भवती महिलाओं को सिजेरियन डिलीवरी करवाने के लिए नागरिक अस्पताल में नहीं जाना पड़ेगा। स्वास्थ्य विभाग ने सिविल अस्पताल के अलावा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कलायत और गुहला में भी सिजेरियन डिलीवरी की सुविधा शुरू की है। अब महिलाएं वहीं पर रहकर डिलीवरी करवा सकेंगी। इससे उनके धन और समय की बचत तो होगी ही, साथ में नजदीकी स्वास्थ्य केंद्रों में यह सुविधा होने के कारण महिलाओं को समय पर और जल्द इलाज भी मिल सकेगा। केवल नागरिक अस्पताल में थी सुविधा बता दें कि इससे पहले यह सुविधा कैथल के नागरिक अस्पताल में ही थी। जिले के किसी भी हिस्से से महिलाओं को डिलीवरी करवाने के लिए नागरिक अस्पताल में ही जाना पड़ता था। अगर प्राइवेट अस्पताल में इलाज करवाते तो करीब 20 से 30 हजार रुपए तक खर्च करने पड़ रहे थे। हालांकि सामान्य डिलीवरी सीएचसी और पीएचसी पर भी हो रही थी, लेकिन सिजेरियन के लिए उन्हें या तो कैथल सिविल अस्पताल में या फिर प्राइवेट अस्पतालों में जाना पड़ रहा था। अब इन दोनों जगहों पर सिजेरियन डिलीवरी भी होगी। डॉक्टरों से किया था संपर्क फिलहाल स्वास्थ्य विभाग की ओर से दोनों क्षेत्रों में वहां के प्राइवेट डॉक्टरों को हायर कर उनसे डिलीवरी के लिए संपर्क किया गया है, लेकिन अधिकारियों ने दावा किया है कि जल्द ही महिला विशेषज्ञ डॉक्टरों को इन अस्पतालों में लगाया जाएगा। इसके अलावा दोनों जगह पर एनेस्थीसिया के डॉक्टर भी लगाए जाएंगे, ताकि महिलाओं को सिजेरियन डिलीवरी करवाने के लिए वहीं पर डॉक्टर उपलब्ध हो जाए। हर महीने पहुंच रहे कई केस सिविल सर्जन डॉक्टर रेनू चावला ने बताया कि इन दोनों जगहों पर हर महीने करीब 10-10 से अधिक सिजेरियन डिलीवरी के केस आ जाते हैं। उन्हें पहले या तो प्राइवेट अस्पताल में या फिर सिविल अस्पताल में सिजेरियन डिलीवरी करवानी पड़ती थी। अब इन दोनों अस्पतालों में ही यह सुविधा शुरू हो गई है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग का प्रयास है कि जल्द ही अन्य सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में भी यह सुविधा शुरू की जाएगी, ताकि लोगों को तुरंत और नजदीक ही इलाज मिल सके।
सिरसा जिले को नए साल 2026 में दोनों नई सब्जी मंडी और अनाज मंडी तैयार होकर मिलेगी। इस समय दोनों मंडियों का काम जोरों पर है। मंडी में दुकानों के आगे रैम्प या प्लेटफार्म तैयार कर दिए गए हैं और चारदीवारी का भी 80 प्रतिशत काम पूरा हो गया है। पाइपलाइन व लाइटिंग भी लग गई है। अब मंडी परिसर में रोड बनना बाकी है। दोनों मंडियों में 150 से 200 दुकानें होगी। इसके साथ ही पीछे की ओर लक्कड़ मंडी बन रही है। पहले अनाज मंडी व सब्जी मंडी तैयार करने की प्राथमिकता है, ताकि शहर में जाम व्यवस्था पर अंकुश लग सकें और किसानों को भी शहर में न जाना पड़े। किसान ट्रैक्टर-ट्राली लेकर सीधा बाहरी ओर मंडी में आ सकेंगे। इससे शहर में जाम की स्थिति नहीं बनेगी। इस प्रोजेक्ट की डेडलाइन 17 जुलाई 2026 तक रखी गई है। 28 फरवरी 2024 को रखी गई थी नींव सुपरवाइजर के अनुसार, इस कार्य को पहले ही पूरा कर लिया जाएगा। इसके बाद सरकार मंडी में दुकानें अलॉट करेंगी। मंडी में पार्किंग से लेकर अन्य सुविधाएं किसानों के हित में ध्यान रखते हुए की गई है। मंडियों में दो बड़े रैम्प यानी चबूतरे बनाए हैं। बता दें कि इन मंडियों की 28 फरवरी 2024 को नींव रखी गई थी और 4 अप्रैल से कंस्ट्रक्शन काम शुरू हो गया था, डेढ़ साल से काम लगातार जारी है। नेशनल हाईवे पर बन रही तीनों मंडियां नेशनल हाईवे सिरसा बाईपास के पास चतरगढ़ पट्टी-गांव झोपड़ा रोड पर तीनों मंडियां बन रही है। इनके लिए सरकार ने करीब 56 एकड़ 5 कनाल 2 मरले जमीन खरीदी है। इससे पहले यहां पर खेती होती थी। इन पर करीब 20 करोड़ 66 लाख 83 हजार 110 रुपए की लागत आएगी। 33.62 एकड़ में अनाज मंडी तैयार होगी। 10.36 एकड़ में सब्जी मंडी का निर्माण होगा। सब्जी मंडी में 17 बूथ और लक्कड़ मंडी में 18 बूथ बनेंगे। मौजूदा मंडी को शिफ्ट करने की योजना नहीं हालांकि, सरकार द्वारा शहर स्थित अनाज मंडी को शिफ्ट करने की योजना नहीं है। मगर नई अनाज मंडी बनने के बाद काफी आढ़ती यहां से शिफ्ट हो सकते हैं। अभी से कुछ आढ़ती नई मंडी में जाकर वहां मुआयना कर रहे हैं और दुकान अलॉटमेंट के बारे में पूछते हैं। मौजूदा स्थिति में शहर की नई अनाज मंडी में सबसे अधिक 167 दुकानें चल रही है। 400 से 700 फुट तक प्लेटफार्म मंडियों के कार्य की सुपरविजन संभाल रहे सुभाष अरोड़ा ने बताया कि मंडियों में दुकानों के लिए 400 से 700 फुट तक प्लेटफार्म यानी रैम्प की लंबाई रखी है। अनाज मंडी में दुकानों के आगे 4 प्लेटफार्म एवं एक बड़ा प्लेटफार्म और सब्जी मंडी में दुकानों के आगे 4 छोटे प्लेटफार्म और बीचों-बीच एक बड़ा प्लेटफार्म बना है। मंडी परिसर में रोड का बेस बना दिया है, पर कॉन्क्रीट व तारकोल लेयर बिछाई जानी है। 167 दुकानें एवं 40 बूथ स्वीकृत किए इस समय अनाज मंडी, लक्कड़ मंडी व सब्जी मंडी तीनों ही शहर के बीचों-बीच है। वर्ष 1957 से पहले भादरा बाजार में नोहरों के अंदर आढ़त की दुकानें होती थी। 1957 में पंजाब संयुक्त स्टेट बोर्ड की ओर से सिरसा में अनाज मंडी की स्थापना की गई। इसके लिए 167 दुकानें एवं 40 बूथ स्वीकृत किए गए। 1960 में आढ़त की दुकानें शुरू हो गई। इसके बाद सरकार ने एडिशनल मंडी प्रथम का निर्माण किया गया, जिसमें 49 दुकानें एवं 12 बूथ है। बाद में अनाज मंडी द्वितीय में 28 और दुकानों का निर्माण करवाया गया। दूसरी एडिशनल मंडी में करीब 37 दुकानों का निर्माण करवाया गया। साल 2003 में कपास मंडी का निर्माण करवाया गया, जिसमें करीब 77 दुकानें एवं 90 से अधिक बूथ हैं। पूर्व सीएम खट्टर ने की थी घोषणा साल 2016 में पूर्व सीएम मनोहर लाल खट्टर ने सिरसा में इस प्रोजेक्ट को सिरे चढ़ाने की घोषणा की थी। इसके लिए जगह चिह्नित करने की जिम्मेदारी हरियाणा कृषि विपणन मंडल को दी थी। बरनाला रोड के पास जगह को पहले चिह्नित किया गया था, लेकिन वो सिरे नहीं चढ़ी। अब खुद वर्तमान सीएम नायब सिंह सैनी इस प्रोजेक्ट की मॉनिटरिंग कर रहे हैं। सिरसा का यह दूसरा बड़ा प्रोजेक्ट है। इससे पहले मेडिकल कॉलेज का निर्माण कार्य भी जोरों पर है।
हरियाणा के राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी उद्यमिता एवं प्रबंधन संस्थान सोनीपत (निफ्टेम, कुंडली) के वैज्ञानिकों ने तरल शहद को हनी पाउडर के रूप में नए रिसर्च के साथ तैयार किया है। निफ्टेम की लैब में पाउडर वाला शहद तीन अलग-अलग फ्लेवर में तैयार किया गया है। निफ्टेम वैज्ञानिकों ने बनाया पाउडर हनी लंबे समय तक टिकाऊ और नेचुरल है। भारत में सदियों से शहद को सिर्फ मिठास ही नहीं, बल्कि सेहत का खजाना भी माना जाता रहा है, लेकिन इसकी चिपचिपाहट, संभाल कर रखने की दिक्कत और समय के साथ जम जाने (क्रिस्टलीकरण) की समस्या से हर कोई परेशान होता है। अब इस मुश्किल का एक शानदार समाधान मिल गया है। चिपचिपाहट और जमने की समस्या नहीं निफ्टेम के खाद्य विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग की विभागाध्यक्ष, डॉ. रजनी चोपड़ा ने इस पाउडर को विकसित किया है। उनका मानना है कि यह हनी पाउडर तरल शहद की सबसे बड़ी समस्याओं जैसे चिपचिपाहट, नमी सोखने की प्रवृत्ति और कम शेल्फ लाइफ को खत्म करता है। डॉ. चोपड़ा के अनुसार, आयुर्वेद में भले ही पुराना शहद अच्छा माना जाता है, लेकिन जब लोग बाजार में जमा हुआ (क्रिस्टिलाइज्ड) शहद देखते हैं, तो वे उसे खरीदना पसंद नहीं करते। यह पाउडर बिना किसी कृत्रिम रसायन या संरक्षक के तैयार किया गया है। यह हल्का, सूखा है और इसे कहीं भी ले जाना या स्टोर करना बहुत आसान है। इसका मुख्य उद्देश्य शहद की शुद्धता, प्राकृतिक स्वाद और हेल्थ लाभों को पूरी तरह बनाए रखते हुए उसे एक टिकाऊ रूप देना था। कैसे बनाया 'हनी पाउडर'डॉ. चोपड़ा ने बताया कि हनी पाउडर बनाना एक वैज्ञानिक प्रक्रिया है। इसमें सबसे पहले शहद और कुछ खास प्लांट-बेस्ड (पौधों पर आधारित) प्राकृतिक तत्वों का एक घोल (सॉल्यूशन) तैयार किया जाता है। ये तत्व शहद के साथ अच्छी तरह घुलने के लिए चुने जाते हैं और सेहत के लिए भी फायदेमंद होते हैं। इस घोल में कोई भी नुकसानदायक केमिकल इस्तेमाल नहीं किया जाता है। घोल तैयार होने के बाद, इसे 'स्प्रे ड्राई' तकनीक से सुखाया जाता है, जिससे यह पाउडर के रूप में बदल जाता है। इस प्रक्रिया में करीब 70% रिकवरी होती है, यानी एक किलो तरल शहद से लगभग 700 ग्राम पाउडर तैयार होता है। सेहत और उपयोग के फायदे- कम कैलोरी और अधिक फाइबर- यह 10 ग्राम शहद से लगभग 20% कैलोरी कम करता है और इसमें फाइबर की मात्रा ज्यादा होती है।- पाचन और रोग प्रतिरोधक क्षमता- यह पाचन में मदद करता है और शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता (इम्यूनिटी) को बढ़ाता है।- प्राकृतिक स्वाद और गुणवत्ता- पाउडर का स्वाद पूरी तरह प्राकृतिक बना रहता है और इसकी गुणवत्ता में कोई अंतर नहीं आता है।- लंबे समय तक स्टोरेज- इसे लंबे समय तक बिना खराब हुए स्टोर किया जा सकता है और इसकी पैकेजिंग भी आसान है।- उपयोग में सुविधा- यह बेकरी उत्पादों, हर्बल चाय मिश्रण, हेल्थ सप्लीमेंट्स और इंस्टेंट ड्रिंक्स जैसे कई खाद्य उत्पादों में एक प्राकृतिक मीठे के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है।- मात्रा के हिसाब से- लगभग 1.3 चम्मच हनी पाउडर एक चम्मच तरल शहद के बराबर होता है। तीन शानदार फ्लेवर्स में उपलब्धनिफ्टेम ने हनी पाउडर को तीन अलग-अलग फ्लेवर्स में तैयार किया है।- अदरक (Ginger)- तुलसी (Tulsi)- मिंट (Mint)खास बात यह है कि अदरक फ्लेवर वाले हनी पाउडर में भी कोई अतिरिक्त चीनी (शुगर) नहीं मिलाई गई है।नए प्रयोग की सराहना निफ्टेम-कुंडली के निदेशक, डॉ. हरेंद्र ओबरॉय ने इस आविष्कार की खूब तारीफ की है। उन्होंने कहा कि यह उत्पाद न केवल भारतीय उपभोक्ताओं के लिए एक बेहतर विकल्प है, बल्कि यह देश के पारंपरिक खाद्य ज्ञान को आधुनिक तकनीक के साथ दुनिया के सामने रखने की दिशा में एक बहुत महत्वपूर्ण कदम है।
फतेहाबाद जिले के गांव भूथन खुर्द के युवा किसान रवि पूनिया ने परंपरागत के साथ-साथ कुछ लीक से हटकर खेती की है। इस खेती ने उन्हें लखपति बना दिया है। पॉलिटिकल साइंस से एमए कर चुके रवि पूनिया ने खेती को ही अपनी आजीविका का साधन बनाया हुआ है। वह अपनी फसल की मार्केटिंग भी खुद ही करते हैं। दरअसल, रवि पूनिया धान और गेहूं की पारंपरिक खेती के साथ लहसुन की फसल भी लेते हैं। लहसुन की वह चार वैराइटी लगाते हैं। इनमें सबसे ज्यादा जीवन किस्म का लहसुन की फसल ली जाती है। यह जीवन किस्म का लहसुन महाराष्ट्र, केरल और मध्य प्रदेश तक में बेचते हैं। यह लहसुन कई बीमारियों की रोकथाम में भी सहायक है। आमदनी बढ़ाने के लिए किसानों को कर रहे प्रेरित किसान रवि पूनिया अब दूसरे किसानों के लिए भी रोल मॉडल बने हुए हैं। वह दूसरे किसानों को भी परंपरागत खेती के साथ साथ लहसुन की खेती के जरिए आमदनी बढ़ाने के लिए प्रेरित करते हैं। उन्हें सरकारी योजनाओं से लेकर मार्केटिंग करने की तकनीक भी सिखाते हैं। रवि चार प्रकार के लहसुन की खेती करते हैं, जिनमें जीवन किस्म, देसी किस्म, आरडब्ल्यू 02 यानी लाल लहसुन और पहाड़ी लहसुन शामिल हैं। जानिए.... कैसे करते हैं खेती
यमुनानगर नगर निगम के आधुनिक कार्यालय भवन के निर्माण का रास्ता अब साफ हो गया है। डिप्टी कमिश्नर कैंप कार्यालय के सामने 2.3 एकड़ भूमि पर बनने वाले इस भवन के लिए 40 करोड़ 40 लाख रुपए की धनराशि प्राप्त हो चुकी है। लंबे समय से अटकी परियोजना में अब तेजी आने की उम्मीद है। पहले जमीन के चयन के कारण योजना अधर में लटकी थी, लेकिन अब सभी बाधाएं दूर हो गई हैं। सात साल पहले तत्कालीन मुख्यमंत्री द्वारा एक तालाब वाली जमीन पर शिलान्यास किया गया था, लेकिन वह परियोजना आगे नहीं बढ़ सकी। इसके बाद सही स्थान की तलाश में समय निकल गया। अब जिला सचिवालय के पास यह नया भवन बनने से यमुनानगर और जगाधरी के निवासियों को एक ही जगह पर सभी सुविधाएं मिलेंगी, जिससे समय और श्रम की बचत होगी। जमीन का मालिकाना हक जल्द निगम के नाम जिस जगह पर अब नगर निगम का नया ऑफिस बनेगा वह भूमि हरियाणा स्टेट एग्रीकल्चर मार्केटिंग बोर्ड (एचएसएएमबी) की है और धनराशि जमा होने के बाद इसे नगर निगम के नाम ट्रांसफर किया जाएगा। भूमि की निशानदेही हो चुकी है, अब जल्द ही भवन का डिजाइन तैयार कर शहरी स्थानीय निकाय विभाग की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। वर्तमान में निगम के कार्यालय फव्वारा चौक, भाई कन्हैया साहिब चौक और जगाधरी में तीन अलग-अलग स्थानों पर चल रहे हैं। पुरानी इमारतों की हालत खस्ता है, जहां बारिश में छतें टपकती हैं और पार्किंग की कमी से कर्मचारी व आमजन परेशान हैं। नया भवन बनने से ये समस्याएं खत्म होगी। आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित होगा भवन जानकारी अनुसार नया भवन चार मंजिला होगा, जिसमें बेसमेंट में पार्किंग और ऊपरी मंजिलों पर प्रशासनिक कार्य होंगे। मेयर, वरिष्ठ उप-मेयर, उप-मेयर, आयुक्त और अन्य अधिकारियों के लिए अलग-अलग कार्यालय होंगे और सभी विभागों के लिए स्वतंत्र कार्यालय बनाए जाएंगे। शिकायत लेकर आने वाले लोगों के लिए बैठने की सुविधा भी होगी। यह भवन यमुनानगर और जगाधरी बस स्टैंड से केवल दो किलोमीटर दूर होगा, जिससे दोनों शहर के वासियों के लिए पहुंचना आसान रहेगा। तीन कार्यालयों की भागदौड़ से मुक्ति वर्तमान में निगम के कार्यालय तीन स्थानों पर बंटे हैं। फव्वारा चौक पर कर, भवन और सफाई विभाग, कन्हैया साहिब चौक पर इंजीनियरिंग शाखा और जगाधरी मार्केट में वार्ड 1 से 7 के कार्य संभाले जा रहे हैं। इससे नागरिकों को एक स्थान से दूसरे स्थान तक चक्कर लगाने पड़ते हैं। कई बार कर्मचारी एक कार्यालय से दूसरे में होने के कारण लोगों का समय बर्बाद होता है। नया भवन बनने से यह दिक्कत खत्म हो जाएगी। पुराने भवन की मरम्मत पर सवाल फव्वारा चौक स्थित नगर निगम का पुराना भवन अब पूरी तरह जर्जर हो चुका है। बारिश में सभागार की छत से पानी टपकता है और मरम्मत पर लाखों रुपए खर्च होने के बावजूद कोई स्थायी समाधान नहीं मिला। मेयर कार्यालय की मरम्मत के लिए हाल ही में टेंडर निकाला गया है। ऐसे में स्थानीय लोगों का कहना है कि पुराने भवन पर पैसा बर्बाद करने के बजाय नई इमारत के निर्माण पर ध्यान देना चाहिए। जानें पहले क्यों अटकी थी योजना सात साल पहले पंचायत भवन के पीछे 3.87 एकड़ जमीन पर भवन बनाने की योजना थी। 2018 में 28.28 करोड़ रुपए का टेंडर भी जारी हुआ और तत्कालीन मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने शिलान्यास किया, लेकिन स्थानीय लोगों के विरोध और कोर्ट स्टे के कारण वह परियोजना रुक गई। अब वह जमीन पार्क के रूप में विकसित हो चुकी है। नई जगह और धनराशि के साथ यह परियोजना अब गति पकड़ेगी। नगर निगम आयुक्त सुमन बहमनी ने कहा कि नई बिल्डिंग बनने से यमुनानगर और जगाधरी के 22 वार्डों के लोगों को बहुत फायदा होगा। उनका समय बचेगा और अधिकारी भी एक जगह पर रहकर सभी काम सुचारू रूप से कर पाएंगे। जल्द ही इस इमारत का डिजाइन बनकर तैयार हो जाएगा और पूरा प्रयास जल्द से जल्द बिल्डिंग बनाने का होगा।
मैं, समझ नहीं पा रहा हूं कि यह कौन लोग हैं जो मुझे इस तरह धमका रहे हैं। 20 सितंबर को पहली बार धमकी मिली थी। पत्नी सुनीता के मोबाइल पर कॉल आया। कॉल करने वाले ने कहा कि तुम्हारे पति डॉ. मनोज कौरव की 11 लाख रुपए में हमें सुपारी मिली है। ग्वालियर में डिस्ट्रिक हेल्थ ऑफिसर (DHO ) डॉ. मनोज कौरव ने कुछ इस तरह उनको मिल रही धमकियों का जिक्र दैनिक भास्कर से किया है। डॉक्टर कौरव का कहना है कि अब अकेले निकलने में भी डर लगता है। बदमाश कह चुके हैं कि यदि बचना चाहते हो तो 15 लाख रुपए हमें दे दो। वे लगातार धमका रहे हैं। दिन में कभी वॉट्सऐप पर पिस्टल की फोटो भेजते हैं और कहते हैं इससे तुम्हारी हत्या करेंगे। कभी नोटों की गड्डी के फोटो भेजकर इंतजाम करने के मैसेज देते हैं। 26 दिन में 87 बार धमका चुके हैं। 30 दिन FIR हुए हो गए हैं, लेकिन आरोपी नहीं पकड़ा गया। अब तो बाहर निकलने में भी डर लगता है। धमकाने वाले घर-ऑफिस तक आने लगेजिला स्वास्थ्य अधिकारी (डीएचओ) और उनका परिवार 26 दिन से डर के साए में जी रहा है। 20 सितंबर से 2 अक्टूबर के बीच डीएचओ को व्हाट्सऐप पर 87 धमकी भरे मैसेज मिले। डीएचओ ने FIR कराई, लेकिन पुलिस आरोपी तक नहीं पहुंची। अब धमकी देने वाले ने नया पैंतरा चला। चार दिन पहले राजेश कंसाना नाम का एक शख्स आरोपी का वकील बनकर डीएचओ के दफ्तर (सीएमएचओ कार्यालय) पहुंचा। कंसाना ने खुद को वकील बताते हुए डीएचओ से कहा- आप मेरे क्लाइंट को क्यों परेशान कर रहे हैं? डीएचओ ने जवाब दिया-मैं तो उन्हें जानता भी नहीं हूं उल्टा वही मुझे धमका रहे हैं। कथित वकील कंसाना बोला- ठीक है, 2 दिन बाद कोर्ट में मिलते हैं। इस हरकत की डीएचओ कौरव ने पुलिस को सूचना दी, लेकिन पुलिस का वही पुराना जवाब मिला कि मामले की जांच चल रही है। बदमाश बोला-11 लाख रुपए की सुपारी मिली हैगोला का मंदिर निवासी डॉ. मनोज कौरव जिले के स्वास्थ्य अधिकारी हैं। उनकी पत्नी सुनीता को 20 सितंबर को सुबह 11 बजे मोबाइल पर एक नंबर 7441135496 से पहली बार धमकी भरा कॉल आया। बदमाश बोला- 4 दिन हो गए पैसे कब देगा, मार दूंगापहली धमकी के बाद 24 सितंबर को फिर 7441135496 मोबाइल नंबर से व्हाट्सऐप पर संदेश में भेजने वाले ने कहा- आज 4 दिन हो गए, पैसे कब दे रही हो? नहीं देना है तो बताओ। क्योंकि आज से मिशन मर्डर तैयार हो जाएगा। मुझे 15 लाख दे दो, नहीं तो घर में घुसकर गोली मार दूंगा। पुलिस ने 26 दिन में अब तक क्या किया ?डॉ.मनोज कौरव ने धमकी मिलने की शिकायत 20 सितंबर को गोला का मंदिर थाने में की थी। पुलिस ने 22 सितंबर को एफआईआर दर्ज की। जांच में सामने आया कि धमकी भरे मैसेज नंबर 7441135496 से भेजे गए, जो भिंड निवासी शिवम शाक्य के नाम पर है। पुलिस जब भिंड पहुंची। शिवम से पूछताछ की गई। उसने बताया कि उसकी सिम कुछ समय पहले गिर गई थी, इसलिए उसे धमकी के बारे में कुछ नहीं पता। पुलिस ने उसे छोड़ दिया। इसके बाद उसी नंबर से घासमंडी में रहने वाली एक महिला से लगातार बातचीत हो रही थी। पुलिस ने महिला से भी पूछताछ की, लेकिन कोई ठोस जानकारी नहीं मिली। अब पुलिस वकील बनकर डॉक्टर के ऑफिस पहुंचे व्यक्ति के बारे में जानकारी जुटा रही है। वकील बनकर मिलने वाला कौन है?हाल ही में एक शख्स आरोपी का वकील बनकर डॉक्टर कौरव से मिला था। राजेश कंसाना नाम कर शख्स डॉक्टर के पास पहुंचा था। दैनिक भास्कर के पास डॉक्टर और राजेश के बीच हुई बातचीत का वीडियो भी है। वकील बनकर पहुंचे राजेश का कहना है कि मेरे पास एक व्यक्ति आया और बोला कि मैं उसका केस ले लूं। उसने डॉक्टर को धमकी देने की बात भी कही। यह सुनने के बाद मैं डॉक्टर से मिलने गया। मैंने डॉक्टर से पूछा कि क्या आपको किसी ने धमकी दी है? मामला क्या है? डॉक्टर ने स्पष्ट किया कि यह रंगदारी का मामला है। इसके बाद डॉक्टर ने उस व्यक्ति का नाम पूछा, लेकिन मैंने बताने से इनकार कर दिया। डॉक्टर ने पूछा कि आप मुझसे मिलने क्यों आए हैं? मैंने कहा-आज मिलते या 2 दिन बाद कोर्ट में मिलते। इसके बाद मैं आ गया। आरोपी की पहचान हो गई, जल्द पकड़ा जाएगागोला का मंदिर थाना टीआई हरेंद्र शर्मा ने बताया कि आरोपी की पहचान हो चुकी है। पुलिस ने उसकी तलाश शुरू की तो उसने मोबाइल बंद कर दिया। जल्द ही हम आरोपी को पकड़कर इस पूरे मामले का पटाक्षेप करेंगे।
हम आपको बता रहे हैं, भोपाल शहर में आज कहां-क्या हो रहा है। यहां हर वो जानकारी होगी, जो आपके काम आएगी। संगीत-संस्कृति, आर्ट, ड्रामा के इवेंट से लेकर मौसम, सिटी ट्रैफिक, बिजली-पानी की सप्लाई से जुड़ा हर अपडेट मिलेगा। काम की जरूरी लिंक्स
पंजाबी सिंगर बब्बू मान का तीन दिन पहले लॉन्च हुए नए गीत पर पंजाब में कॉन्ट्रोवर्सी पैदा हो गई। गीत के बोल और म्युजिक को लोग खूब पसंद कर रहे हैं, लेकिन गीत के टाइटल को लेकर हिंदू संगठनों के साथ साथ उनके फेंस में भी रोष है। फेंस कमेंट बॉक्स में टाइटल को लेकर विरोध भी जता रहे हैं। पंजाब में अक्सर जब भी कोई बड़ी घटनाएं होती हैं तो अलग-अलग संगठनों द्वारा काली दिवाली मनाने की बात की जाती है। बब्बू मान ने दिवाली से ठीक तीन दिन पहले अपना गीत लॉन्च किया और उसका टाइटल 'ब्लैक दिवाली' रख दिया। गीत के टाइटल पर हिंदू संगठनों के नेता और उनके फेंस सवाल खड़े कर रहे हैं। दिवाली हिंदुओं की आस्था का प्रतीक शिव सेना नेता अमित अरोड़ा ने बब्बू मान के गीत के टाइटल पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि दिवाली को काली कहना या लिखना यह सनातनियों की आस्था के साथ खिलवाड़ है। उनका कहना है कि दिवाली सनातन की आस्था का प्रतीक है। इस दिन भगवान राम अयोध्या लौटकर आए थे। फेंस की अपील, गीत का टाइटल बदलें बब्बू मान इंस्टाग्राम पर फेंस ने बब्बू मान को लिखा है कि वो उसके फैंस हैं। जो गीत लॉन्च किया है उसके बोल भी अच्छे हैं लेकिन टाइटल हिंदुओं की आस्था को ठेस पहुंचाता है। उन्होंने कमेंट में लिखा है भाजी प्लीज गाने का टाइटल बदल दो। यूट्यूब पर 5.92 लाख लाइक्स, 5923 कमेंट यूट्यूब पर तीन दिन पहले बब्बू मान ने अपने ऑफिशियल चैनल पर लॉन्च किया। इस गीत को उनके फेंस खूब प्यार दे रहे हैं। यूट्यूब पर इस गीत पर 5.92 लाख लाइक्स आ चुके हैं और 5923 कमेंट हो चुके हैं। इंस्टाग्राम पर अपलोड रील पर 93.8 हजार लाइक्स इंस्टाग्राम पर बब्बू के इस गीत की एक रील पर 93.8 हजार लाइक्स आए हैं, जबकि 6261 लोगों ने कमेंट किया है और 13.3 हजार लोगों ने इसे शेयर किया है।
हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग (HSSC) ने कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट (CET) के अभ्यर्थियों के लिए करेक्शन पोर्टल खोला है। जिसके बाद अभ्यर्थी अपनी कैटेगरी का सर्टिफिकेट अपडेट करके करेक्शन करवा सकते हैं। सीईटी परीक्षा के दौरान चेयरमैन हिम्मत सिंह ने बयान दिया था करेक्शन पोर्टल खोलने की प्रक्रिया होने के करीब 15 दिन बाद रिजल्ट जारी किया जाएगा। जिसका अभ्यार्थियों को इंतजार है। बता दें कि, एचएसएससी ने प्रदेशभर के परीक्षा केंद्रों पर 26-27 जुलाई को सीईटी एग्जाम आयोजित कराया था। इस सीईटी परीक्षा में करीब 13.48 लाख अभ्यार्थियों ने रजिस्ट्रेशन करवाया था। वहीं इनमें से करीब 12.46 लाख अभ्यार्थियों ने परीक्षा दी थी। सभी अभ्यार्थियों को रिजल्ट का इंतजार है। सीईटी का रिजल्ट नवंबर माह में आने का अनुमान है। युवा भी लगातार रिजल्ट को लेकर सवाल पूछ रहे हैं। ताकि उनका इंतजार लंबा ना हो। हालांकि परीक्षा के वक्त चेयरमैन हिम्मत सिंह ने कहा था कि एक माह के अंदर रिजल्ट घोषित किया जाएगा, लेकिन अब तक इस बारे में कोई अधिकारी जानकारी अपडेट नहीं है। 24 अक्टूबर तक खोला करेक्शन पोर्टलबता दें कि, अब एचएसएससी ने CET के अभ्यर्थियों के लिए करेक्शन पोर्टल 17 से 24 अक्टूबर तक खोला है। अभ्यर्थी 24 अक्टूबर को रात 11 बजकर 59 मिनट तक अपने फॉर्म में सुधार कर सकते हैं। आयोग ने एक पब्लिक नोटिस भी जारी किया है, जिसमें हाईकोर्ट के 1 जुलाई के आदेश का हवाला देते हुए कहा गया है कि CET ग्रुप-सी 2025 परीक्षा के लिए सुधार पोर्टल खोलने का निर्णय लिया गया है। नोटिस में उम्मीदवारों को सलाह दी गई है कि वे 17 से 24 अक्टूबर के बीच करेक्शन पोर्टल पर सुधार कर लें। इसको लेकर चेयरमैन हिम्मत सिंह ने युवाओं को जानकारी देते हुए निर्देश दिए कि जिस अभ्यर्थी को कैटेगरी करेक्शन करना है। उनका कैटेगरी सर्टिफिकेट 14 जून से पहले का आवेदन किया हुआ होना चाहिए। वे ही उम्मीदवार पोर्टल पर जाकर करेक्शन कर सकते हैं। आयोग ने स्पष्ट किया है कि श्रेणी सुधार के किसी भी अनुरोध पर भौतिक रूप से विचार नहीं किया जाएगा।
हरियाणा के कॉलेजों में सेमिनार, वर्कशॉप, कॉन्फ्रेंस में खाने-पीने के रेट तय कर दिए गए हैं। अब कॉलेज प्रबंधन ऐसे आयोजनों में अपनी मनमर्जी नहीं चला सकेंगे। हायर एजूकेशन डिपार्टमेंट ने इसके लिए मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) बना दी है। ये एसओपी सरकारी, एडिड व निजी कॉलेजों में लागू की गई है। इसके अनुसार, आयोजनों में शामिल होने वालों से 500 रुपए से अधिक रजिस्ट्रेशन फीस नहीं ले सकेंगे। राष्ट्रीय स्तर के सेमिनार या वर्कशॉप पर प्रतिदिन 60 हजार और अंतरराष्ट्रीय सेमिनार पर 1 लाख रुपए खर्च किए जा सकेंगे। आयोजनों में प्रतिभागियों की संख्या 60 से 80 के बीच रहेगी। प्रिंसिपल कारण बता इनकी संख्या 10% बढ़ाने की अनुमति ले सकेंगे। 40 रुपए चाय के फिक्स हुए आयोजन में प्रति व्यक्ति चाय के लिए 40 रुपए और खाने का 200 रुपए प्रतिदिन बजट तय किया है। विशेष वक्ता को प्रति घंटे 2 हजार रुपए के हिसाब से पेमेंट की जा सकेगी। वक्ता दिन में दो लेक्चरर दे सकेंगे। बोर्डिंग व लोडिंग पर प्रति व्यक्ति 1 हजार रुपए खर्च होगा। स्टेशनरी व अन्य चीजों पर 15 हजार रुपए तक खर्च कर सकेंगे। आयोजन के बाद 15 दिन में यूटिलाइज सर्टिफिकेट देना होगा। कार्यक्रम की रिपोर्ट, फोटोग्राफ, प्रतिभागियों का फीडबैक निदेशालय के पास भेजना होगा। ऐसे में कोई भी सेमिनार के नाम पर फर्जीवाड़ा नहीं कर सकेगा। नवंबर-दिसंबर में देना होगा प्रस्ताव आयोजनों का समय सुबह 9:30 से शाम 5 बजे तक रहेगा। 4 सेशन होंगे। टी-ब्रेक, लंच का समय भी तय है। कार्यक्रम के लिए शनिवार, रविवार जैसे छुट्टी के दिन को प्राथमिकता देने के लिए कहा है। इनसे कॉलेज में पढ़ाई प्रभावित नहीं होनी चाहिए। आयोजन की तारीखें व मकसद बताते हुए नवंबर-दिसंबर में ही इसका प्रस्ताव हायर एजूकेशन डिपार्टमेंट के पास भेजना होगा। पिछले 3 साल के आयोजनों के विषय की भी जानकारी देनी होगी। स्क्रीनिंग कमेटी मंजूरी जरूरी एसओपी में हायर एजूकेशन डिपार्टमेंट ने एसओपी में ये भी व्यवस्था की है जिसके तहत बजट की डिमांड करते वक्त आइटम वाइज खर्च ब्योरा देना होगा। आयोजन में कौन शामिल होगा, जैसे विद्यार्थी, फैकल्टी, स्कॉलर्स, वक्ता या अन्य। स्क्रीनिंग कमेटी तय करेगी कि आयोजन होना चाहिए या नहीं। अभी कॉलेजों में होने वाले कार्यक्रमों के लिए प्रबंधन मर्जी के हिसाब से फीस लेते हैं। लागू करने की ये 3 बड़ी वजह... 1. कॉलेज के स्टूडेंट्स की हमेशा से शिकायत रहती है कि खर्च के मुकाबले फीस ज्यादा ले ली जाती है। इन शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए ये एसओपी में इसकी भी व्यवस्था की गई है। यदि कोई कॉलेज अब ज्यादा फीस लेता है तो विद्यार्थी शिकायत भी कर पाएंगे। 2. सेमिनार, कॉन्फ्रेंस, वर्कशॉप जैसे आयोजनों में खाने-पीने के बिलों में बजट को लेकर गड़बड़ी सामने आई हैं। कुछ कॉलेजों में कई बार आयोजन पर बजट खर्च अधिक दिखाए जाने की संभावना रहती है। इस एसओपी के बाद अब इस पर अंकुश लग सकेगा। 3. हायर एजूकेशन डिपार्टमेंट की ओर से जारी एसओपी से फर्जीवाड़ा रुकेगा। कुछ कॉलेजों में कार्यक्रमों में देर शाम हो जाती है। इससे छात्रों को घर जाने में असुविधा होती है। खासकर छात्राओं को इससे काफी परेशानी होती थी।
हरियाणा में यमुनानगर जिले के व्यासपुर में स्थित पवित्र तीर्थस्थल कपालमोचन एक बार फिर धार्मिक और सांस्कृतिक उत्सव का केंद्र बनने को तैयार है। 1 से 5 नवंबर तक श्री कपालमोचन-श्री आदि बद्री मेला आयोजित होने जा रहा है। यह मेला हिंदू-सिख एकता का प्रतीक है। इस बार कपालमोचन सरोवर, ऋण मोचन सरोवर, और सूरजकुंड सरोवर में स्नान के लिए देशभर से 8 से 10 लाख श्रद्धालु जुटने की उम्मीद है। पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और चंडीगढ़ सहित अन्य राज्यों से आने वाले श्रद्धालु यहां स्नान कर पापों से मुक्ति और मनोकामनाओं की पूर्ति की कामना करेंगे। यमुनानगर प्रशासन ने मेले को भव्य और सुरक्षित बनाने के लिए व्यापक तैयारियां शुरू कर दी हैं, जिसमें तकनीकी नवाचार और बीमा कवरेज जैसे विशेष इंतजाम शामिल हैं। इंटरेक्टिव हिस्ट्री से दर्शाया जाएगा महत्त्व इस बार मेले में श्रद्धालुओं के अनुभव को और समृद्ध करने के लिए प्रशासन ने इंटरेक्टिव डिजिटल हिस्ट्री बोर्ड लगाने का फैसला किया है। ये बोर्ड मेले के धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व को आकर्षक और आधुनिक ढंग से प्रस्तुत करेंगे, जिससे श्रद्धालु कपाल मोचन की पौराणिक कथाओं और सांस्कृतिक विरासत से आसानी से परिचित हो सकेंगे। इसके साथ ही, प्रशासन ने श्रद्धालुओं और दुकानदारों की सुरक्षा के लिए व्यापक बीमा कवरेज की व्यवस्था की है। प्रतिदिन 2 लाख श्रद्धालुओं के लिए इंश्योरेंस पॉलिसी और दुकानदारों के लिए 1 लाख तक की कवरेज सुनिश्चित की गई है, ताकि किसी भी अप्रिय स्थिति में आर्थिक सुरक्षा प्रदान की जा सके। 100 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरों और ड्रोन से रखी जाएगी नजर एसडीएम जसपाल सिंह ने बताया कि सुरक्षा के लिए मेला क्षेत्र में 2,000 से अधिक पुलिसकर्मी और 4,000 से 5,000 सिविल कर्मचारी तैनात किए जाएंगे। वहीं 100 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरे और ड्रोन की मदद से मेला क्षेत्र के हर कोने पर कड़ी नजर रखी जाएगी, ताकि कोई ब्लैक स्पॉट न रहे। सड़क यातायात को सुगम बनाने के लिए रणजीतपुर, लेडी-प्रताप नगर, व्यासपुर और साढौरा से कपालमोचन तक की सड़कों की मरम्मत का कार्य तेजी से चल रहा है। सरोवरों में जलभराव और सफाई का कार्य भी जोरों पर है, ताकि श्रद्धालुओं को स्नान के लिए स्वच्छ और पर्याप्त जल उपलब्ध हो। महिला घाटों की ऊंचाई बढ़ाई गई है, ताकि महिलाएं सुरक्षित और आरामदायक तरीके से स्नान कर सकें। सभी टेंडर प्रक्रियाएं हुई पूरी एसडीएम ने बताया कि श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए श्री बद्रीनारायण और श्री केदारनाथ मंदिरों पर व्हीलचेयर और वॉलंटियर्स की व्यवस्था की जाएगी, जो विशेष रूप से बुजुर्गों और दिव्यांगजनों के लिए सहायक होगी। मेला क्षेत्र में 20 स्थायी शौचालय बनाए गए हैं, और हर साल 15-20 नए शौचालय जोड़े जा रहे हैं। अस्थायी शौचालयों और कैटरिंग सेवाओं के लिए टेंडर प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। प्रकाश व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए सरोवरों पर स्थायी लाइटें और मेला ग्राउंड में अस्थायी लाइटें लगाई गई हैं। बिजली के खंभों और तारों की मरम्मत का कार्य भी तेजी से चल रहा है, ताकि रात के समय मेला क्षेत्र में पर्याप्त उजाला रहे। एसडीएम जसपाल सिंह ने बताया कि सभी तैयारियां एक सप्ताह के भीतर पूर्ण हो जाएंगी, और प्रशासन का लक्ष्य श्रद्धालुओं को एक सुरक्षित और सुविधाजनक अनुभव प्रदान करना है। भगवान शंकर का हुआ था बह्मा कपाली दोष दूर गऊ बच्छा मंदिर के पुजारी सुभाष चंद शर्मा ने बताया कि, स्कंद महापुराण के अनुसार, कलयुग के प्रभाव से ब्रह्मा ने सरस्वती के प्रति अनुचित विचार रखे। सरस्वती ने भगवान शंकर से द्वैत-वन में शरण मांगी। शंकर ने ब्रह्मा का सिर काट दिया, जिससे उन्हें ब्रह्म हत्या का पाप और ब्रह्मा कपाली का चिह्न लगा। तीर्थों में स्नान-दान के बाद भी चिह्न नहीं हटा। शंकर पार्वती सहित सोमसर (कपाल मोचन) तीर्थ पहुंचे। यहां बछड़े ने ब्राह्मण की हत्या कर ब्रह्म हत्या का पाप लिया, लेकिन सोमसर तालाब में स्नान से वह और गोमाता पापमुक्त हो गए। पार्वती के कहने पर शंकर ने भी स्नान किया और ब्रह्मा कपाली दोष से मुक्त हुए। इसलिए यह तीर्थ कपाल मोचन कहलाया। कपालमोचन मेला सिख इतिहास के लिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि गुरु गोबिंद सिंह ने भंगानी की लड़ाई के बाद यहां 52 दिनों तक रुककर तपस्या की थी। उन्होंने सिख सैनिकों को सम्मानित करने के लिए यहीं से सिरोपा देने की परंपरा शुरू की और बाद में यहीं पर पहली बार गुरु नानक देव जी का जन्मोत्सव भी मनाया। यह स्थान सिखों और हिंदुओं दोनों के लिए एक पवित्र तीर्थ स्थल है। 100 से ज्यादा ग्रामीण सेवक सेवा में लगे हुए स्थानीय निवासी नवीन कुमार ने बताया कि करीब एक माह से मेले की तैयारियां चल रही हैं। तीन कस्बों के 100 से भी ज्यादा ग्रामीण सेवक सेवा में लगे हुए हैं। इस बार 10 लाख से ज्यादा श्रद्धालुओं के यहां पर पहुंचने की उम्मीद है। धर्मशालाएं भी पूरी तरह से तैयार हैं। ग्रामीणों को भी इस मेले का बेसब्री से इंतजार रहता है, क्योंकि मेले में उन्हें रोजगार मिल जाता है।
26 सितंबर 2021, शाम 6 बजे का वक्त। जयपुर के नजदीक का एक गांव। 9 साल की बच्ची घर से कुछ दूरी पर स्थित एक दुकान से सामान लेने के लिए गई। काफी देर तक नहीं लौटी। परिजनों ने हर जगह ढूंढा, लेकिन उसका कहीं पता नहीं चला। कुछ देर बाद बच्ची लौटी। उसकी हालत देखकर परिजनों के होश उड़ गए। बच्ची लहूलुहान थी। बच्ची के साथ रेप हुआ था। दरिंदे ने घर छोड़ने के बहाने सुनसान जगह ले जाकर उसके साथ दुष्कर्म किया था। बच्ची चीख न सके, इसके लिए आरोपी ने उसके मुंह में कपड़ा ठूंस दिया था। दुष्कर्म के बाद गला दबा दिया। बच्ची बेहोश हो गई तो उसे मरा समझकर आरोपी फरार हो गया। पढ़िए पूरी रिपोर्ट… जयपुर के पास के एक गांव में पांच बेटियों का पिता मजदूरी और मां खेती करती थी। पांच बेटियों में सबसे बड़ी नौ साल की थी। घर की जिम्मेदारियों में हाथ बंटाती थी। उस दिन भी यही हुआ। 26 सितंबर की शाम को दादा के कहने पर मासूम कुछ सामान लेने घर के पास ही दुकान पर पहुंची। इस दौरान बारिश शुरू हो गई। बारिश से बचने के लिए मासूम ने कुछ देर दुकान पर ही रुकना ठीक समझा। बारिश जब कुछ कम हुई तो वो घर जाने लगी। इस दौरान एक शख्स उसके पास आया। उसने बच्ची को कहा कि वह उसे घर छोड़ देगा। मासूम उसके इरादे भांप नहीं पाई। घर छोड़ने के बहाने आरोपी मासूम को सुनसान जगह ले गया। वहां मासूम के साथ ज्यादती की। बच्ची चिल्ला न सके, इसके लिए उसके मुंह में कपड़ा ठूंस दिया था। दुष्कर्म के बाद पकड़े जाने के डर से उसने मासूम का गला दबा दिया। आरोपी ने इतनी जोर से गला दबाया कि मासूम बेहोश हो गई। बच्ची को मरा समझकर आरोपी मौके से भाग गया। नौ साल की बच्ची के लिए यह असहनीय था। शरीर पर जगह–जगह चोटें थी, जिनसे खून रिस रहा था। काफी देर तक बेहोश रहने के बाद मासूम को कुछ होश आया। उसने खुद को संभाला और उसी हालत में घर की तरफ चल दी। इधर, घर पर मां इंतजार कर रही थी। बेटी नहीं लौटी तो एक बार मां ने सोचा भी कि जाकर देखूं। फिर सोचा- बारिश के कारण रुक गई होगी, आ जाएगी। लेकिन जब बेटी लौटी तो उसकी हालत देखकर मां की रूह कांप गई। बेटी के कपड़े खून से सने थे। मां कुछ समझ पाती, इससे पहले ही मासूम ने रोते हुए अपने साथ हुई हैवानियत के बारे में बताया। मां ने तुरंत अपने पति को फोन करके घर बुलाया। पिता के लौटते ही बेटी को पास के सरकारी अस्पताल लेकर गए। बेटी की हालात देखकर मां भी खुद को संभाल नहीं पाई और बेहोश गई। सरकारी अस्पताल में इलाज के दौरान डॉक्टर्स ने पाया कि मासूम के शरीर पर कई चोट के निशान थे। इस दौरान मासूम की हालात को देखते हुए उसे रात करीब 10 बजे जयपुरिया हॉस्पिटल लेकर गए। वहां मासूम का ऑपरेशन करना पड़ा। साथ ही कपड़ों और लार के सैम्पल लेकर डीएनए जांच के लिए भेजे गए। इधर, पुलिस को सूचना मिलने के बाद रात करीब 12 बजे मुकदमा दर्ज किया गया। पुलिस ने अपहरण, दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट की धाराओं में मामला दर्ज कर जांच शुरू की। पिता ने पुलिस को बताया कि- मेरी बेटी मेरे पिता के लिए बीड़ी का बंडल और मिठाई लेकर लौट रही थी। रास्ते में एक बदमाश उसे बहला फुसलाकर सुनसान जगह ले गया। वहां ले जाकर उसके साथ दुष्कर्म किया। कल राजस्थान क्राइम फाइल्स पार्ट-2 में पढ़िए कौन था आरोपी और पुलिस कैसे उस तक पहुंची…
भोपाल के इंजीनियर उदित गायकी की हत्या करने वाले आरोपी आरक्षक सौरभ आर्य और संतोष को सेंट्रल जेल में नई पहचान मिली है। संतोष कैदी नंबर 3808 और सौरभ को कैदी नंबर 3809 के रूप में जाना जा रहा है। दोनों को एक साथ अ खंड बंदी वार्ड में रखा गया है। दोनों को सुरक्षा कारणों के चलते एक साथ रखा है। जेल जाने के बाद से ही सौरभ आर्य गुमसुम है। जबकि संतोष अब भी पुलिसिया रसूख में है। दोनों की 13 अक्टूबर रात को जेल में आमद हुई थी। हालांकि अब तक दोनों से एक भी परिचित मिलने नहीं आया। एक अधिकारी ने उसने बातचीत की तो दोनों ने स्वयं को बेगुनाह बताया। दावा किया कि बल प्रयोग जरूर किया लेकिन कमर के निचले हिस्से में मारा था। उदित पहले ही नशे में था, उसने ही पहले बदसलूकी की थी। समझाने पर भी मौके से जाने को तैयार नहीं था। लिहाजा उसके साथ सख्ती बरतना पड़ी। आरोपियों को चेहरा छिपाकर कोर्ट में पेश किया गया था डीएसपी केतन अडलक के साले और सॉफ्टवेयर इंजीनियर उदित गायकी (20) को पीटने वाले दोनों पुलिस आरक्षक संतोष बामनिया और सौरभ आर्य को ठीक आठ दिन पहले जेल भेज दिया था। इससे पहले दोनों को कोर्ट में पेश किया गया था। पुलिस इन्हें नकाब पहनाकर कोर्ट लाई थी और नकाब में ही वापस ले गई। 9 अक्टूबर की रात को पिपलानी थाने में पदस्थ आरक्षक संतोष बामनिया और सौरभ आर्य ने उदित की डंडे से पिटाई की थी। इसका वीडियो भी सामने आया था। पिटाई के बाद उदित बेहोशी की हालत में पहुंच गया था। उसके दोस्त उसे एम्स लेकर आए, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था। उदित के शरीर पर 16 जगहों पर गंभीर चोट के निशान मिले। अगले दिन 10 अक्टूबर की सुबह उदित की मौत हो गई थी। 10 अक्टूबर की दोपहर को दोनों आरक्षकों को सस्पेंड भी कर दिया था। 11 अक्टूबर को आई पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में उदित की मौत की वजह बेरहमी से पिटाई होना बताई गई। रिपोर्ट में मौत की वजह ट्रॉमा अटैक और पेनक्रियाज डैमेज बताया गया। FIR से पिटाई की बात ही गायब मामले में पिपलानी थाने में दर्ज एफआईआर से पुलिसकर्मियों द्वारा पिटाई की बात गायब है। एफआईआर के अनुसार, कॉन्स्टेबल संतोष बामनिया और सौरभ आर्य ने बताया कि रात डेढ़ से दो बजे के बीच इंद्रपुरी में लाल कार संदिग्ध हालत में खड़ी थी। उसमें दो लड़के बैठे थे, एक बाहर खड़ा था। तीनों नशे में थे। पुलिस ने उन लड़कों से वहां खड़े होने का कारण पूछा, फिर वहां से जाने को कहा। कॉन्स्टेबल संतोष बामनिया ने बताया कि कार में बैठे एक लड़के ने बदतमीजी की। बाहर खड़ा लड़का भागा, जिसके पीछे सौरभ दौड़ा। लड़का एक गाड़ी से टकराकर गिर गया। उसने गाली दी। वर्दी उतरवाने की धमकी दी। सौरभ ने बताया कि मामला शांत करने की कोशिश में लड़के की टी-शर्ट फट गई। लड़का झगड़ा कर रहा था इसलिए हल्का बल प्रयोग किया। फिर उसे दोस्तों के हवाले कर गए। सुबह मौत की सूचना मिली। ये खबर भी पढ़ें... पुलिसकर्मियों की पिटाई से डीएसपी के साले की मौत भोपाल के पिपलानी थाना क्षेत्र में DSP के साले की मौत का मामला सामने आया है। आरोप है कि देर रात पार्टी के दौरान पुलिस ने युवक उदित की पिटाई की थी। इसका सीसीटीवी भी सामने आया है, घटना के बाद बेहोश हुए उदित को उसके दोस्तों ने एम्स अस्पताल पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। पूरी खबर पढ़ें...
हरियाणा सरकार को बड़ा झटका देते हुए पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने राज्य के अभियोजन विभाग में सहायक जिला अटॉर्नी (ADA) के 255 पदों के लिए पूरी भर्ती प्रक्रिया को रद्द कर दिया। कोर्ट ने कहा है कि जनरल नॉलेज पर आधारित स्क्रीनिंग टेस्ट का नौकरी के लिए आवश्यक कानूनी कौशल से कोई संबंध नहीं है और इसमें योग्य उम्मीदवारों को अनुचित तरीके से बाहर रखा गया है। जस्टिस मौदगिल ने 36 पेज के आदेश में जताई असहमति जस्टिस संदीप मौदगिल ने 36 पेजों के विस्तृत आदेश में कहा कि एग्जाम का सिलेबस, जिसमें सामान्य विज्ञान, समसामयिक घटनाएं, इतिहास, भूगोल और बुनियादी गणित शामिल थे, लॉ सब्जेक्ट की अनदेखी की गई। ये मनमानी है और नौकरी की जरूरतों से उसका कोई तर्कसंगत संबंध नहीं है। जस्टिस ने कहा, कानूनी ज्ञान से रहित छलनी से महत्वाकांक्षी कानूनी विशेषज्ञों को छांटना भर्ती के मूल उद्देश्य के साथ विश्वासघात है। उन्होंने आगे कहा कि ऐसी प्रक्रिया मनमाने ढंग से और चयन के उद्देश्य से बिना किसी तर्कसंगत संबंध के संचालित होती है। वकीलों ने दायर की थी याचिका, पिछली भर्तियों से अलग था पैटर्न लखन सिंह, नवेंद्र और अमन दलाल सहित अन्य वकीलों द्वारा इस मामले को लेकर याचिकाएं दाखिल की गई थी, जिन्होंने हरियाणा लोक सेवा आयोग (HPSC) के 8 अगस्त, 2025 के विज्ञापन और उसी दिन परीक्षा पैटर्न की रूपरेखा वाली एक संबंधित घोषणा को चुनौती दी थी। याचिकाकर्ताओं ने तर्क दिया कि पिछली भर्तियों के विपरीत, जहां स्क्रीनिंग टेस्ट में मुख्य रूप से कानून से संबंधित प्रश्न शामिल थे, नए प्रारूप ने इसे सामान्य विषयों तक सीमित कर दिया है, जो उनके अनुसार अनुचित है और विशेष कानूनी पद से असंबंधित है। कोर्ट ने एग्जाम को बताया बहिष्कारक प्रथा, संवैधानिक रूप से अस्थिर जस्टिस ने सहमति जताते हुए कहा कि एडीए की भूमिका के लिए आपराधिक कानून, साक्ष्य और प्रक्रिया में विशेषज्ञता की आवश्यकता होती है। आदेश में कहा गया है, स्क्रीनिंग परीक्षा से कानून को पूरी तरह से बाहर करके, आयोग ने चयन के तरीके और प्राप्त किए जाने वाले उद्देश्य के बीच के तर्कसंगत संबंध को नष्ट कर दिया है। कोर्ट ने कहा कि यह परीक्षा बड़ी संख्या में उम्मीदवारों को उनके कानूनी ज्ञान का आकलन किए बिना ही पहले चरण में ही बाहर कर देगी। अदालत ने इसे एक बहिष्कारक प्रथा बताया जो उम्मीदवारों को प्रतिस्पर्धा करने का एक सार्थक अवसर प्रदान करने से वंचित करती है और संवैधानिक रूप से अस्थिर है। ऐसे भरे जाने थे पद, तीन चरणों में होनी थी भर्ती इस भर्ती में विभिन्न श्रेणियों के रिक्त पदों को भरा जाना था, 134 जनरल, 26 अनुसूचित जाति और 54 पिछड़ा वर्ग (BCA और BCB) के पद। इसके लिए उम्मीदवारों के पास कानून की डिग्री, 10वीं कक्षा तक हिंदी या संस्कृत का अध्ययन और अधिवक्ता के रूप में पंजीकृत होना आवश्यक था। इस प्रक्रिया में तीन चरण शामिल थे, 100 बहु विकल्पीय प्रश्नों की एक स्क्रीनिंग परीक्षा (अर्हता प्राप्त करने के लिए कम से कम 25 प्रतिशत अंक आवश्यक), एक विषय ज्ञान परीक्षा जिसमें 87.5 प्रतिशत अंक सिविल और आपराधिक कानून पर केंद्रित थे, और एक साक्षात्कार जिसमें 12.5 प्रतिशत अंक थे। पदों की संख्या के चार गुना तक के उम्मीदवार ही दूसरे चरण में आगे बढ़ सकते थे। HPSC ने बचाव में दिए तर्क, कोर्ट ने किया खारिज एचपीएससी ने अपने फैसले का बचाव करते हुए कहा कि उसे शॉर्ट लिस्टिंग के तरीके तय करने का विवेकाधिकार है और स्क्रीनिंग टेस्ट केवल एक योग्यता चरण है, कानूनी ज्ञान का मूल्यांकन बाद में किया जाएगा। उसने तर्क दिया कि ग्रुप बी के अधिकारियों के रूप में एडीए को व्यापक जागरूकता की आवश्यकता है, क्योंकि उन्हें अक्सर अदालती काम से परे सरकारी विभागों में प्रतिनियुक्त किया जाता है। कोर्ट ने इस तर्क को खारिज कर दिया और कहा कि उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन के बोझ को कम करने जैसी प्रशासनिक सुविधा, सार्वजनिक रोजगार में निष्पक्ष अवसर के अभ्यर्थियों के अधिकार को खत्म नहीं कर सकती।
पानीपत की सैनी कॉलोनी स्थित राम लाल स्कूल के पास सोमवार को एक लेबर क्वार्टर से बदबू आने पर इलाके में सनसनी फैल गई। आसपास के लोगों ने दुर्गंध की सूचना तुरंत पुलिस को दी। मौके पर पहुंची किला थाना पुलिस ने जब कमरे का गेट तोड़ा तो अंदर का नजारा देखकर सभी हैरान रह गए। कमरे में एक युवक का शव पड़ा था। शव चार-पांच दिन पुराना, पहचान की जा रही थाना प्रभारी श्रीनिवास ने बताया कि शव करीब चार से पांच दिन पुराना प्रतीत हो रहा है। युवक की उम्र लगभग 26 वर्ष लग रही है। शव को कब्जे में लेकर सिविल अस्पताल भेज दिया गया है। पुलिस ने आसपास के लोगों से पूछताछ शुरू कर दी है, ताकि मृतक की पहचान हो सके और घटना की सच्चाई सामने आए। क्वार्टर में अकेला रह रहा था मृतक प्राथमिक जांच में पुलिस को पता चला कि मृतक इस क्वार्टर में अकेला रह रहा था। कमरे के दरवाजा को तोड़ा तो अंदर युवक का शव जमीन पर पड़ा था। पुलिस ने बताया कि कमरे के बाहर दुर्गंध आई तो लोगों को शक हुआ। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट से मौत के कारणों का होगा खुलासा पुलिस ने बताया कि शव की स्थिति देखकर प्रतीत होता है कि मौत कई दिन पहले हुई है। फिलहाल मौत के कारणों का पता नहीं चल सका है। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही यह स्पष्ट होगा कि यह हत्या है या प्राकृतिक मौत। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की किला थाना पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने बताया कि आसपास के सीसीटीवी कैमरों को भी देखा जाएगा जिससे पता चल सके कि युवक पिछले कितने दिनों से घर से बाहर नहीं निकला है।
कैथल जिले की कलायत तहसील के लांबा खेड़ी गांव में एक किसान ने अपनी परंपरा और कृषि विरासत को जीवित रखने का अनूठा प्रयास किया है। किसान प्रीतम सिंह ने अपने घर की छत पर बैलों की प्रतिमा स्थापित की है। यह प्रतिमा उनके परिवार के लिए एक स्मृति चिन्ह और पूरे गांव के लिए किसान सम्मान का प्रतीक बन गई है। यह प्रतिमा दो मजबूत बैलों की जोड़ी को दर्शाती है, जो एक हल से जुड़े हुए हैं, मानो वे अभी भी खेतों की मिट्टी जोत रहे हों। यह आधुनिक युग में पारंपरिक कृषि जीवन की याद दिलाती है, जब बैल किसान का वफादार साथी हुआ करते थे। बैल सिर्फ पशु नहीं, परिवार का हिस्सा थे- प्रीतम लांबा खेड़ी के एक साधारण खेतिहर परिवार से आने वाले प्रीतम सिंह ने बताया, बैल हमारे लिए सिर्फ पशु नहीं, बल्कि परिवार का हिस्सा थे। वे खेतों को जोतते, फसलें उगाते और हमारे सपनों को साकार करते थे। आज ट्रैक्टरों का जमाना है, लेकिन मैं अपनी जड़ों को नहीं भूलना चाहता। उन्होंने स्थानीय कारीगर से यह बैल की जोड़ी बनवाई और छत पर स्थापित की, जिसे वे अपनी मेहनत और सम्मान की निशानी मानते हैं। युवा पीढ़ी को संस्कृति की याद दिलानी जरूरी- रामू लांबा खेड़ी गांव एक शांतिपूर्ण ग्रामीण इलाका है, जहां कृषि अभी भी जीवन का आधार है। यहां के किसान आधुनिक यंत्रों का उपयोग करते हैं, लेकिन बैल के प्रति उनका भावनात्मक लगाव आज भी कायम है। पड़ोसी किसान रामू ने प्रीतम सिंह की इस पहल की सराहना करते हुए कहा, यह देखकर अच्छा लगता है। युवा पीढ़ी को भी अपनी संस्कृति की याद दिलानी जरूरी है। प्रीतम सिंह ने जो किया, वह एक मिसाल है। उत्तर भारत के ग्रामीण क्षेत्रों में यह प्रथा धीरे-धीरे लोकप्रिय हो रही है। विशेषज्ञों का मानना है कि बैलों की प्रतिमा स्थापित करना न केवल सांस्कृतिक संरक्षण का माध्यम है, बल्कि पर्यावरण के प्रति जागरूकता भी फैलाता है। पारंपरिक बैल आधारित खेती जैविक और टिकाऊ थी, जबकि आधुनिक उर्वरकों से मिट्टी की उर्वरता घट रही है। यह छोटी सी कोशिश प्रगति के साथ परंपरा को अपनाने का बड़ा संदेश देती है, जो सच्ची समृद्धि का प्रतीक है।
अंबाला कैंट रेलवे स्टेशन पर यात्रियों की सुविधा और पार्किंग व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए रेलवे प्रशासन ने एक बार फिर बूम बैरियर सिस्टम शुरू करने की तैयारी पूरी कर ली है। रेलवे ने इस बार ठेका प्रक्रिया में कुछ बड़े बदलाव किए हैं, ताकि पहले जैसी दिक्कत दोबारा न आएं और यात्रियों को परेशानी का सामना न करना पड़े। रेलवे के सीनियर डीसीएम नवीन कुमार झा के अनुसार, 23 अक्टूबर को बूम बैरियर का नया ठेका जारी किया जाएगा। इस सिस्टम के तहत स्टेशन पर आने-जाने वाले वाहनों को नियंत्रित किया जाएगा और पार्किंग शुल्क भी तय दरों पर लिया जाएगा। गौरतलब है कि, पिछला ठेकेदार नुकसान का हवाला देते हुए ठेका बीच में ही छोड़ गया था, जिसके बाद से रेलवे ने बूम बैरियर सिस्टम हटा दिया था। अब रेलवे ने पुराने सिस्टम में सुधार करते हुए नई योजना बनाई है। पुराने सिस्टम में यात्रियों को होती थी परेशानी पहले लागू बूम बैरियर सिस्टम के तहत स्टेशन पर वाहनों की एंट्री तो नियंत्रित थी, लेकिन समय सीमा और शुल्क प्रणाली को लेकर यात्रियों में असंतोष था। पहले 10 मिनट तक वाहन एंट्री मुफ्त थी, जबकि 10 मिनट के बाद हर अतिरिक्त 10 मिनट के लिए चार्ज वसूला जाता था। यदि कोई वाहन 30 मिनट से अधिक रुक जाता था, तो 250 रुपए तक शुल्क देना पड़ता था। कई यात्रियों ने शिकायत की थी कि अक्सर ट्रेनें देरी से आती हैं और ऐसे में यात्रियों को छोड़ने आने वाले लोगों को बिना किसी गलती के भारी शुल्क देना पड़ता था। इस वजह से रेलवे प्रशासन ने पुराने ठेकेदार से सिस्टम का मूल्यांकन करवाया, लेकिन लगातार घाटा होने के कारण ठेकेदार ने एग्रीमेंट समाप्त कर दिया। नए ठेके में बड़े बदलाव अब रेलवे ने नए ठेके में यात्रियों की सहूलियत को ध्यान में रखते हुए कई बदलाव किए हैं। सीनियर डीसीएम नवीन कुमार झा ने बताया कि इस बार समय सीमा को बढ़ाया जा रहा है। पहले जहां केवल 10 मिनट तक एंट्री फ्री थी, अब यात्रियों को इससे अधिक समय तक फ्री एंट्री का लाभ मिलेगा। उन्होंने बताया, “पिछली बार शिकायतें आई थीं कि लोगों को मात्र 10 मिनट में गाड़ी पार्क कर यात्री को उतारना मुश्किल हो जाता था। इस बार समय सीमा बढ़ाकर यात्रियों को राहत दी जाएगी।” इसके अलावा शुल्क प्रणाली में भी सुधार किया गया है। पहले जहां अधिकतम शुल्क 250 रुपए तक था, अब उसे घटाकर अधिकतम 100 रुपए तक सीमित किया जा रहा है। इससे यात्रियों को न केवल आर्थिक राहत मिलेगी बल्कि ड्राइवरों और ठेकेदारों के बीच होने वाले विवादों में भी कमी आएगी। पिक एंड ड्रॉप जोन होगा व्यवस्थित रेलवे प्रशासन ने बताया कि स्टेशन के बाहर पिक एंड ड्रॉप जोन को भी व्यवस्थित तरीके से विकसित किया जाएगा। यहां वाहनों की एंट्री और एग्ज़िट के लिए अलग-अलग लेन बनाई जाएंगी ताकि ट्रैफिक जाम की स्थिति न बने। रेलवे सुरक्षा बल (RPF) और स्टेशन स्टाफ की तैनाती भी की जाएगी ताकि किसी भी विवाद या अव्यवस्था को तुरंत रोका जा सके। रेलवे अधिकारियों का कहना है कि नया ठेका इस तरह से डिजाइन किया गया है कि ठेकेदार को भी उचित मुनाफा हो और यात्रियों को भी परेशानी न झेलनी पड़े। आधुनिक तकनीक से होगा संचालन नए बूम बैरियर सिस्टम में स्वचालित टिकटिंग और डिजिटल पेमेंट की सुविधा दी जाएगी। वाहन की एंट्री पर इलेक्ट्रॉनिक स्लिप जारी होगी, जिसमें समय अंकित रहेगा। बाहर निकलते समय वही स्लिप स्कैन करके शुल्क का निर्धारण किया जाएगा। यात्रियों को UPI, कार्ड और कैश सभी माध्यमों से भुगतान करने की सुविधा मिलेगी। रेलवे प्रशासन का कहना है कि इस सिस्टम से अनावश्यक भीड़ और विवाद दोनों में कमी आएगी। साथ ही सुरक्षा की दृष्टि से भी यह व्यवस्था अधिक कारगर होगी, क्योंकि हर वाहन का रिकॉर्ड सिस्टम में दर्ज रहेगा। यात्रियों को मिलेगी राहत सीनियर डीसीएम नवीन झा ने बताया कि नए ठेके का मकसद केवल राजस्व अर्जन नहीं, बल्कि यात्रियों को बेहतर अनुभव प्रदान करना है। उन्होंने कहा, “हमारा प्रयास है कि स्टेशन पर आने-जाने वालों को परेशानी न हो। बूम बैरियर व्यवस्था से न केवल यातायात सुचारू होगा बल्कि सुरक्षा भी बढ़ेगी।” रेलवे के अनुसार, यदि सब कुछ तय योजना के अनुसार हुआ, तो नवंबर के पहले सप्ताह से अंबाला कैंट रेलवे स्टेशन पर बूम बैरियर सिस्टम फिर से शुरू हो जाएगा।
सिरसा के डबवाली के चौटाला रोड पर रविवार देर रात एक शराबी पिकअप चालक ने भीषण हादसा कर दिया। एनएच-54 पर हुई इस घटना में पिकअप ने पहले एक खड़ी कार को टक्कर मारी, फिर उसे घसीटते हुए रेनबो अस्पताल की दीवार तोड़ दी और अंत में एक ट्रांसफॉर्मर के पोल से जा टकराई। यह हादसा रात करीब 11:09 बजे हुआ। हनुमानगढ़ का रहने वाला है चालक, बुढलाड़ा जा रहा था टक्कर इतनी जोरदार थी कि ट्रांसफॉर्मर नीचे गिर गया, जिसकी तेज आवाज से आसपास के लोग सहम गए। पिकअप चालक की पहचान हनुमानगढ़, राजस्थान के गांव सिलबाला खुर्द निवासी संदीप सिंह के रूप में हुई है। वह गाड़ियों की बैटरियां लेकर पंजाब के बुढलाड़ा जा रहा था। कार को कई मीटर घसीटा, अस्पताल की दीवार तोड़ी चालक संदीप सिंह ने बताया कि उसे समझ नहीं आया कि गाड़ी कैसे अनियंत्रित हुई। पिकअप ने पहले गांव डबवाली निवासी प्रदीप सिंह की अस्पताल के बाहर खड़ी रिट्ज कार को टक्कर मारकर बुरी तरह घसीटा, उसे उल्टी दिशा में घुमाया और फिर अस्पताल की दीवार तोड़ते हुए ट्रांसफॉर्मर के पोल से टकरा गई। गनीमत रही, कार में कोई नहीं था हादसे के तुरंत बाद डॉ. सुखविंदर सिंह, अस्पताल स्टाफ और मरीज बाहर आ गए। सूचना मिलते ही बिजली विभाग के कर्मचारी और पुलिस मौके पर पहुंची और चालक को सुरक्षित बाहर निकाला। गनीमत रही कि जिस वक्त यह हादसा हुआ, उस वक्त रिट्ज कार में कोई नहीं था और चौटाला रोड पर भी वाहनों की आवाजाही कम थी, जिससे कोई बड़ा जान-माल का नुकसान नहीं हुआ।
दक्षिण-पूर्व बंगाल की खाड़ी में साइक्लोनिक सर्कुलेशन (चक्रवात) के एक्टिव होने से मध्यप्रदेश में अगले 4 दिन तक मौसम बदला रहेगा। मौसम विभाग की माने तो आधे प्रदेश में 24 अक्टूबर तक हल्की बारिश और गरज-चमक की स्थिति बनी रह सकती है। भोपाल, इंदौर और जबलपुर संभाग के ज्यादातर जिलों में बारिश का अलर्ट है। मौसम विभाग ने मंगलवार को हरदा, नर्मदापुरम, बैतूल, छिंदवाड़ा, पांढुर्णा, सिवनी, डिंडौरी, मंडला और बालाघाट में बूंदाबांदी और गरज-चमक होने का अलर्ट जारी किया है। अगले दिन सिस्टम का असर ज्यादा रहेगा। 22 अक्टूबर को इंदौर, भोपाल, राजगढ़, शाजापुर, बड़वानी, खरगोन, बुरहानपुर, खंडवा, हरदा, देवास, सीहोर, विदिशा, रायसेन, नर्मदापुरम, बैतूल, सागर, नरसिंहपुर, दमोह, जबलपुर, छिंदवाड़ा, पांढुर्णा, सिवनी, मंडला, बालाघाट, डिंडौरी और अनूपपुर में मौसम बदला रह सकता है। 23 और 24 अक्टूबर को भी दक्षिणी हिस्से के जिलों में हल्की बारिश और गरज-चमक बनी रहेगी। इससे पहले दिवाली पर झाबुआ, अलीराजपुर, बड़वानी, सिवनी, मंडला, बालाघाट और डिंडौरी में बादल छाए रहे। अक्टूबर में मिला-जुला मौसम रहेगामौसम विभाग ने अक्टूबर महीने में मौसम का मिला-जुला असर रहने की संभावना जताई है। रात व सुबह हल्की ठंड है तो दिन में धूप का असर बना रहेगा। कहीं-कहीं बारिश का अनुमान भी है, लेकिन नवंबर के दूसरे सप्ताह से तेज ठंड का दौर शुरू हो जाएगा। रात में फिर लुढ़का पारामौसम का मिजाज बदलने से रात के तापमान में फिर गिरावट हुई है। रविवार-सोमवार की रात में ज्यादातर शहरों में रात का पारा लुढ़क गया। भोपाल में 17.2 डिग्री, इंदौर में 20.2 डिग्री, उज्जैन में 22 डिग्री, ग्वालियर में 20.5 डिग्री और जबलपुर में 18 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। बैतूल, दतिया, गुना, खंडवा, खरगोन, पचमढ़ी, राजगढ़, श्योपुर, शिवपुरी, छिंदवाड़ा, जबलपुर, खजुराहो, मंडला, नरसिंहपुर, नौगांव, रीवा, सागर, सतना, टीकमगढ़, उमरिया और मलाजखंड में पारा 20 डिग्री से नीचे रहा। छतरपुर का नौगांव सबसे ठंडा रहा। यहां पारा 16.3 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। राजगढ़ में 16.6 डिग्री रहा। नवंबर-जनवरी में पड़ेगी कड़ाके की सर्दीमौसम विभाग के अनुसार, नवंबर से कड़ाके की ठंड का दौर शुरू हो जाता है, जो जनवरी तक रहता है। इस बार फरवरी तक ठंड का असर रहने की संभावना है। मौसम वैज्ञानिकों का अनुमान है कि आने वाले सर्दियों के मौसम में 2010 के बाद सबसे भीषण ठंड का एहसास हो सकता है। सर्दियों के दौरान इस बार सामान्य से ज्यादा बारिश देखने को मिल सकती है, उत्तर-पश्चिम भारत के इलाकों में सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ अधिक संख्या में प्रभावित करेंगे। आईएमडी ने भी जल्द ही ला-नीना परिस्थितियां विकसित होने की पुष्टि की है। पूरे एमपी से विदा हो चुका है मानसूनमौसम विभाग के अनुसार, पूरे प्रदेश से मानसून विदा हो गया है। इस साल मानसून 3 महीने 28 दिन एक्टिव रहा। 16 जून को प्रदेश में मानसून की एंट्री हुई थी और 13 अक्टूबर को वापसी की। बावजूद बारिश का दौर बना रहेगा। इस बार प्रदेश में मानसून की 'हैप्पी एंडिंग' रही। भोपाल, ग्वालियर समेत 30 जिले ऐसे रहे, जहां 'बहुत ज्यादा' बारिश दर्ज की गई। ओवरऑल सबसे ज्यादा बारिश वाला जिला गुना है। जहां पूरे सीजन 65.7 इंच पानी गिर गया, जबकि श्योपुर में 216.3% बारिश हुई। एक्सपर्ट की माने तो अच्छी बारिश होने से न सिर्फ पेयजल बल्कि सिंचाई के लिए भी भरपूर पानी है। भू-जल स्तर भी बढ़ा रहेगा। हालांकि, शाजापुर ऐसा जिला है, जहां सबसे कम 28.9 इंच (81.1%) ही बारिश हुई है। मानसूनी सीजन में मौसम विभाग ने प्रदेश में 106 प्रतिशत बारिश होने का अनुमान जताया था, लेकिन 15 प्रतिशत पानी ज्यादा गिर गया। ग्वालियर-चंबल संभाग के जिलों में दोगुनी बारिश हो गई। इंदौर, ग्वालियर, चंबल, जबलपुर, रीवा, शहडोल, सागर संभाग के 50 जिलों में कोटा फुल रहा। वहीं, भोपाल, उज्जैन और नर्मदापुरम संभाग के 4 जिले- उज्जैन, शाजापुर, बैतूल और सीहोर में 81.1 से 98.6 प्रतिशत बारिश हुई। इन जिलों में कोटा पूरा नहीं हो पाया। हालांकि, इनमें से तीन जिले- उज्जैन, सीहोर और बैतूल में आंकड़ा 94% से ज्यादा ही है। इस वजह से ये सामान्य बारिश के आसपास ही है, लेकिन शाजापुर 'बारिश की भारी कमी' की कैटेगरी में है। यहां कोटे का 81 प्रतिशत पानी ही गिरा। एमपी में इस बार इतनी बारिश... अगले 2 दिन ऐसा रहेगा मौसम... जानिए, अक्टूबर में कब कैसा रहा 5 बड़े शहरों का मौसम... भोपाल: 2012 में रिकॉर्ड 38 डिग्री रहा था तापमानभोपाल में अक्टूबर का सामान्य औसत अधिकतम तापमान 32.7 और न्यूनतम तापमान 19.1 डिग्री सेल्सियस रहा है। पिछले 10 साल में तापमान 33 डिग्री के पार ही रहा। 2015 में यह 37.3 डिग्री तक पहुंच चुका है। 2012 में पारा रिकॉर्ड 38 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया था। वहीं, न्यूनतम तापमान 11.7 डिग्री 12 अक्टूबर 2012 को रहा था। इस महीने बारिश का भी ट्रेंड है। साल 1955 में पूरे महीने साढ़े 7 इंच बारिश हुई थी। 6 अक्टूबर 2009 को 24 घंटे में रिकॉर्ड 5 इंच पानी गिरा था। इंदौर: 25 साल पहले रिकॉर्ड 6.2 डिग्री रहा था न्यूनतम तापमानइंदौर में भी तीनों मौसम देखने को मिलते हैं। पिछले 10 साल 2015 से 2024 की बात करें, तो दिन में एक बार 36 डिग्री और तीन बार 35 डिग्री सेल्सियस तापमान रह चुका है। रात का टेम्प्रेचर 14 से 16 डिग्री सेल्सियस के बीच रहता है। अक्टूबर के आखिरी सप्ताह में रात में ठंड का असर बढ़ जाता है। इस महीने इंदौर में बारिश होने का ट्रेंड है। साल 2013 में सबसे ज्यादा 4 इंच बारिश दर्ज की गई थी। पिछले साल 1 इंच पानी गिरा। इंदौर में 22 अक्टूबर 2000 को दिन का तापमान 37.8 डिग्री तक पहुंच गया था। यह अब तक का रिकॉर्ड है। 25 साल पहले 22 अक्टूबर 1999 को रात का तापमान 6.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। यह अब तक की सबसे ठंडी रात रही थी। वर्ष 1985 में अक्टूबर महीने में 9 इंच से ज्यादा बारिश हो गई थी। 24 घंटे में सबसे ज्यादा बारिश 9 अक्टूबर 1985 को 6.19 इंच हुई थी। ग्वालियर: 39 डिग्री तक पहुंच जाता है दिन का तापमानग्वालियर में अक्टूबर महीने में भी दिन में तेज गर्मी पड़ती है। वर्ष 2015 में अधिकतम तापमान 39 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच चुका है। पिछले 10 साल में अमूमन तापमान 35 से 39 डिग्री के बीच ही रहा है। 27 अक्टूबर 1994 को दिन का तापमान 40.1 डिग्री दर्ज किया गया था, जो अब तक का सबसे ज्यादा है। यहां का औसत अधिकतम तापमान 34.2 डिग्री और औसत न्यूनतम तापमान 19.3 डिग्री सेल्सियस है। यहां जिस तरह से गर्मी पड़ती है, उसी तरह से ठंड का असर भी रहता है। 2018 में तापमान 11.9 डिग्री दर्ज किया गया था। 31 अक्टूबर 1952 को न्यूनतम तापमान 8.9 डिग्री रहा था। 10 में से 8 साल बारिश का दौर भी रहा। वर्ष 2013 और 2022 में 4 इंच से ज्यादा बारिश हुई थी। सर्वाधिक मासिक बारिश वर्ष 1956 में 8.68 इंच हुई थी। 24 घंटे में सबसे ज्यादा बारिश 13 अक्टूबर 1955 को हुई थी। इस दिन 6 इंच पानी बरस गया था। जबलपुर: 73 साल पहले सबसे सर्द रही थी रातजबलपुर में अक्टूबर महीने में औसत अधिकतम तापमान 31.8 और औसत न्यूनतम तापमान 20.3 डिग्री सेल्सियस रहता है। हालांकि, पिछले 10 साल में दिन-रात का पारा इससे अधिक ही रहा। 11 अक्टूबर 2015 को तापमान 36.1 डिग्री रहा था जबकि पिछले 2 साल से रात में तापमान 14 से 17.6 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। 5 अक्टूबर 1966 को अधिकतम तापमान 37.9 डिग्री दर्ज किया गया था, जो अब तक का सबसे ज्यादा है। 30 अक्टूबर 1952 को न्यूनतम तापमान 10.5 डिग्री रहा था। वर्ष 1916 में सबसे ज्यादा 10.46 इंच मासिक बारिश हुई थी। 24 घंटे में सर्वाधिक 5 इंच बारिश 4 अक्टूबर 1977 को हुई थी। पिछले साल हल्की बारिश दर्ज की गई थी। उज्जैन: 10 में से 3 साल बारिश नहीं हुईउज्जैन में पिछले 10 में से 3 साल अक्टूबर महीने में बारिश नहीं हुई। वर्ष 2009 में सर्वाधिक मासिक बारिश 4.46 इंच हुई थी। 24 घंटे में सबसे ज्यादा 5 अक्टूबर 2009 को हुई थी। इस दिन 92 मिमी यानी 3.62 इंच बारिश हो गई थी। दूसरी ओर, 5 अक्टूबर 2002 को दिन का तापमान 39 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था, जो अब तक का सबसे अधिक है। 29 अक्टूबर 1983 को न्यूनतम तापमान 8.1 डिग्री रहा था।
भिवानी जिले के रहने वाले सशस्त्र सीमा बल (SSB) के कॉन्स्टेबल अनिल कुमार सोमवार को राजकीय सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी गई। अंतिम संस्कार के दौरान उनके बड़े भाई ने उन्हें मुखाग्नि दी। अनिल कुमार सशस्त्र सीमा बल की 55वीं वाहिनी में तैनात थे और उनकी ड्यूटी उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में थी। शनिवार देर रात गश्त के दौरान उनका पैर फिसलने से वे गहरी खाई में गिर गए, जिससे उनके सिर में गंभीर चोट लग गई और उन्होंने वीरगति प्राप्त की। रविवार को पिथौरागढ़ में SSB अधिकारियों और जवानों ने उन्हें श्रद्धांजलि दी। इसके बाद उनका पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव लाया गया, जहां हजारों लोगों ने नम आंखों से अपने वीर सपूत को अंतिम विदाई दी। अंतिम संस्कार के समय राज्य प्रशासन और पुलिस विभाग की ओर से उन्हें राजकीय सम्मान दिया गया। पूरा गांव “भारत माता की जय” और “शहीद अनिल कुमार अमर रहें” के नारों से गूंज उठा। अनिल कुमार को लेकर 3 बातें... SSB ने कहा- हमेशा दूसरों की मदद करते थे SSB ने प्रेस नोट जारी कर बताया कि अनिल कुमार ने अपनी नौकरी के दौरान पूरी ईमानदारी और अनुशासन से काम किया। वे हमेशा अपने काम को लेकर सजग रहते थे और दूसरों की मदद करते थे। उनके जाने से SSB ने एक अच्छा और जिम्मेदार जवान खो दिया है। पिथौरागढ़ में SSB मुख्यालय में उन्हें सैन्य सम्मान के साथ श्रद्धांजलि दी गई। SSB परिवार अनिल कुमार के निधन पर गहरा दुख व्यक्त करता है और भगवान से प्रार्थना करता है कि उनकी आत्मा को शांति मिले और उनके परिवार को इस दुख को सहने की शक्ति मिले। अनिल कुमार ने जिस लगन और ईमानदारी से काम किया, उसे SSB हमेशा याद रखेगा और उनका सम्मान करेगा।
अंबाला शहर में सोमवार देर रात मंजी साहिब गुरुद्वारे के पास स्थित एक गोदाम में अचानक भीषण आग लग गई। आग लगने के कुछ ही देर बाद लपटें इतनी तेज़ हो गईं कि आसपास के इलाकों में अफरा-तफरी मच गई। सूचना मिलते ही फायर ब्रिगेड की टीम मौके पर पहुंची और आग पर काबू पाने का प्रयास शुरू कर दिया। रात के समय आग की ऊंची लपटें दूर-दूर तक दिखाई दे रही थीं। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, आग लगने के समय गोदाम बंद था। किस कारण से आग लगी, यह अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है। कुछ लोगों का कहना है कि गोदाम के भीतर शॉर्ट सर्किट के चलते आग लगी होगी, जबकि अन्य लोगों का कहना है कि संभवतः किसी ने बाहर से आग लगाई हो। फायर ऑफिसर तरसेम राणा ने बताया कि घटना की सूचना मिलते ही दमकल विभाग की तीन गाड़ियां मौके पर भेजी गईं। आग की तीव्रता को देखते हुए बाद में दो और गाड़ियां बुलाई गईं। करीब दो घंटे की मशक्कत के बाद आग पर आंशिक रूप से काबू पाया जा सका। गोदाम के अंदर रखे सामान के कारण आग तेजी से फैली। फिलहाल नुकसान का आंकलन किया जा रहा है। आग की घटना में फिलहाल किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है। हालांकि गोदाम के अंदर रखा सारा सामान जलकर राख हो गया है। अनुमान लगाया जा रहा है कि लाखों रुपये का नुकसान हुआ है। दमकल विभाग ने आग बुझाने के बाद पूरे क्षेत्र की जांच शुरू कर दी है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि कहीं अंदर फिर से आग न सुलग रही हो।
फरीदाबाद के पल्ला थाना क्षेत्र के रोशन नगर में चार महीने पहले हुई विवाहिता की हत्या के मामले में मुख्य आरोपी पति अब तक पुलिस की गिरफ्त से बाहर है। हत्या की वारदात को 21 अप्रैल को अंजाम दिया गया था, जबकि पुलिस ने 20 जून को घर के बाहर सीवरेज के लिए खोदे गए गड्ढे से महिला का शव बरामद किया था। मृतका की पहचान तनु (28) के रूप में हुई थी, जो उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद की रहने वाली थी। उसकी शादी साल 2023 में रोशन नगर निवासी अरुण के साथ हुई थी। अरुण का परिवार मूल रूप से यूपी के मैनपुरी का रहने वाला है और लंबे समय से रोशन नगर गली नंबर 1 के मकान नंबर 61 में रह रहा था। शादी के बाद शुरू हुआ विवाद तनु के पिता हाकिम के मुताबिक, उन्होंने अपनी हैसियत से बढ़कर बेटी की शादी की थी, लेकिन इसके बावजूद ससुराल वाले दहेज में और पैसे की मांग करते रहे। लगातार झगड़े के चलते तनु सितंबर 2023 में मायके चली गई थी। एक साल तक मायके में रहने के बाद अक्टूबर 2024 में पंचायत के हस्तक्षेप से उसे दोबारा ससुराल भेजा गया। हत्या से सात दिन पहले रची साजिश पुलिस पूछताछ में गिरफ्तार ससुर भूप सिंह ने कबूल किया कि तनु और परिवार के बीच लगातार झगड़ों से वह परेशान था। इस समस्या से छुटकारा पाने के लिए उसने हत्या की योजना बनाई। उसने घर के बाहर सीवरेज के लिए गड्ढा खुदवाया और उसी में शव को दफनाने की योजना पहले से बना ली थी। 21 अप्रैल की रात को की गई हत्या 21-22 अप्रैल की रात घर में केवल भूप सिंह, उसकी बेटी काजल और बहू तनु मौजूद थे। पत्नी सोनिया शादी में शामिल होने यूपी गई हुई थी, जबकि बेटा अरुण कंपनी में ड्यूटी पर था। रात में जब सभी सो गए, तो भूप सिंह ने ऊपर के कमरे में जाकर सो रही तनु का चुन्नी से गला घोंट दिया। इसके बाद शव को उसी रात घर के बाहर खुदवाए गए गड्ढे में दबा दिया। रेप के बाद की गई हत्या का खुलासा पुलिस पूछताछ में भूप सिंह ने बताया कि हत्या से पहले तनु के पति अरुण ने उसके दूध में बेहोशी की दवा मिलाई थी। बेहोशी की हालत में अरुण ने उसके साथ रेप किया और बाद में चुन्नी से गला घोंटकर हत्या कर दी। ऐसे खुला राज 23 अप्रैल को ससुराल वालों ने पुलिस को जानकारी दी कि तनु घर से लापता है। तलाश के दौरान तनु के पिता को घर के बाहर खोदे गए गड्ढे पर शक हुआ। उन्होंने पुलिस को इसकी सूचना दी। जांच में जब पुलिस ने जेसीबी से खुदाई कराई, तो तनु का शव बरामद हो गया। तीन गिरफ्तार, पति अब भी फरार इस मामले में पुलिस अब तक ससुर भूप सिंह, सास सोनिया, और ननद काजल को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। लेकिन मुख्य आरोपी पति अरुण अब तक फरार है। पुलिस प्रवक्ता यशपाल ने बताया कि मामला डीएलएफ क्राइम ब्रांच के पास है और आरोपी पति की तलाश जारी है। चार महीने बीतने के बाद भी आरोपी की गिरफ्तारी न होना पुलिस के लिए बड़ी चुनौती बना हुआ है।
दीपावली के मौके पर सोमवार शाम सात बजे से पटाखों के शोर के साथ साथ शहर की हवा भी जहरीली होती गई। पटाखों से निकलने वाले धुएं से हवा का एक्यूआई स्तर समय बीतने के साथ साथ बढ़ता गया जो कि अपने अधिकतम स्तर पहुंचा और 450 पार कर गया। हालांकि, पटाखों का शोर थमने के साथ साथ एक्यूआई में कमी जरुर आई, लेकिन इसके बाद भी वह 300 के पार रहा जो कि खतरनाक बताया जा रहा है। रात के अंधेरे में देखने से ऐसा लगा कि शहर प्रदूषण का चादर में ढक गया हो। देर शाम को दीपावली की पूजा के बाद जैसे ही पटाखे दगना शुरु हुए और उनसे निकलने वाला धुआं शहर की हवा में मिला वैसे ही हवा प्रदूषित होती चली गई। रात में नौ से 11 बजे की बीच एक्यूआई अपने शीर्ष स्तर पर पहुंचा वैसे ही सांस लेने में परेशानी का सामना करना पड़ा, साथ ही विजिबिलिटी भी कम हो गई। शहर की बात करें तो 20 मीटर तक की दूरी को भी स्पष्ट रुप से नहीं देखा जा सकता था। हवा दूषित होते ही सांस के मरीजों, गर्भवती महिलाओें, बच्चों व बुजुर्गों आदि को सांस लेने में परेशानी होने लगी। सांस लेने में परेशानी होने पर कुछ लोग निजी व सरकारी अस्पतालों में पहुंचे। जहां पर डॉक्टरों ने जांच के बाद उनको घर के भीतर रहने की सलाह दी। कुछ को सामान्य स्थिति में लाने के लिए कुछ देर के लिए आक्सीजन भी देनी पड़ी।
चंडीगढ़ के कार्मेल कॉन्वेंट स्कूल में पेड़ की शाखा गिरने से हुए दर्दनाक हादसे का मामला अब 14 नवंबर 2025 को कोर्ट में बहस के लिए तय किया गया है। वहीं, इस मामले में अदालत ने स्कूल प्रबंधन / प्रिंसिपल माउंट कार्मल स्कूल को बार-बार अनुपस्थित रहने पर एक्स-पार्टी कर दिया है। चेरी एन शर्मा बनाम प्रिंसिपल माउंट कार्मल स्कूल मामले में अदालत ने देखा कि प्रतिवादी स्कूल की ओर से सुनवाई में लगातार कोई उपस्थित नहीं हो रहा था। इसलिए उनकी ओर से दायर समीक्षा याचिका को प्रोसिक्यूशन में कमी के कारण खारिज कर दिया गया। कोर्ट ने कहा- जानबूझकर नहीं आ रहे सुनवाई के दौरान केवल अपीलकर्ता चेरी एन शर्मा की ओर से वकील परवीन गुप्ता उपस्थित हुए। अदालत ने कहा कि स्कूल की ओर से बार-बार केवल प्रॉक्सी वकील ही पेश हुए, जबकि मुख्य वकील कोई दलील नहीं दे रहे थे। रिकॉर्ड के अनुसार, प्रतिवादी स्कूल की ओर से वकील केवल 26 मई 2025 को ही उपस्थित हुए, जबकि 1 अप्रैल 2025 और 5 फरवरी 2025 को भी केवल प्रॉक्सी वकील ही थे। अदालत ने कहा कि यह साफ है कि स्कूल जानबूझकर सुनवाई में हिस्सा नहीं ले रहा। इसलिए उन्हें एक्स-पार्टी करते हुए CPC की धारा 114 के तहत दायर समीक्षा याचिका खारिज कर दी गई। हादसे पर हाईकोर्ट ने लगाई थी फटकार 8 जुलाई 2022 को पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने कार्मेल कॉन्वेंट स्कूल में पेड़ की शाखा गिरने से हुई छात्रा की मौत के मामले में चंडीगढ़ प्रशासन को कड़ी फटकार लगाई थी। कोर्ट ने मृत छात्रा हीराक्षी के पिता को 1 करोड़ रुपए और घायल छात्रा इशिता शर्मा को 50 लाख रुपए मुआवजा देने के आदेश दिए थे। इस हादसे में हीराक्षी की मौत हो गई थी, जबकि इशिता का बायां हाथ कट गया था। जस्टिस कुलदीप तिवारी की बेंच ने प्रशासन की उस दलील को खारिज कर दिया था जिसमें हादसे को “ईश्वर की इच्छा” बताया गया था। कोर्ट ने इसे इंजीनियरिंग विभाग की घोर लापरवाही करार देते हुए प्रशासन के संवेदनहीन रवैये की निंदा की। अदालत ने आदेश दिया कि घायल छात्रा के इलाज, कृत्रिम हाथ या ट्रांसप्लांट सर्जरी का पूरा खर्च प्रशासन उठाए। जांच रिपोर्ट में साबित हुई लापरवाही जस्टिस जितेंद्र चौहान आयोग की रिपोर्ट (30 दिसंबर 2022) में प्रशासन की गंभीर लापरवाही साबित हुई थी। आयोग ने हीराक्षी के परिवार को 1 करोड़ और इशिता को 50 लाख रुपए मुआवजा देने की सिफारिश की थी। लेकिन छह महीने बाद भी प्रशासन ने केवल 20 लाख हीराक्षी के पिता को और 10 लाख इशिता को दिए, जो सिफारिश के अनुसार काफी कम थे।
जिलेभर में मौसम का मिजाज तेजी से बदल रहा है। सुबह-शाम ठंडक का अहसास बढ़ने लगा है, जबकि दोपहर में गर्मी के तेवर अब भी कायम हैं। मौसम विभाग के अनुसार, जालोर में पिछले आठ दिनों में रात के तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। बीते सप्ताह रात का न्यूनतम तापमान 16.4 डिग्री था, जो घटकर अब 15.8 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया है। तापमान में आई इस गिरावट से रात में सर्दी बढ़ गई है। वहीं, दिन के तापमान में करीब 1 डिग्री की बढ़ोतरी दर्ज की गई है, जिससे दोपहर में अब भी गर्मी का असर बना हुआ है। सर्दी-जुकाम के मरीजों में बढ़ोतरीमौसम के बदलते तेवरों का असर स्वास्थ्य पर भी दिखने लगा है। दिन और रात के तापमान में भारी अंतर के चलते सर्दी-जुकाम और बुखार के मरीजों की संख्या बढ़ी है। जानकारी के अनुसार, अगस्त में ओपीडी में लगभग 700, सितंबर में 850, और अक्टूबर माह में शनिवार तक करीब 670 मरीज सर्दी-जुकाम के लक्षणों के साथ पहुंचे हैं। डॉ. रमेश चौधरी ने बताया कि इन दिनों मौसमी बीमारियों के मरीजों में बढ़ोतरी देखी जा रही है। आने वाले दिनों में ठंड और बढ़ेगीमौसम विशेषज्ञ भूपेन्द्र सिंह ने बताया कि वर्तमान में रातों के दौरान सर्दी और दिन में गर्मी का मिश्रित असर देखने को मिल रहा है। आगामी सप्ताह में तापमान में और गिरावट आने के संकेत हैं, जिससे सर्दी में और बढ़ोतरी होने की संभावना है।
जेके कैंसर अस्पताल में अधेड़ राजकुमार सिंह राजावत की चाकू से गोदकर हत्या दामाद मोहित तोमर ने की थी। पुलिस ने हत्यारोपी दामाद को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो यह चौकाने वाला खुलासा हुआ। आरोपी दामाद अपने साले की हत्या करने की भी फिराक में था, लेकिन वह पुलिस के शिकंजे में आ गया। हत्यारोपी का अपने ससुर से आए दिन विवाद होता रहता था, जिस कारण हत्याकांड को अंजाम दिया गया। मृतक के शरीर पर पेट में चाकुओं के करीब आधा दर्जन निशान मिले हैं। एक माह से पत्नी का करा रहे थे इलाज मूलरूप से औरैया जनपद के बहादुरपुर सहार निवासी 55 साल के किसान राजकुमार सिंह राजावत बीते एक माह से मुरारी लाल चेस्ट अस्पताल में अपनी पत्नी अनीता देवी का इलाज कर रहे थे। उनके परिवार में बेटी नम्रता और बेटा विशाल है। बेटी नम्रता ने बताया कि करीब छह माह से उनकी मां को सीने में संक्रमण है, लेकिन अब उनकी हालत गंभीर है। वह बिना आक्सीजन की मदद से सांस भी नहीं ले पाती हैं, जिस कारण वह करीब एक माह से यहां भर्ती हैं। शुक्रवार रात से थे लापता शुक्रवार रात करीब 9 बजे पिता राजकुमार मां से खाना खाने की बात कह कर अस्पताल से निकले थे इसके बाद से वह लापता हो गए। रात 11 बजे मां अनीता के फोन करने पर किसी दूसरे ने फोन उठाया और उनके कुछ देर बाद आने की बात कही लेकिन वह नहीं आए। जिस पर परिजनों ने काफी खोजबीन की, लेकिन उनका कुछ पता नहीं चला। इस पर परिजनों ने शनिवार को स्वरूप नगर थाने में गुमशुदगी दर्ज कराई। इस दौरान जेके कैंसर अस्पताल में रविवार को उनका लहूलुहान शव पड़ा मिला था। डीसीपी सेंट्रल श्रवण कुमार सिंह ने बताया कि राजकुमार का शव मिलने के बाद पुलिस ने आसपास के 200 सीसीटीवी कैमरे तलाशे, जिसमें दो संदिग्ध कैद हुए थे। सीसीटीवी फुटेज के आधार पर आरोपियों की तलाश में लगी तीन टीमों को सफलता मिली है। राजकुमार के दामाद ने इस हत्याकांड को अंजाम दिया है, आज पुलिस प्रेस कांफ्रेंस कर घटना का खुलासा किया जाएगा।
दीपावली के दूसरे दिन, इंदौर से 45 किलोमीटर दूर गौतमपुरा में पारंपरिक ‘हिंगोट युद्ध’ होता है। इसमें ढोल-नगाड़ों के बीच हजारों की भीड़ के सामने दो गांवों के लोग एक-दूसरे पर जलते हुए अग्निबाण (हिंगोट) फेंकते हैं। यह मालवा की एक पारंपरिक प्रथा है, जो दो गांवों की शौर्य परंपरा, धार्मिक आस्था और रोमांच को दर्शाती है। हालांकि, इस जानलेवा परंपरा पर अब कानूनी सवाल भी उठने लगे हैं, जिससे यह बहस का विषय बन गई है कि क्या इसे जारी रहना चाहिए। दरअसल, 2017 में हिंगोट युद्ध के दौरान एक युवक की मौत हो गई थी। इसके बाद हाईकोर्ट में इस पर रोक लगाने के लिए याचिका दायर की गई। पिछले 8 साल से याचिका लंबित है और कोर्ट ने जिम्मेदारों को नोटिस जारी किए है। अभी तक कोर्ट में जवाब पेश नहीं हुआ है और ये खेल बदस्तूर जारी है। आखिर क्या है हिंगोट युद्ध की परंपरा, कब से शुरू हुई और क्यों इसे लेकर हर साल बहस होती है। पढ़िए रिपोर्ट ऐसे होती है युद्ध की शुरुआतदीपावली के अगले दिन पड़वा पर शाम 4 बजे तुर्रा-गौतमपुरा व कलंगी-रूणजी के निशान लिए दो दल यहां पहुंचते हैं। सजे-धजे ये योद्धा कंधों पर झोले में भरे हिंगोट (अग्निबाण), एक हाथ में ढाल व दूसरे में जलती बांस की कीमची लिए नजर आते हैं। योद्धा सबसे पहले बड़नगर रोड स्थित देवनारायण मंदिर के दर्शन करते हैं। इसके बाद मंदिर के सामने ही दर्शकों की सुरक्षा जालियों से घिरे मैदान में एक-दूसरे से करीब 200 फीट की दूरी पर दोनों दल आमने-सामने आ जाते हैं। गौतमपुरा के तुर्रा दल द्वारा जलता हुआ हिंगोट रूणजी के कलंगी दल पर फेंकने के साथ ही इस युद्ध की शुरुआत हो जाती है। जैसे ही हवा में एक अग्निबाण चलता है, देखते ही देखते मैदान के दोनों छोर से योद्धा एक-दूसरे पर जलते हिंगोट फेंकना शुरू कर देते हैं। अंधेरा होने तक चलने वाले इस युद्ध में तुर्रा के योद्धा कलंगी के योद्धाओं से युद्ध करते हैं। युद्ध के दौरान जलता तीर लगने से कई लाेग घायल भी होते हैं, लेकिन इन सब के बीच उत्साह में कहीं कमी नहीं आती है। जैसे ही अंधेरा होता है युद्ध समाप्त कर दिया जाता है। कब से शुरू हुई परंपरा किसी को नहीं पता गौतमपुरा के रहने वाले अभिषेक बताते हैं कि ये परंपरा कब से शुरू हुई? ये कोई नहीं जानता। किंवदंती यह भी है कि रियासतकाल में गौतमपुरा क्षेत्र सीमा पर रक्षा चौकी हुआ करती थी। हमलावरों से बचाव के लिए सैनिकों ने सूखे बेल के फलों (हिंगोट) में बारूद भरकर हमला करना शुरू किया था। कहा जाता है इसी ‘युद्धाभ्यास’ ने बाद में धार्मिक परंपरा का रूप ले लिया। धीरे-धीरे इसमें देव दिवाली और पड़वा की मान्यताएं जुड़ गईं और यह आज के ‘हिंगोट युद्ध’ के रूप में बदल गया। हालांकि स्थानीय लोग इसे युद्ध नहीं खेल की तरह लेते हैं। इसी गांव के रहने वाले राजेंद्र कहते हैं कि यह परंपरा हमारे पूर्वजों ने हमें दी है। रतलाम, उज्जैन, इंदौर सहित कई जिलों से लोग यहां युद्ध देखने आते हैं। राजीव गांधी ने मालवा कला उत्सव में बुलवाया था1984 में दिल्ली में हुए मालवा कला उत्सव में विशेष आमंत्रण पर तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी के सामने तुर्रा व कलंगी दल के योद्धाओं ने इसका प्रदर्शन किया था। तब करीब 16 योद्धाओं को नगर के प्रकाश जैन दिल्ली ले गए थे। दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में करीब एक घंटे इसका प्रदर्शन किया गया था। परंपरा के बीच खतरे की चिनगारीरतलाम, उज्जैन, इंदौर सहित कई जिलों से लोग यहां युद्ध देखने आते हैं। पिछले 30 सालों से हिंगोट युद्ध देखने आ रहे राजेंद्र कहते हैं कि मैं तो 3 बजे से ही मैदान के बाहर अपनी जगह पर कब्जा कर लेता हूं। ये अनूठा खेल है, जो बेहद रोमांचित करता है। इसका रोमांच भी भारत-पाकिस्तान के बीच होने वाले क्रिकेट मैच की तरह ही है। हालांकि, इस युद्ध का रोमांच जितना गहरा है, उतना ही खतरनाक भी। हर साल 20 से 40 योद्धा घायल होते हैं, कई बार गंभीर झुलसने या आंखों की रोशनी जाने तक के मामले सामने आते हैं। लेकिन भीड़ का उत्साह और योद्धाओं की जोश कभी कम नहीं होता। पुलिस, फायर ब्रिगेड और एम्बुलेंस की टीमें पहले से तैनात रहती हैं। फिर भी हादसे थमते नहीं। 2017 में युवक की मौत के बाद हाई कोर्ट तक पहुंचा मामलाअक्टूबर 2017 में गौतमपुरा में बड़नगर तहसील के ग्राम दातरवां का 22 साल का किशोर मालवीय दोस्तों के साथ हिंगोट युद्ध देखने पहुंचा था। वह दर्शक दीर्घा में बैठा था तभी एक हिंगोट उसके सिर पर लगा। उसे गंभीर हालत में एमवाय अस्पताल लाया गया, जहां उसकी इलाज के दौरान मौत हो गई थी। करीब सवा घंटे चले हिंगोट युद्ध में 38 लोग घायल हुए थे। मौत के बाद मध्यप्रदेश हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई थी। याचिका में कहा गया कि यह परंपरा अमानवीय है, इसमें बारूद भरी हिंगोट एक-दूसरे पर फेंकी जाती हैं, जिससे जान का खतरा रहता है। जल्लीकट्टू की तरह इस पर भी रोक लगाई जाए। कोर्ट ने तब राज्य सरकार और जिला प्रशासन से जवाब मांगा था। मामला अभी भी रिकॉर्ड पर है, लेकिन परंपरा हर साल जारी है। कोर्ट में इस मामले की पैरवी करने वाले एडवोकेट प्रतीक माहेश्वरी बताते हैं, कोर्ट से दोनों दलों को करीब दो साल पहले नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया था। अभी तक जवाब पेश नहीं किया गया है। मामले में अगली सुनवाई की तारीख फिलहाल तय नहीं है।
आज अखबार नहीं आएगा, लेकिन आपके पास पहुंचने वाली खबरों की रफ्तार नहीं थमेगी। दैनिक भास्कर ऐप पर आपके जिले और मध्य प्रदेश की हर जरूरी खबर मिलेगी। यहां पढ़िए दिवाली पर मध्य प्रदेश की 10 बड़ी खबरें... 1. दीपोत्सव पर एमपी में जमकर आतिशबाजी, जबलपुर में रात में तेज बारिश मध्य प्रदेश में दिवाली पर जमकर आतिशबाजी की गई। बाजारों में रौनक दिखी। राजधानी में दिन में ही ज्वेलरी, सजावट, इलेक्ट्रॉनिक्स और कपड़ों की दुकानों में जमकर खरीदारी होती रही। मिठाई की दुकानों पर ‘घी के लड्डू’ और ‘केसर बर्फी’ की सबसे अधिक डिमांड रही। रात में जबलपुर में तेज बारिश हुई। पढ़ें पूरी खबर 2. धीरेंद्र शास्त्री बोले-डर तो लगता है, पर 10-12 पटाखे फोड़ेंगे, ज्ञान देने वालों का ज्ञान फेल करेंगे खजुराहो के बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि “जो लोग दीपावली पर पटाखे न फोड़ने का ज्ञान देते थे, हमने प्रण लिया है कि उनका ज्ञान फेल करेंगे। वैसे तो हमें पटाखों से डर लगता है, लेकिन जो पटाखों पर ज्ञान देते हैं, उनकी जिद में आज हम 10-12 पटाखे जरूर फोड़ेंगे।” पढ़ें पूरी खबर 3. इंदौर में ट्रक ने परिवार को रौंदा, मां-बेटी की मौत, महिला को घसीटते ले गया; लोगों का हंगामा इंदौर में सुपर कॉरिडोर पर सोमवार सुबह ट्रक ने एक परिवार को रौंद दिया। हादसे में मां-बेटी की मौत हो गई। महिला का पति घायल हो गया। घटना के बाद स्थानीय लोगों ने चक्काजाम कर प्रदर्शन किया। आईडीए (इंदौर विकास प्राधिकरण) के खिलाफ नारेबाजी करते हुए पुतला दहन भी किया। पढ़ें पूरी खबर 4. महाकाल भक्त को भस्म आरती से पहले हार्ट अटैक, वॉट्सऐप स्टेटस में लिखा– दिल तो महाकाल का है उज्जैन में सोमवार तड़के भस्म आरती में शामिल होने पहुंचे श्रद्धालु को हार्ट अटैक आ गया। वे मंदिर परिसर में ही अचेत होकर गिर गए। उन्हें अस्पताल ले जाया गया, यहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। सौरभ राज सोनी (47) हर सोमवार को भस्म आरती में शामिल होते थे। रविवार रात भी वे आरती के लिए पहुंचे थे। पढ़ें पूरी खबर 5. दिवाली पर साफ रहेगा मौसम...दिन में धूप खिली, आज से इंदौर, जबलपुर-शहडोल संभाग में बारिश दिवाली पर मध्यप्रदेश में मौसम साफ रहेगा और दिन में धूप खिली रहेगी। मौसम विभाग ने कहीं भी बारिश का अलर्ट जारी नहीं किया है। हालांकि, मंगलवार यानी, 21 अक्टूबर से प्रदेश के दक्षिणी हिस्से में एक बार फिर हल्की बारिश और गरज-चमक वाला दौर शुरू होगा, जो अगले 3 दिन तक चलेगा। पढ़ें पूरी खबर 6. पन्ना में महिला को पीटा, हाथ काटा; VIDEO:जेठ-जेठानी और बेटी ने लाठी-डंडों से मारा; घर में तोड़फोड़ पन्ना जिले के ककरहटा गांव में जमीन विवाद को लेकर एक महिला का लाठी-डंडों से पीटा। दांतों से हाथ पर काटा। आरोप महिला के जेठ, जेठानी और बेटी पर है। 16 अक्टूबर की घटना का वीडियो सोमवार को सामने आया है। महिला को प्राथमिक उपचार के बाद जिला अस्पताल में भर्ती कराया है। पढ़ें पूरी खबर 7. दीपावली पर मिठाई देने में देरी होने पर विवाद, चार युवकों ने दुकान में घुसकर कर्मचारियों को पीटा मुरैना में दीपावली के दिन मिठाई पहले देने को लेकर विवाद इतना बढ़ गया कि मामला मारपीट तक पहुंच गया। चित्रकूट मिष्ठान भंडार में चार युवकों ने मिठाई न देने पर दुकान मालिक और कर्मचारियों के साथ हाथापाई की। पूरी घटना दुकान में लगे सीसीटीवी कैमरे में रिकॉर्ड हो गई है। पुलिस ने केस दर्ज कर लिया है। पढ़ें पूरी खबर 8. शुजालपुर में 45 ब्लैक बक पकड़े, हेलीकॉप्टर से लगाया हांका, दक्षिण अफ्रीका से आई टीम शुजालपुर के कालापीपल इलाके में दीपावली की सुबह ब्लैक बक को पकड़ने का अभियान शुरू हुआ। बोमा पद्धति का उपयोग करते हुए पहले दिन 45 ब्लैक बक को सुरक्षित पकड़ा गया। इन्हें गांधी सागर बांध के आसपास के क्षेत्रों में छोड़ा जाएगा। यह अभियान फसलों के नुकसान से बचाने के लिए चलाया जा रहा है। पढ़ें पूरी खबर 9. जहरीली सिरप कंपनी का मालिक रंगनाथन को जेल भेजा:10 दिन की रिमांड हो गई थी खत्म छिंदवाड़ा जिले में जहरीले कफ सिरप से बच्चों की मौत के मामले में गिरफ्तार दवा कंपनी 'सीरीज एंड फर्म' के मालिक रंगनाथन गोविंदन को सोमवार को जेल भेज दिया गया है। पुलिस रिमांड खत्म होने के बाद उसे परासिया सिविल कोर्ट में पेश किया। कोर्ट ने उसे न्यायिक हिरासत में जिला जेल भेजने का आदेश दिया। पढ़ें पूरी खबर 10. करंट से झुलसी महिला को एक घंटे नहीं मिला इलाज,मौत के बाद परिजनों ने स्टाफ से की हाथापाई भिंड जिले के लहार सिविल अस्पताल में सोमवार करंट से झुलसी महिला को एक घंटे इलाज नहीं मिला। उसकी मौत हो गई। परिजनों ने अस्पताल स्टाफ पर लापरवाही का आरोप लगाया। शव को विधायक निवास के बाहर रखकर प्रदर्शन किया। इससे पहले अस्पताल में स्टाफ के साथ हाथापाई भी हुई। पढ़ें पूरी खबर
सोनीपत जिले का कुराड़ गांव, जिसे हॉकी खिलाड़ियों की जन्मभूमि कहा जाता है, खेल सुविधाओं की कमी से जूझ रहा है। छोटे से इस गांव से अब तक 50 से ज्यादा इंटरनेशनल और नेशनल खिलाड़ी निकले हैं, जिन्होंने देश और दुनिया में नाम रोशन किया। दो बार के ओलिंपिक कांस्य पदक विजेता सुमित वाल्मीकि इसी गांव की मिट्टी के मैदान से निकले थे। लेकिन पूर्व सीएम मनोहर लाल के वादे के बाद भी एस्ट्रो टर्फ न बनने से खिलाड़ियों को कच्चे मैदान में ही प्रैक्टिस करनी पड़ रही है। चौहान ने बच्चों को हॉकी स्टिक थमाई कुराड़ में साल 2000 में कोच नरेश ने हॉकी की शुरुआत की थी। तब इंटरनेशनल खिलाड़ी राजेश चौहान ने बच्चों को हॉकी स्टिक थमाई। आज इस गांव से 10 इंटरनेशनल और 40 से ज्यादा नेशनल खिलाड़ी देश का नाम रोशन कर चुके हैं। कई खिलाड़ी अब सरकारी विभागों में सेवाएं दे रहे हैं, जबकि 7 जूनियर और सब-जूनियर खिलाड़ी और 5 लड़के व 2 लड़कियां स्टेट प्रतियोगिताओं में खेल चुके हैं। सुमित वाल्मीकि से मिली नई दिशा सुमित ने 2002 में इसी गांव के मिट्टी के मैदान पर हॉकी शुरू की। टोक्यो ओलिंपिक 2021 में कांस्य पदक जीतने के बाद उन्होंने 2023 एशियन गेम्स में गोल्ड और 2024 पेरिस ओलिंपिक में एक और कांस्य पदक जीतकर गांव का नाम अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चमकाया। कुल 160 मैच खेलने वाले सुमित को अर्जुन और भीम अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया। उनकी सफलता ने गांव के बच्चों में खेल के प्रति जुनून बढ़ाया है। पूर्व सीएम खट्टर का वादा अधूरा साल 2021 में टोक्यो ओलिंपिक के बाद, पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कुराड़ में एस्ट्रो टर्फ और हॉकी नर्सरी की घोषणा की थी। अप्रैल 2025 से हॉकी नर्सरी शुरू हो चुकी है, जहां कोच अक्षय आंतिल बच्चों को प्रशिक्षण दे रहे हैं। लेकिन एस्ट्रो टर्फ का काम अब तक शुरू नहीं हो पाया। सीमित संसाधनों में रोजाना बच्चे करते हैं अभ्यास गांव पंचायत द्वारा बाहरी चार एकड़ भूमि पर हॉकी मैदान तैयार किया गया है, जहां रोजाना 55 से ज्यादा बच्चे अभ्यास करते हैं, जिनमें 10-12 लड़कियां भी शामिल हैं। खिलाड़ी कनक बताती हैं कि उन्हें प्रतियोगिता से पहले सेक्टर 4 या साईं बहालगढ़ मैदान में जाकर अभ्यास करना पड़ता है। उनका कहना है, “एस्ट्रो टर्फ पर बॉल की मूवमेंट और स्टॉपिंग अलग होती है। मिट्टी के मैदान पर अभ्यास करने से गेम परफॉर्मेंस पर फर्क पड़ता है।” सुरक्षा और चोटें बड़ी चुनौती जूनियर नेशनल खिलाड़ी आर्यन बताते हैं कि मिट्टी के मैदान पर बार-बार चोटें लगती हैं। बाहर के मैदान पर प्रैक्टिस करने से पढ़ाई प्रभावित होती है और हाईवे क्रॉस करने में खतरा भी रहता है। खिलाड़ी अंश बताते हैं कि बॉल ठीक से स्टॉप नहीं होती और अंधेरा होते ही फ्लड लाइट न होने के कारण प्रैक्टिस रोकनी पड़ती है। एस्ट्रो टर्फ के साथ अन्य सुविधाएं जरूरी पूर्व कोच नरेश के अनुसार, एस्ट्रो टर्फ के साथ फ्लड लाइट, मॉडर्न जिम और वार्मअप ग्राउंड (4020 मीटर) जैसी सुविधाएं भी जरूरी हैं। सेक्टर 4 में पहले से एक एस्ट्रो टर्फ मौजूद है, लेकिन कुराड़ की दूरी लगभग 12 किलोमीटर है। नरेश का कहना है कि प्रशासन को दूरी का वास्तविक आधार ध्यान में रखना चाहिए। गांव में खेलों की नई उम्मीद कुराड़ की मिट्टी भले ही एस्ट्रो टर्फ की तरह चमकदार न हो, लेकिन बच्चों की आंखों में ओलिंपिक जैसा सपना है। हर सुबह-शाम हॉकी स्टिक थामे ये खिलाड़ी केवल खेल नहीं खेल रहे, बल्कि गांव की नई पहचान गढ़ रहे हैं। अगर सरकार जल्द ही एस्ट्रो टर्फ लगवा दे, तो संभव है कि आने वाले समय में कुराड़ से एक और ओलिंपिक मेडलिस्ट निकले।
झांसी महानगर में खुशी, रंग, रोशनी और प्रेम के त्योहार दीवाली को सभी ने अपने-अपने अंदाज में मनाया। ऐसी ही 20 तस्वीरें दैनिक भास्कर की टीम अपने पाठकों के लिए लेकर आई है, जिसमें आम नागरिक से लेकर जनप्रतिनिधियों तक सभी ने अनोखे और खुशियों के साथ दीवाली सेलिब्रेट की है। अब तस्वीरें 20 देखें...
देशभर में 20 अक्टूबर को दिवाली मनाई गई। श्रीनगर से लेकर कन्याकुमारी तक दिवाली के मौके पर लोगों ने अपने घरों, मंदिरों और ऑफिस को दीयों और लाइट से रोशन किया। गणेश और लक्ष्मी पूजन के बाद लोगों ने पटाखे जलाए। कोलकाता के पंडालों में काली पूजा करके दिवाली मनाई गई। भारत-बांग्लादेश बॉर्डर पर तैनात जवानों ने बॉर्डर के तारों पर मोमबत्ती सजाई। वहीं, श्रीनगर के लाल चौक पर दीयों से ऑपरेशन सिंदूर लिखा गया। मुंबई में श्री समर्थ व्यायाम मंदिर के स्टूडेंट्स ने मल्लखंब का प्रदर्शन किया। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने दीवाली की बधाई देते हुए कहा कि हम सब मिलकर कोशिश करें कि हर व्यक्ति, चाहे किसी भी धर्म या जगह का हो, शांति से रहे और देश की तरक्की में हिस्सा ले सके। दुनिया के कई देशों में बसे भारतीयों ने दिवाली का त्योहार मनाया। लंदन में श्री स्वामीनारायण मंदिर में दिवाली समारोह के दौरान आतिशबाजी हुई। वहीं, आस्ट्रेलिया के सिडनी में ओपेरा हाउस को सजाया गया। देशभर से दिवाली की तस्वीरें... दुनियाभर से दिवाली सेलिब्रेशन की फोटो... ------------------------------------- ये खबर भी पढ़ें... मोदी ने गोवा में INS विक्रांत पर नौसैनिकों के बीच दिवाली मनाई, कहा- सेनाओं ने ऑपरेशन सिंदूर में पाकिस्तान को घुटने पर ला दिया प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गोवा में INS विक्रांत पर नौसैनिकों के बीच दिवाली मनाई। वे एक दिन पहले यहां पहुंच गए थे। इस दौरान उन्होंने नौसैनिकों से बातचीत की। यहां उन्होंने करीब 40 मिनट की स्पीच दी। कहा, हमारा विक्रांत आज आत्मनिर्भर भारत और मेड इन इंडिया का बहुत बड़ा प्रतीक है। INS विक्रांत ने अभी पाकिस्तान की रातों की नींद उड़ा दी थी। जिसका नाम ही दुश्मन का चैन छीन ले, वो INS विक्रांत है।' पूरी खबर पढ़ें...
प्रयागराज के धूमनगंज थाना क्षेत्र में दिवाली की रात आतिशबाज़ी के दौरान सड़क किनारे खड़ी दो ट्रकों में आग लग गई। घटना रात करीब 11 बजे की है, जब लोग दिवाली मना रहे थे और पास ही खड़ी ट्रकों में अचानक आग लग गई। जिसमें एक ट्रक पूरी तरह से जलाकर राख हो गयी। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, आतिशबाज़ी के चलते एक चिंगारी ट्रकों तक पहुंच गई, जिससे पहले एक ट्रक ने आग पकड़ी और फिर आग दूसरे ट्रक तक फैल गई। मौके पर मौजूद लोगों ने तुरंत फायर ब्रिगेड को सूचना दी। देखें तस्वीरें... फायर ब्रिगेड की टीम मौके पर पहुंची और कड़ी मशक्कत के बाद एक ट्रक की आग पर काबू पा लिया, लेकिन तब तक दूसरी ट्रक पूरी तरह जलकर खाक हो चुकी थी। घटना के कारण इलाके में अफरा-तफरी का माहौल बन गया था। हालांकि, समय पर आग पर काबू पा लेने से आसपास की बस्तियों और अन्य वाहनों को कोई नुकसान नहीं पहुंचा। आग बुझने के बाद स्थानीय लोगों ने राहत की सांस ली
रोशनी के पर्व दिवाली पर ब्रजभूमि जगमग रोशनी से जगमगा उठी। ब्रज के मंदिरों में भक्तों ने दीपक जलाए। दीपावली के अवसर पर वृंदावन के प्राचीन राधावल्लभ मंदिर में चौसर बिछाई गई। यहां भगवान राधावल्लभ लाल ने चौसर खेली। वहीं संत प्रेमानंद महाराज भी दिवाली मनाते नजर आए उन्होंने फुलझड़ी चलाई। हार जीत के लिए फेंके पासे ब्रजभूमि में वैसे तो दिवाली की धूम हर तरफ दिखाई दी। लेकिन इसका सबसे अलग नजारा देखने को मिला प्रसिद्ध राधावल्लभ मंदिर में। यहां भगवान राधावल्लभ लाल के आगे चौसर बिछाई गई। जहां पुजारी हार जीत के लिए पासे फेंकते नजर आए। यहां घंटों शह मात का खेल चला और जीत अंत में राधा रानी की हुई। भगवान के सामने बिछाई जाती है चौसर की बिसात खेलत चौपर मैंन की माई,हास सिगार भाव अनुराग की सार बनी सुखदाई। राधावल्लभ संप्रदाय के रसिकों की इन पंक्तियों का गायन करते हुए दिवाली पर राधावल्लभ मंदिर में चौसर खेली जाती है। भगवान के सामने चौसर बिछाई जाती है और फिर दो पुजारी भगवान राधा कृष्ण का प्रतिनिधित्व करते हुए चौसर के पासे फेंकते हैं। चांदी की हटरी में विराजमान हुए राधावल्लभ लाल दिवाली की रात भगवान राधावल्लभ लाल ने चांदी की हटरी में विराजमान होकर भक्तों को दर्शन दिए। राजशाही अंदाज में विराजमान भगवान राधावल्लभ लाल के दर्शन अदभुत लग रहे थे। चांदी की हटरी में विराजमान राधावल्लभ लाल के समक्ष बिछाई गई चौसर पर पुजारी जीत हार के लिए दांव चल रहे थे। घंटों चले इस खेल का विराम शयन आरती के साथ तब हुआ जब राधारानी जीत गई। दीपावली पर दीपकों से जगमगाया गोवर्धन देश दुनिया में भले ही दीपावली का पर्व लक्ष्मी-गणेश की पूजा के साथ समाप्त हो जाता है, लेकिन ब्रजमंडल में यह उत्साह गोवर्धन की तलहटी और मानसी गंगा तक फैला हुआ है। सोमवार की रात गोवर्धन का पूरा क्षेत्र लाखों दीपकों की रोशनी से जगमगा उठा, जिसने एक अलौकिक दृश्य प्रस्तुत किया। मानसी गंगा बनी प्रकाश का सागर गोवर्धन में दीपावली के दिन दीपदान का विशेष धार्मिक महत्व है। इसी मान्यता के तहत, ब्रजवासी, स्थानीय नागरिक और बड़ी संख्या में पहुंचे देसी-विदेशी भक्तों ने मानसी गंगा के पवित्र जल में हजारों दीपक प्रवाहित किए। ये दीपक जल पर तैरते हुए ऐसे प्रतीत हो रहे थे, मानो मानसी गंगा में तारों का समूह उतर आया हो। मानसी गंगा के सभी घाट, जिनमें चक्रेश्वर महादेव मंदिर के आसपास के घाट भी शामिल हैं, दीपकों की रोशनी से पूरी रात रोशन रहे। गिरिराज परिक्रमा मार्ग पर दीपदान दीपदान की यह दिव्यता केवल मानसी गंगा तक सीमित नहीं रही। ब्रज के आराध्य गिरिराज जी के सात कोस के परिक्रमा मार्ग पर भी भक्तों ने जगह-जगह दीपक जलाए और गिरिराज पर्वत की शिलाओं का पूजन किया। भक्तों की टोली ‘राधे-राधे’ और ‘गिरिराज महाराज की जय’ के जयकारों के साथ परिक्रमा कर रही थी, और हर कदम पर घी के दीपक रखकर अपनी आस्था प्रकट कर रही थी। मान्यता है कि कार्तिक मास की अमावस्या यानी दीपावली की रात ही भगवान श्रीकृष्ण ने अपने मन से मानसी गंगा को प्रकट किया था, और ब्रजवासियों ने यहां दीपदान किया था। आज भी इस परंपरा का निर्वहन कर भक्त सुख-समृद्धि और भगवान श्रीकृष्ण का आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। इस दीपमय महोत्सव ने गोवर्धन के आध्यात्मिक वातावरण को और भी अधिक दिव्य और मनोहारी बना दिया। लक्ष्मी जी के दर्शन को उमड़े भक्त दीवाली के अवसर पर मांट के निकट बेलवन में स्थित महालक्ष्मी मंदिर में दर्शन करने के लिए श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा। श्रद्धालुओं ने लक्ष्मी जी के दर्शन कर सुख समृद्धि की कामना की। मंदिर सेवायत राजेंद्र प्रसाद ने बताया कि दिवाली के दिन दूरदराज से भारी संख्या में श्रद्धालु यहाँ दर्शन करने के लिए आते हैं और कमल का फूल चढ़ाकर मनौती मांगते है। दीपावली पर माँ लक्ष्मी की पूजा के लिए भक्तों की लंबी कतारें लगना एक सामान्य दृश्य है। लोग धन और समृद्धि की देवी से आशीर्वाद प्राप्त करने की कामना करते हैं। यह पूजा धार्मिक, मानसिक, आर्थिक और सामाजिक महत्व रखती है। बेलवन में आज भी तपस्या कर रही है महालक्ष्मी मान्यता है कि बांसुरी की धुन पर श्रीकृष्ण के साथ महारास में सम्मिलित होने के लिए महालक्ष्मी आज भी यमुना किनारे बेलवन में तपस्या कर रही हैं। यहां पौष माह के प्रत्येक बृहस्पतिवार को मेले का आयोजन किया जाता है।
प्रयागराज में दिवाली की रात आतिशबाजी के बाद युवकों में जमकर मारपीट हुई। खास सिविल लाइंस में यात्रिक होटल के सामने पटाखा मार्केट में जमकर लात घूंसे चले। इसके बाद एक दूसरे को दौड़ाकर पीटा गया। मारपीट, हंगामे से पटाखा बाजार में अफरातफरी मच गई। बताते है कि मारपीट के दौरान लाइसेंसी पिस्टल भी निकाली गई। हालांकि पुलिस फायरिंग की बात से इंकार कर रही है। दिवाली की रात आतिशबाजी के बीच एक दूसरे को दौड़ाकर पीटने की घटना सोशल मीडिया पर भी वायरल हुई। कहा जा रहा है कि बाजार लगाने वाले और खरीद को आए युवकों के बीच कहासुनी के बाद बवाल मचा। पटाखा खरीदने के बाद दाम को लेकर विवाद हुआ इसके बाद मारपीट और हंगामा हो गया। एक दूसरे पर हमला कर कई युवकों को जख्मी किया गया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने जख्मी दो युवकों को अस्पताल पहुंचाया। हालांकि बवाल करने वाले युवक निकल भागे।
पाली शहर में सोमवार शाम को शुभ मुहूर्त में शहरवासियों ने माता महालक्ष्मी का पूजन कर सुख-समृद्धि की कामना की। उसके बाद जमकर आतिशबाजी कर खुशी जताई। शहर के महालक्ष्मी मंदिर में दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की लम्बी कतार देखने को मिली। दीपावली पर्व को लेकर शहर आकर्षक रोशनी से सजा नजर आया। शहर के भीतरी बाजार की सजावट तो देखते ही बनती थी। व्यापारियों शहरवासियों के स्वागत में ब्लू और रेड कारपेट मार्केट में बिछाए। शहर के प्रमुख चौराहे भी आकर्षक रोशनी से जगमग रोशन नजर आए। सुरक्षा को लेकर शहर में जगह-जगह पुलिस के जवान मुस्तैदी से तैनात नजर आए। बता दें कि भगवान श्रीराम, माता सीता, लक्ष्मण व भगवान हनुमान के साथ चौदह वर्ष के वनवास के बाद अयोध्या लौटने की खुशी में दीपोत्सव मनाया जाता है। पाली में सुबह घरों में रंगोलियां सजाई गई। घरों के मुख्य गेट पर महिलाओं ने बांदरवाल लगाए गए, रंगोली बनाई। गोधूलि वेला पर परिजनों के साथ नए वस्त्र पहनकर बाजोट पर स्वास्तिक बनाया और उस पर लाल कपड़ा बिछाकर माता लक्ष्मी, भगवान गजानन, माता सरस्वती का विधि-विधान से पूजन कर परिवार की खुशहाली की कामना की। पटाखों की रोशनी से जगमगाया आसमानमाता लक्ष्मी के पूजन के बाद बड़ों से लेकर बच्चों ने पटाखे फोड़े, रंग बिरंगी फुलझड़ियां जलाई। आसमां रॉकेट व सतरंगी पटाखों की रोशनी हो उठा। देर रात तक शहर में आतिशबाजी का शोर सुनाई दिया। इस बार शहरवासी रोशनी करने वाले ग्रीन पटाखे जलाते नजर आए। तेज आवाज वाले पटाखों का शोर इस बार कुछ कम सुनाई दिया। बाजारों में रही रौनकदीपोत्सव को लेकर सुबह से ही बाजारों में रौनक रही। लोगों ने पूजन के लिए सामग्री खरीदी। माता लक्ष्मी को अर्पित करने के लिए कमल के फूल, पुष्प आदि खरीदे। कई लोग घरों में सजावट के लिए सामग्री खरीदकर लाए। कई लोगों ने चांदी के सिक्के, चांदी के नोट भी खरीदे। खास कर मिठाई, नमकीन, पटाखे, कपड़ों की दुकानों पर भीड़ देखने को मिली। कल 21 अक्टूबर को मनाएंगे रामा-श्यामाकल यानि 21 अक्टूबर को शहरवासी अपने रिश्तेदारों और परिचितों के घर जाकर उन्हें दीपावली की शुभकामना देंगे। एक-दूजे का मुंह मिठाई से मीठा करवाएंगे। मिलने मिलाने का यह दौर सुबह से लेकर शाम देर शाम तक चलता रहेगा।
हरियाणा को जल्द ही नया जिला मिल सकता है। इसके लिए तीन दावे मजबूत हैं। सरकार भी 1 नवंबर 2025 को हरियाणा दिवस पर 23वां जिले की घोषणा करने की तैयारी में है। अभी तक सरकार के पास 10 नए जिले बनाने का प्रस्ताव आ चुका है। इनमें असंध, नारायणगढ़, मानेसर, पिहोवा, बरवाला, सफीदों, पटौदी, डबवाली, हांसी और गोहाना शामिल हैं। हालांकि, मुख्यमंत्री कार्यालय (CMO) के सूत्रों का कहना है कि सबसे पहले गोहाना, हांसी और डबवाली में से किसी एक को जिला बनाने की घोषणा होगी। बाकी के लिए जनगणना के बाद फैसला लिया जाएगा। गोहाना अभी सोनीपत जिले में है। गोहाना को जिला बनाने पर सोनीपत, रोहतक और जींद की भौगोलिक स्थिति पर असर पड़ेगा। हांसी अभी हिसार जिले का हिस्सा है। वहीं, डबवाली अभी सिरसा जिले में है। डबवाली पंजाब की सीमा को छूता है। डबवाली को पहले ही पुलिस जिला बनाया जा चुका है। आखिरी बार साल 2016 में दादरी को जिला बनाया गया था। पहले दादरी भिवानी जिले का हिस्सा था। नए जिले के लिए 4 लाख आबादी जरूरीअब तक पुनर्गठन उप-समिति को 73 प्रस्ताव मिले हैं। इनमें 10 नए जिले, 14 उपमंडल, 4 तहसील और 27 उप-तहसील बनाने के प्रस्ताव हैं। नए जिले के लिए 125 से 200 गांव, 4 लाख से अधिक आबादी और 80 हजार हेक्टेयर से अधिक क्षेत्रफल होना जरूरी है।समिति ने बैठक कर उपमंडल, तहसील और उप-तहसील बनाने के लिए भी अलग-अलग मानदंड तय किए हैं। बैठक में लिए गए निर्णय मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को अनुमोदन के लिए भेजे जाएंगे। कैबिनेट सब-कमेटी की 5 बैठक हो चुकींप्रशासनिक इकाइयों के पुनर्गठन को लेकर पिछले दिनों कैबिनेट सब कमेटी बैठक हुई थी। इसकी अध्यक्षता कैबिनेट मंत्री कृष्ण लाल पंवार ने की थी। मंत्री ने कहा था कि सरकार जनता व जनप्रतिनिधियों की मांगों के अनुसार प्रशासनिक इकाइयों का पुनर्गठन करने को प्रतिबद्ध है। कैबिनेट सब कमेटी की इस 5वीं बैठक में बतौर सदस्य शिक्षा मंत्री महीपाल ढांडा व कृषि मंत्री श्याम सिंह राणा भी मौजूद रहे थे। यहां पढ़िए.. कब-कब जिले बने1 नवंबर 1966 को हरियाणा अलग प्रदेश बना। तब 7 जिले थे। इनमें अंबाला, जींद, हिसार, महेंद्रगढ़, गुरुग्राम, करनाल व रोहतक शामिल थे। 1972 में भिवानी व सोनीपत, 1973 में कुरुक्षेत्र, 1975 में सिरसा, 1979 में फरीदाबाद, 1989 में यमुनानगर, कैथल, रेवाड़ी, पानीपत जिले बनें।1995 में पंचकूला, 1996 में फतेहाबाद, 1997 में झज्जर, 2005 में नूंह, 2008 में पलवल, 2016 में चरखी दादरी को जिला बनाया गया। विधानसभा व लोकसभा सीटों का परिसीमन होगाहरियाणा में विधानसभा व लोकसभा सीटों का भी परिसीमन होना है। यह संभवत जनगणना का कार्य पूरा होने के बाद होगा। अभी प्रदेश में 90 विधानसभा हलके हैं और लोकसभा की 10 सीटें हैं। अनुमान है कि परिसीमन के बाद विधानसभा सीटों की संख्या 126 तक पहुंच सकती है, जबकि लोकसभा सीटें 14 हो सकती हैं। इससे पहले हरियाणा में साल 2007 में विधानसभा हलकों का परिसीमन हुआ था। तब विधानसभा सीटों की संख्या तो नहीं बढ़ी थी, लेकिन मर्जर के बाद कई हलके खत्म करने कुछ नए बनाए गए थे।
करनाल जिले के घरौंडा कस्बे से निकले बॉबी सिंह की कहानी किसी फिल्मी स्क्रिप्ट से कम नहीं। 17 साल की उम्र में हीरो बनने का सपना लेकर घर से भागे। रास्ते में लूट हुई, होटल में बर्तन मांजे। फिर स्टंटमैन बने। बॉलीवुड के बड़े-बड़े सितारों संग काम किया। अब बॉबी सिंह सच्ची घटना पर आधारित फिल्म ‘सनम फिर मिलेंगे’ के प्रोड्यूसर हैं, जिसमें बॉलीवुड के कई नामी चेहरे नजर आएंगे। दैनिक भास्कर ऐप से बातचीत में बॉबी सिंह ने फिल्म को लेकर कई बातें शेयर कीं। बोले-“जब 17 साल की उम्र में घर छोड़ा था, तो वादा किया था कि कामयाब होकर लौटूंगा। अब वो वक्त आ गया है। यह फिल्म सिर्फ मनोरंजन नहीं, समाज को सोचने पर मजबूर करेगी।” कहानी की हरियाणवी बैकग्राउंड है। बॉक्सर विजेंदर सिंह पुलिस इंस्पेक्टर की भूमिका में हैं। यशपाल शर्मा करैक्टर रोल में नजर आएंगे। फिल्म 26 मार्च को रिलीज करने की योजना है। फिल्म की हीरोइन हरियाणा से होंगी, अभी नाम का सस्पेंस रखा गया है। अब सिलसिलेवार पढ़ें.. 48 साल के लंबे सफर की कहानी स्पॉटबॉय से स्टंटमैन तक का सफरमुंबई में संघर्ष के दो साल बाद 1979 में उन्हें पहला मौका मिला। अभिनेता धर्मेंद्र के भाई और पंजाब के सुपरस्टार वीरेंद्र ने अपनी फिल्म लंबरदारनी में बॉबी को स्पॉट बॉय की नौकरी दी। इसी के बाद बॉबी ने दो साल तक निम्मो, सरपंच जैसी फिल्मों में भी काम किया। 1980 में बॉबी के बड़े भाई अशोक कुमार और रिश्तेदार रामचरण मुंबई आए और जुहू के समुद्र किनारे उन्हें ढूंढ निकाला। उन्होंने घर लौटने के लिए मनाया, लेकिन बॉबी का जवाब था, कामयाब होकर ही घर लौटूंगा। वह लौटे भी, लेकिन पांच साल बाद, जब पहचान मिल चुकी थी। 1981 में मूवी स्टंट एसोसिएशन से मिला कार्ड1981 में बॉबी ने स्टंट मैन के रूप में आधिकारिक तौर पर फिल्म इंडस्ट्री में एंट्री ली। मूवी स्टंट एसोसिएशन से कार्ड बनवाया और जल्द ही नाम कमाया। इसके बाद उन्होंने अजय देवगन के पिता वीरू देवगन के साथ 10 साल तक काम किया। धर्मेंद्र, संजय दत्त, सुनील दत्त, विनोद खन्ना, गोविंदा, मिथुन, जैकी श्रॉफ, जितेंद्र, शत्रुघ्न सिन्हा जैसे सितारों के डुप्लीकेट बनकर सैकड़ों फिल्मों में एक्शन सीन किए। इसी दौरान उन्होंने कई कलाकारों को एक्शन ट्रेनिंग दी-अजय देवगन, गोविंदा, गोल्डी बेहल, बिंदू धारा सिंह, प्रोड्यूसर गोरंग दोषी, क्रिकेटर हरभजन सिंह की पत्नी गीता बसरा और अबू सलेम की पहली पत्नी मोनिका बेदी उनमें शामिल हैं। मधुमती अकादमी से सीखी एक्टिंग, अक्षय कुमार बने साथी1989 में हीरो बनने के सपने को फिर से जगाने के लिए बॉबी ने मधुमती एक्टिंग अकादमी जॉइन की। वहां उनके साथ उस वक्त अक्षय कुमार, तब्बू, संजय कपूर और तत्कालीन राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह के पौत्र इंद्रजीत सिंह जैसे कलाकार भी पढ़ रहे थे। दो साल तक अकादमी में रहकर अभिनय सीखा, लेकिन हीरो नहीं बन पाए। बॉबी कहते हैं कि हर कोई मुझे स्टंटमैन के रूप में जानता था, इसलिए कोई प्रोड्यूसर रिस्क नहीं लेता था। अनिल कपूर भी कहते थे कि तुम्हारी पर्सनैलिटी हीरो जैसी है, पर किस्मत की अपनी कहानी होती है। 1992 में बने एक्शन डायरेक्टर, कई सुपरहिट फिल्में1992 में बॉबी सिंह ने अपने करियर की नई शुरुआत की और एक्शन डायरेक्टर बने। उनकी पहली इंटरनेशनल फिल्म ‘बवंडर’ थी। इसके बाद उन्होंने हिंदी, पंजाबी और साउथ फिल्मों में एक्शन सीन डायरेक्ट किए। इस दौरान उन्होंने अमिताभ बच्चन, मिथुन, गोविंदा, राजकुमार, जितेंद्र, विनोद खन्ना, जैकी श्रॉफ, दिलीप कुमार और संजीव कुमार जैसे दिग्गजों के साथ काम किया। कई फिल्मों में उन्होंने निगेटिव रोल भी किए और अपनी प्रतिभा से दर्शकों और इंडस्ट्री दोनों का दिल जीता। हरियाणवी इंडस्ट्री में भी जमाया नाम2004 में बॉबी सिंह ने हरियाणवी इंडस्ट्री में कदम रखा। उन्होंने ‘बोरले आली’ नामक एल्बम को प्रोड्यूस किया। इसमें सोनू निगम, सुनिधि चौहान और शिव निगम जैसे बड़े सिंगर्स की आवाज शामिल थी। कुल सात गाने थे और इसे सोनो टेक कंपनी ने रिलीज किया था। इस एल्बम के जरिए हरियाणवी म्यूजिक इंडस्ट्री में बॉबी ने पहचान बनाई। ‘सनम फिर मिलेंगे’, 18 साल की मेहनत, फिल्म तैयार2012 से बॉबी सिंह अपने ड्रीम प्रोजेक्ट ‘सनम फिर मिलेंगे’ पर काम कर रहे हैं। उन्होंने कई साल इस स्क्रिप्ट पर रिसर्च की और आखिरकार इसे सच्ची घटनाओं पर आधारित एक ज्वलंत सामाजिक मुद्दे की फिल्म के रूप में तैयार किया। कहानी हरियाणा और नॉर्थ इंडिया की उस सामाजिक सोच पर आधारित है, जहां एक ही गांव या गोत्र के लड़के-लड़की की शादी पर रोक होती है। ऐसे रिश्ते करने वाले प्रेमियों की अक्सर गांव वाले हत्या कर देते हैं। फिल्म में दिखाया गया है कि कैसे मरने के बाद वही प्रेमी अगली जिंदगी में उसी गांव में फिर जन्म लेते हैं और एक-दूसरे से मिलते हैं - यही वजह है कि फिल्म का नाम रखा गया ‘सनम फिर मिलेंगे’। बॉलीवुड सितारों से सजी फिल्म की स्टारकास्टइस फिल्म में करण मलिक लीड एक्टर के रूप में नजर आएंगे और उनके साथ नई एक्ट्रेस होंगी। फिल्म के अन्य कलाकार बॉलीवुड के बड़े नाम हैं-अजय देवगन की स्पेशल अपीयरेंस, बॉक्सर विजेंदर सिंह पुलिस इंस्पेक्टर की भूमिका में, आशुतोष राणा गेस्ट रोल में, जबकि यशपाल शर्मा एक्टर के पिता की भूमिका निभा रहे हैं। इसके अलावा यश टोंक, शहबाज खान, मुश्ताक खान, दयाल सिंह और बिंदू धारा सिंह भी अहम किरदारों में हैं। सात गाने रिकॉर्ड, मशहूर सिंगर्स ने दी आवाज‘सनम फिर मिलेंगे’ के अब तक सात गाने रिकॉर्ड हो चुके हैं। इनमें जावेद अली, शान, पलक मुछाल, जानवी और अंतरा मित्रा जैसे मशहूर सिंगर्स ने अपनी आवाज दी है। फिल्म के म्यूजिक को लेकर इंडस्ट्री में पहले से चर्चा है।
भोपाल के ईटखेड़ी इलाके में सोमवार की रात को लाल रंग की थार ने राहगीरों को टक्कर मार दी। हादसे में दो लोगों की मौत हो गई। दो की हालत नाजुक है। घायलों को भोपाल के प्राइवेट अस्पताल में भर्ती कराया है। हादसे के बाद आरोपी कार चालक सहित जीप में सवार अन्य युवक भाग निकले। स्थानीय लोगों ने जीप में तोड़फोड़ कर दी। रजिस्ट्रेशन नंबर के आधार पर पुलिस आरोपी तक पहुंचने का प्रयास कर रही है।पुलिस के मुताबिक मृतकों की पहचान अब्दुल मुखतार और अब्दुल गनी के रूप में की गई है। मृतकों के परिजनों को सूचना दे दी गई है। पुलिस ने दोनों शव पीएम के लिए मर्चुरी में सुरक्षित रखवा दिए हैं। मंगलवार की सुबह पीएम के बाद शव परिजनों को सौंपे जाएंगे। देर रात तक मर्चुरी परिसर के बाहर भीड़ एकत्र रही फिलहाल पुलिस ने मर्ग कायम कर जांच शुरू कर दी है। मृतकों के परिजनों ने रात को ही पीएम कर शव सुपुर्द करने की मांग की है। इसी बात को लेकर देर रात तक गांधी मेडिकल कॉलेज की मर्चुरी के बाहर भारी भीड़ एकत्र रही।
पूर्व मुख्यमंत्री चौधरी भजनलाल की पारंपरिक सीट मानी जाने वाली आदमपुर में अब BJP रैली भी नहीं कर पा रही है, जबकि कुलदीप बिश्नोई सहित पूरा परिवार भाजपा में है। इसका कारण भाजपा को 2024 विधानसभा चुनाव के अंदर आदमपुर सीट से मिली हार है। आदमपुर सीट पर भाजपा जीत मानकर चल रही थी। खुद मुख्यमंत्री नायब सैनी की नजर इस सीट पर लगी हुई थी, लेकिन बिश्नोई परिवार महज 1268 वोटों से यह सीट हार गया। इस हार का डेंट बिश्नोई परिवार की राजनीति पर पड़ा। जिसका खामियाजा बिश्नोई परिवार को सत्ता के करीब होते हुए भी कुर्सी से दूर किए हुए हैं। अब हालात ये हैं कि बिश्नोई परिवार को मुख्यमंत्री की रैली में मंच साझा करने के लिए भी साथ लगते हलके में जाना पड़ रहा है। वहीं चुनाव के एक साल बाद मुख्यमंत्री जनता का आभार जताने हिसार जिले की नलवा विधानसभा में 26 अक्टूबर को आ रहे हैं। यह रैली दिसंबर 2024 को होनी थी, मगर पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के निधन के कारण रैली को रद्द कर दिया गया था। अब यह रैली कुलदीप बिश्नोई के करीबी विधायक रणधीर पनिहार के गांव पनिहार में होगी। लंबे समय बाद सक्रिय हो रहा बिश्नोई परिवारअक्टूबर 2024 में आदमपुर सीट पर चुनाव हारने के बाद से बिश्नोई परिवार की सक्रियता कम हो गई थी। अब पिछले कुछ दिनों से परिवार ने सक्रियता बढ़ाई है। कुलदीप बिश्नोई के जन्मदिन पर 22 सितंबर को आदमपुर में भजनलाल की पुरानी आढ़त की दुकान के सामने जनहित दिवस समारोह किया। कांग्रेस से नाराज होने के बाद भजनलाल ने ‘जनहित’ शब्द को लेकर ही साल 2007 में हरियाणा जनहित कांग्रेस बनाई थी, जिसका बाद में कांग्रेस में विलय कर दिया गया था। 8 सीट मांगी थी, 3 मिली, 2 हार गएदरअसल, अक्टूबर 2024 में हुए विधानसभा चुनाव से पहले कुलदीप बिश्नोई ने हरियाणा प्रभारी रहे धर्मेंद्र प्रधान से मुलाकात कर 8 से 10 विधानसभा सीटों की डिमांड की थी। कुलदीप बिश्नोई ने इन सीटों पर भाजपा को जिताने का दम भरा था। इनमें हिसार, नलवा, हांसी, बवानी खेड़ा, बरवाला, आदमपुर, फतेहाबाद, सिरसा और भिवानी शामिल थी। मगर, चुनाव के समय कुलदीप बिश्नोई को भाजपा की तरफ से 3 सीटें दी गई। इसमें नलवा, आदमपुर और फतेहाबाद सीट शामिल थी। कुलदीप ने बेटे, भाई और दोस्त के लिए ये टिकटें मांगीं। नलवा से दोस्त रणधीर पनिहार को कुलदीप ने टिकट दिलवाया और यही एक सीट भाजपा के खाते में आई । वहीं फतेहाबाद और आदमपुर सीट बिश्नोई परिवार हार गया। फतेहाबाद से कुलदीप के चचेरे भाई दूड़ाराम प्रत्याशी थे, जबकि आदमपुर से भव्य बिश्नोई। हिसार से टिकट न मिलने पर नाराज हुए थेलोकसभा चुनाव में कुलदीप बिश्नोई हिसार सीट से टिकट मांग रहे थे। भाजपा ने कुलदीप की जगह कैबिनेट मंत्री रणजीत चौटाला को उम्मीदवार बनाया और वह कांग्रेस के जयप्रकाश उर्फ जेपी से हार गए। इसके बाद कुलदीप बिश्नोई ने कहा था कि भाजपा अगर मुझे टिकट देती तो प्रदेश का रिजल्ट कुछ और होता। प्रदेश में भाजपा के पक्ष में लोग और वोटिंग करते और ज्यादा सीटें जीतते। भाजपा ने आउट साइडर रणजीत चौटाला को टिकट दिया, इनका हिसार में कोई जनाधार नहीं है। लोगों ने उन्हें स्वीकार नहीं किया। इसके बाद भाजपा ने विधानसभा में उनको 3 टिकटें दी, लेकिन 2 सीट हार गए। यही कारण है कि बिश्नोई परिवार को अब नलवा जाकर धन्यवाद रैली करनी पड़ रही है। रेणुका बिश्नोई ने संभाली रैली के लिए कमाननलवा रैली बिश्नोई परिवार के लिए साख का सवाल बन गई है। इसकी गंभीरता इसी से दिखती है कि आदमपुर चुनाव में भव्य बिश्नोई के लिए प्रचार करने वाली रेणुका बिश्नोई ने रैली के प्रचार के लिए खुद कमान संभाल ली है। वह विधायक रणधीर पनिहार के साथ गांव-गांव जनसभा कर रैली के लिए निमंत्रण कर रही हैं। रेणुका ने रैली में कह रही हैं कि कुलदीप बिश्नोई हिसार में महीने में एक बार जरूर बैठेंगे और इसके लिए दिन निर्धारित करेंगे। यह बात रेणुका को इसलिए बोलनी पड़ी क्योंकि धरातल में जाने के बाद लोगों ने कहा कि उनको कुलदीप बिश्नोई के आगमन की सूचना नहीं मिल पाती और वह मिलने नहीं जा पाते। इस कारण बिगड़े भजनलाल परिवार के समीकरण 1. क्षेत्र से दूरी: चुनाव जीतने के बाद लगातार क्षेत्र से दूरी बनाए रखने के कारण लोग कुलदीप बिश्नोई से नाराज थे। हालांकि, 2022 में उपचुनाव जीतने के बाद भव्य बिश्नोई सक्रिय रहे, लेकिन कुलदीप बिश्नोई अधिकांश समय क्षेत्र से गायब रहे। जबकि, भव्य को कुलदीप के चेहरे पर वोट मिले। 2. लोकसभा चुनाव में हार: लगातार 2 बार लोकसभा चुनाव हारने से भजनलाल का आदमपुर का किला हिल गया। हालांकि बिश्नोई परिवार 57 साल से विधानसभा चुनाव जीतता आ रहा है, लेकिन लगातार 2 चुनावों में हार के कारण यहां विपक्षी दलों के हौसले बुलंद थे। 2019 और 2024 के लोकसभा चुनाव में बिश्नोई परिवार यहां पिछड़ गया। 3. जातिगत फैक्टर: इस बार कांग्रेस ने ओबीसी चेहरा उतारा था। कांग्रेस प्रत्याशी चंद्र प्रकाश जांगड़ा हैं। उन्हें अपनी जाति के अलावा जाट मतदाताओं का समर्थन मिला। कांग्रेस जाट, बिश्नोई और ओबीसी वोट बैंक की नाराजगी को भुनाने में सफल रही।
हरियाणा में झज्जर के लापता भाजपा जिला पार्षद संजय जांगड़ा खाटू श्याम मंदिर में मिल गए। झज्जर पुलिस सोमवार देर रात उन्हें लेकर पहुंची। साल्हावास थाने के SHO हरेश कुमार ने बताया कि इसमें राजस्थान पुलिस भी सहयोग लिया गया। संजय जांगड़ा सीएम नायब सिंह सैनी के नाम 7 पन्ने का एक नोट छोड़कर लापता हो गए थे। उन्होंने नोट में भाजपा के राष्ट्रीय सचिव ओमप्रकाश धनखड़ और झज्जर के जिला परिषद चेयरमैन पर आरोप लगाए कि इन लोगों ने उसके वार्ड में काम नहीं होने दिए। भाजपा पार्षद ने लिखा कि उन्हें लोगों ने अपने काम करवाने के लिए चुना था, लेकिन वह पार्षद होकर भी लोगों के काम नहीं करवा पा रहे। क्योंकि, जिला परिषद चेयरमैन कप्तान बिरधाना उसे ग्रांट नहीं देता। वहीं, ओपी धनखड़ कान के कच्चे हैं और हाजिरी लगाने की कहते हैं। नोट के अंत में पार्षद ने लिखा था कि यह उसका अंतिम नमस्कार है। पार्षद ने CM सैनी से विनती है कि ऐसे नेताओं पर कार्रवाई की जाए, जो पार्टी को कमजोर कर रहे हैं। झज्जर के मुंडाहेड़ा गांव के निवासी वार्ड 13 के पार्षद संजय जांगड़ा का नोट मिलने के बाद उनके सुसाइड की चर्चा होने लगीं। हालांकि, उनके भाई विनय ने पुलिस को उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी, जिसके बाद उन्हें खोजा गया। भाई की शिकायत पर केस दर्ज हुआ थासाल्हावास थाने में दी शिकायत में पार्षद के भाई विनय ने बताया था कि संजय जांगड़ा रविवार सुबह गायब हुए। वह घर से किसी थैरेपिस्ट के साथ बाइक पर निकले थे। इसके बाद वह घर नहीं लौटे। रविवार दोपहर करीब डेढ़ बजे जिला पार्षदों के पर्सनल वॉट्सऐप पर उनका लिखा हुआ नोट आया। उन नोट में भाजपा के बड़े नेताओं पर आरोप लगाए गए थे। साथ ही अंत में सुसाइड कर जीवन समाप्त करने की बात लिखी हुई थी। इसकी सूचना पुलिस को दी गई। पुलिस ने छानबीन करते हुए एक दुकान से संजय का मोबाइल बरामद कर लिया। यह मोबाइल दुकान में रखे थैले में पड़ा था। चेयरमैन बोले- हमारे बीच कोई मनमुटाव नहींवहीं, जिला परिषद चेयरमैन कप्तान बिरधाना ने इन आरोपों पर कहा कि संजय के साथ उनकी कोई मनमुटाव की बात नहीं है। करीब 15 दिन पहले वह मिले थे, लेकिन कोई भी ऐसी बात नहीं हुई। चेयरमैन ने कहा कि कामों की जो बातें सामने आ रही हैं, संजय के वार्ड 13 में करीब 2 करोड़ के काम हो चुके हैं। धनखड़ बोले- संजय का मिलना पूरे भाजपा परिवार के लिए संतोष की बातजबकि, भाजपा के राष्ट्रीय सचिव ओमप्रकाश धनखड़ ने कहा कि इस घटनाक्रम को लेकर सब स्तब्ध थे। संजय कुमार के मिलने की खबर परिवार व भाजपा परिवार दोनों के लिए संतोषप्रद है। भाजपा एक अनुशासित संगठन है, जहां संवाद से समाधान की कार्य प्रणाली है, हर स्तर पर है। अगर किसी भी कार्यकर्ता को कोई शिकायत है तो वह संगठन में बातचीत से समाधान निकालने जाते हैं। पार्षद ने अपने नोट में ये बातें लिखीं... पार्षद का नोट...
हरियाणा के फरीदाबाद में बहन के झगड़े को लेकर उसकी ससुराल पहुंचे दो भाईयों और उनके पिता पर उनके जीजा ने अपने गुंडो के साथ हमला कर दिया । इस दौरान देसी कट्टे से गोली चलाई गई जो साले रॉबिन के पेट में लग गई । जिसको गंभीर रूप से घायल हालात में इलाज के लिए एक निजी अस्पताल में एडमिट कराया गया है। पुलिस ने जीजा सहित 6 नामजद अन्य के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। बहन की कॉल पर घर पहुंचे पर्वतीय कालोनी चौकी पुलिस को नंगला एंकलेव पार्ट वन के रहने वाले वंश राठी ने दी शिकायत में बताया है कि ,फरवरी 2020 में उन्होंने अपनी बड़ी बहन सीमा की शादी नगला गाजीपुर रोड़ के रहने वाले आशीष के साथ की थी। आशीष का अपना एक मेडिकल स्टोर घर की दुकान में ही खोला हुआ है। बीते 18 अक्तूबर को उसकी बहन का कॉल आया कि आशीष उसके साथ झगड़ा कर रहा है। जिस पर हमारे परिवार के लोग उनको समझाकर वापस अपने घर आ गए। 19 अक्तूबर की रात को करीब 9 बजे उनकी बहन सीमा का कॉल आया ,जिसमें सीमा ने बताया कि उसका पति आशीष और हरियाणा पुलिस में ASI रामबाबू उसका ससुर घर से बाहर निकालने की धमकी दे रहे है। जिसके बाद उसका मैं , मेरा बड़ा भाई रॉबिन और पिता हवा सिंह राठी बहन के घर नंगला एंकलेव पार्ट 2 सीमा के घर पहुंचे। जीजा अपने गुंडो के साथ पहले से मौजूद था वंश राठी ने बताया कि वहां पर उसका जीजा आशीष ,अपने साथियों भूरा, विक्रम अवाना, कल्लू अवाना, मोनू, सुशील ,रॉकी, व करीब 15 से 20 लोग पहले से ही मौजूद थे। जैसे ही उसका भाई और पिता घर में घुसे सभी ने उसके साथ मारपीट शुरू कर दी। इसी दौरान किसी ने रॉबिन को दसी कट्टे से पेट में गोली मार दी। आरोप है कि जीजा आशीष ने उनके व पिता के मारपीट की। जिसके बाद वो राबिन को लेकर अस्पताल के निकल गए। गंभीर हालात में अस्पताल में भर्तीपुलिस के मुताबिक राबिन को इलाज के लिए निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जहां ऑपरेशन करके उसके पेट से गोली निकाल दी गई है। लेकिन अभी भी उसकी हालात गंभीर बनी हुई है। पुलिस प्रवक्ता यशपाल ने बताया कि शिकायत पर पुलिस ने जीजा सहित 6 नामजद व अन्य के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस की अलग-अलग टीमें आरोपियों की तलाश कर रही है।
हरियाणा के हिसार जिले की टीना शर्मा अब टीवी के चर्चित क्विज शो ‘कौन बनेगा करोड़पति’ (KBC) में नजर आने वाली हैं। वह शो के होस्ट अमिताभ बच्चन के सामने हॉट सीट पर बैठकर सवालों के जवाब देंगी। टीना का एपिसोड 21 अक्टूबर की रात 9 बजे प्रसारित होगा। टीना करीब एक हजार प्रतिभागियों में से चयनित हुई हैं। वह मूल रूप से हिसार के उकलाना मंडी की रहने वाली हैं। करीब तीन महीने पहले उनकी शादी पंजाब के कपूरथला निवासी गौरव शर्मा से हुई थी। शादी के बाद वह अपने पति के साथ दिल्ली में रह रही हैं। गौरव एक आईटी कंपनी के मालिक हैं। टीना के परिवार के साथ 2 PHOTOS... पति ने बताई सिलेक्शन की कहानी टीना शर्मा बोलीं- कौन बनेगा करोड़पति में खेलना सपना थावहीं, टीना शर्मा ने बताया कि उनका सपना था कि वह कभी “कौन बनेगा करोड़पति” के मंच पर पहुंचें और महानायक अमिताभ बच्चन से आमने-सामने बैठकर बातचीत करें। वह बचपन से ही KBC देखती थीं। इसलिए, उन्होंने शो में जाने का मन बनाया। टीना का कहना है कि उन्होंने शो में जाने के लिए पहली बार ऑनलाइन अप्लाई किया था और पहली ही बार में उन्हें हॉट शीट तक जाने का मौका मिल गया। हालांकि, टीना ने अभी यह नहीं बताया कि उन्होंने शो में कितनी रकम जीती? टीना की सफलता की खबर से उकलाना क्षेत्र में खुशी की लहर है। उनके परिजन और रिश्तेदार एपिसोड के रिलीज होने का इंतजार कर रहे हैं।
रोहतक के ब्लॉक सांपला में 19 अक्टूबर की देर रात को आपसी कहासुनी के दौरान एक व्यक्ति ने अपने चचेरे भाई की तेजधार हथियार से गला रेतकर हत्या कर दी। हत्या के बाद से आरोपी फरार है, जिसकी तलाश में पुलिस दबिश दे रही है। वहीं, मृतक का पोस्टमॉर्टम करवाकर पुलिस ने शव परिजनों को सौंप दिया। मृतक सांपला का रहने वाला 39 वर्षीय प्रदीप उर्फ बिट्टू था, जो रात को अपने ताऊ के लड़के पवन का फोन आने के बाद मिलने के लिए गया था। दोनों के बीच किस बात को लेकर कहासुनी हुई और झगड़ा इतना बढ़ गया कि पवन ने किसी तेजधार हथियार से प्रदीप की हत्या कर दी और मौके से फरार हो गया। मृतक प्रदीप के छोटे भाई संदीप को रात करीब साढे 9 बजे जेसीबी मशीन ड्राइवर अनीत उर्फ आदित्य का फोन आया, जिसके बाद प्रदीप पर हुए हमले का पता चला। इसके बाद परिजन प्रदीप को लेकर अस्पतालों के चक्कर काटते रहे, लेकिन आखिर में प्रदीप को डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। हत्या पर मृतक के छोटे भाई की 4 बातें.... SHO बोले- आरोपी की तलाश में दे रहे दबिशसांपला थाना SHO बिजेंद्र कुमार ने बताया कि रात को उन्हें एक व्यक्ति की हत्या होने की सूचना मिली थी। सूचना के बाद पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर जांच शुरू की। पुलिस ने शव का पोस्टमॉर्टम करवाकर परिजनों को सौंप दिया है। पुलिस आरोपी की तलाश में दबिश दे रही है। जल्द आरोपी को काबू करके मामले का खुलासा किया जाएगा।
हरियाणा में दिवाली की रात 4 जिलों में आग लगने की घटनाएं हुई। गुरुग्राम, हिसार, पानीपत और अंबाला में अलग-अलग जगहों पर भीषण आग लगी। हिसार में ई-स्कूटी शोरूम में आग लगने से 70 स्कूटी जल गई। वहीं पानीपत में जगदम्बा टेंट हाउस में रॉकेट से आग लगने की घटना सामने आई है। जबकि मंजी साहिब गुरुद्वारे के पास एक गोदाम में भीषण आग लग गई। दमकल विभाग की दर्जनों गाड़ियां मौके पर पहुंचकर आग पर काबू पाने में जुटी रहीं। गुरुग्राम में वेयरहाउस जलकर राखगुरुग्राम जिले के गांव जोड़ी में आतिशबाजी के कारण बाजरे की पुलियों में भीषण आग लग गई। बताया जा रहा है कि आठ एकड़ क्षेत्र में कटाई के बाद पुलियों को स्टोर किया गया था। देखते ही देखते आग तेजी से फैल गई। मानेसर के फायर ऑफिसर नरेंद्र ने बताया कि सवा 8 बजे आग लगने की कॉल मिली थी। सूचना मिलते ही टीमें मौके के लिए रवाना कर दी गईं। फिलहाल आग पर काबू पाने की कोशिशें जारी हैं। राठीवास गांव के एक वेयरहाउस में भी लगी आगगुरुग्राम शहर और मारुति मानेसर से भी अतिरिक्त फायर टीमें मौके पर भेजी गई हैं। वहीं, गुरुग्राम के राठीवास गांव के एक वेयरहाउस में भी भीषण आग लग गई। सेक्टर-29, भीम नगर और उद्योग विहार फायर स्टेशन से पांच गाड़ियां मौके पर भेजी गई हैं। हिसार में ई-स्कूटी शोरूम में लगी आगहिसार की ऑटो मार्केट में दुकान नंबर 305 में आग लग गई। यह दुकान ई-स्कूटी का शोरूम थी। बताया जा रहा है कि दुकान के अंदर दिए जलाकर कर्मचारी चले गए थे, जिसके चलते आग भड़क गई। दमकल विभाग की तीन गाड़ियां मौके पर पहुंचीं और आग पर काबू पाया। शोरूम के अंदर रखी करीब 70 स्कूटियां और 200 बैटरियों के सेट जलकर राख हो गए। पानीपत में टेंट हाउस और कूड़े के ढेर में आगपानीपत के विराट नगर स्थित जगदम्बा टेंट हाउस में रॉकेट से आग लगने की घटना सामने आई है। वहीं, शहर की ज्योति कॉलोनी में दीवाली पर पटाखे चलाते समय कूड़े के ढेर में आग लग गई। सूचना मिलने पर फायर ब्रिगेड की गाड़ियां मौके पर पहुंचीं और आग पर काबू पाया गया। अंबाला में गुरुद्वारे के पास गोदाम में आगअंबाला के मंजी साहिब गुरुद्वारे के पास एक गोदाम में भीषण आग लग गई। हालांकि अभी तक आग के कारणों का पता नहीं चल सका है और यह भी स्पष्ट नहीं हो पाया है कि गोदाम किसका है। दमकल विभाग की टीम आग बुझाने में जुटी हुई है। राहत और बचाव कार्य जारीचारों जिलों में फायर विभाग की टीमें लगातार राहत और बचाव कार्य में जुटी हैं। दीपावली की रात में इस तरह की आगजनी की घटनाओं से प्रशासन ने नागरिकों से सावधानी बरतने की अपील की है।
प्रदेश की आर्थिक राजधानी इंदौर स्वच्छता में आठ बार नंबर वन आ चुकी है। शहर की स्वच्छता के पीछे सफाईमित्रों की अहम भूमिका है। ऐसे ही एक महिला सफाईमित्र के घर दीपावली पर महापौर पुष्यमित्र भार्गव पत्नी के साथ पहुंच गए। महापौर को घर आने पर परिवार के लोग भी आश्चर्यचकित हो गए। उन्हें विश्वास नहीं हो रहा था कि महापौर उनके घर आए हैं। दरअसल, दीपोत्सव के अवसर पर जहां एक ओर पूरा शहर दीपों की जगमगाहट से रोशन हैं, वहीं कुछ घर ऐसे भी रहे, जहां महापौर की उपस्थिति ने दीपोत्सव की खुशी को ओर बढ़ा दिया। परंपरागत रूप से हर साल की तरह इस साल भी महापौर सफाई मित्रों के घर पहुंचे और उनके काम की सराहना की, उनका उत्साहवर्धन किया और उन्हें दीपावली पर्व की शुभकामनाएं दी। इस दौरान उनकी पत्नी भी उनके साथ में मौजूद रही। पिछले 24 वर्षों से शहर की स्वच्छता में सेवा दे रही सफाई मित्र सरिता सजन वैद के घर दोनों पहुंचे और उनके अथक परिश्रम के लिए सम्मान व्यक्त किया। इस मौके पर महापौर ने कहा कि सफाई मित्र ही वे सच्चे कर्मवीर हैं जिनकी बदौलत इंदौर लगातार स्वच्छता में देश में नंबर वन बना हुआ है। दीपावली जैसे पर्व पर उनके घर जाकर शुभकामनाएं देना समाज के प्रति उनके अमूल्य योगदान को सम्मान देने का एक प्रयास है।
दीपावली के पर्व पर इंदौर कलेक्टर शिवम वर्मा की अनूठी पहल देखने को मिली। वे राजकीय बाल संरक्षण आश्रम पहुंचे और बच्चों के साथ दीपावली का पर्व मनाया। इसके बाद वे अचानक ही कलेक्टर ऑफिस भी पहुंचे, जहां ड्यूटी पर तैनात सुरक्षाकर्मियों और कर्मचारियों के साथ भी खुशियां बांटी। दीपावली का पर्व रोशनी, उम्मीद और आपसी अपनत्व का प्रतीक है। इस भावना का साकार करते हुए कलेक्टर शिवम वर्मा ने दीपावली का पर्व विशेष रूप से मनाया। सोमवार को वे राजकीय बाल संरक्षण आश्रम पहुंचे। जहां उन्होंने बच्चों से मुलाकात की, साथ में दीपक जलाए, पटाखे फोड़े, मिठाई बांटी और बच्चों को गिफ्ट भी दिए। खुशी और उत्साह से पूरा माहौल उल्लासमय हो गया। कलेक्टर ने कहा कि राजकीय बाल संरक्षण आश्रम में बच्चों के संग दीपावली मनाकर एक अलग तरह की खुशी और आनंद की अनुभूति हुई। मासूम चेहरों पर मुस्कान देखकर मन गदगद हो गया। इस दौरान कलेक्टर के साथ नगर निगम आयुक्त दिलीप कुमार यादव और कई अधिकारी-कर्मचारी भी शामिल थे। कर्मचारियों के साथ भी बांटी खुशियां बच्चों के साथ दीपावली का पर्व मनाने के बाद वे अचानक कलेक्टर ऑफिस भी पहुंचे, जहां उन्होंने ड्यूटी पर तैनात सुरक्षाकर्मियों और अन्य कर्मचारियों के साथ दीपावली पर्व की खुशियां बांटी। उन्होंने कर्मचारियों को मिठाई बांटी और उन्हें पर्व की शुभकामनाएं दी।
रिश्वत केस में पंजाब के DIG हरचरण सिंह भुल्लर के साथ उनके बिचौलिए कृष्नु शारदा को भी CBI ने गिरफ्तार किया है। दोनों को 31 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। कृष्नु हॉकी का नेशनल स्तर का खिलाड़ी रहा है। करीब 3 साल पहले हॉकी छोड़कर पुलिस अफसरों के लिए काम करना शुरू किया था। काम जैसा भी हो, उसके बाएं हाथ का खेल था। फिर भले FIR में नाम डलवाना या निकलवाना हो या जांच को प्रभावित करना हो, वह तरह की सेंटिंग करवा पाने का दावा करता था। उसके सोशल मीडिया अकाउंट्स पर कई बड़े अफसरों के साथ नेताओं के साथ भी फोटो हैं। जानकारी के मुताबिक कांग्रेस नेता नवजोत सिद्धू के साथ भी कृष्नु काम कर चुका है। उनके साथ कृष्नु ने फोटो भी शेयर किए हैं। 16 अक्टूबर को उसे स्क्रैप कारोबारी से 8 लाख रुपए रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया था। CBI उसे कभी भी दोबारा रिमांड पर लाकर पूछताछ कर सकती है। उससे पूछताछ के बाद कई और खुलासे होने की उम्मीद है। अब विस्तार से पढ़िए कौन है कृष्नु... कृष्नु की गिरफ्तार के बाद परिवार गायब CBI ने जब से कृष्नु को गिरफ्तार किया है, तब से परिवार के सदस्य गायब हैं। उसके घर पर ताला लटक रहा है। उसके बारे में इलाके के लोग ज्यादा बात करने को तैयार नहीं हैं। उन्होंने बस इतना कहा कि पिछले 2 साल में उसका रुतबा काफी बड़ा था। वह पुलिस विभाग में हर तरह के काम करवा देने की बात कहता था। कई काम उसकी तरफ से करवाए भी गए थे। कृष्नु ने DIG भुल्लर को कारोबारी के बारे में जानकारी दी थीCBI को शिकायत देने वाले फतेहगढ़ साहिब के मंडी गोबिंदगढ़ के आकाश बत्ता बताते हैं कि वह कृष्नु को पहले से जानते थे। कृष्नु को उनके खिलाफ सरहिंद पुलिस स्टेशन में दर्ज एफआईआर के बारे में पता था। उसने ही DIG हरचरण सिंह को उसके बारे में जानकारी दी थी। आकाश ने बताया कि उसने ही हरचरण सिंह भुल्लर से उनकी बात भी करवाई थी। उन्होंने बताया कि कई ऐसे लोग उनसे संपर्क कर रहे हैं, जिनका वह शिकार रहे हैं।
पंजाब के लुधियाना में मां-बाप ने बच्ची को सड़क पर लावारिस हाल में छोड़ा और भाग गए। लोगों को बच्ची मिली, कोई वारिस नहीं आया तो प्रशासन ने उसे लुधियाना के दोराहा स्थित हेवनली पैलेस में भेज दिया। 6 महीने की मासूम बच्ची वहां पर रोती रही और फिर उसे पता लग गया कि अब यही उसका ठिकाना है। बच्ची की किस्मत ऐसी निकली कि 1 साल बाद उसे अडॉप्ट करने अमेरिका का दंपती पहुंच गया। सारी लीगल फॉर्मेलिटीज पूरी करके अमेरिका का दंपती उसे हेवनली पैलेस से अमेरिका ले गया। बच्ची वहां पर पल-बढ़ रही है। जिला प्रशासन लगातार बच्ची के पालन पोषण का फीडबैक लगातार अमेरिकन एंबेसी के जरिए लेता है। CARA के जरिए किया अडॉप्टअमेरिका के दंपती के तीन बेटे हैं और वो बेटी चाहते थे। उन्होंने भारत सरकार की सेंट्रल अडॉप्शन रिसोर्स अथॉरिटी (CARA) की वेबसाइट के जरिए गर्ल चाइल्ड के लिए अप्लाई किया। CARA ने उन्हें लुधियाना के हेवनली पैलेस में पल रही डेढ़ साल बच्ची को देने की पेशकश की। अमेरिका का दंपती लुधियाना आया और उन्होंने बच्ची को देखा और अथॉरिटी के जरिए उसे अडॉप्ट कर दिया। नवंबर 2023 में मिली थी बच्ची, जून 2025 में विदेश पहुंच गई बच्ची लुधियाना प्रशासन की तरफ से बनाई गई बाल भलाई कमेटी को नवंबर 2023 में मिली थी। बच्ची का मेडिकल करवाने के बाद उसे हेवनली पैलेस प्रबंधन के हवाले कर दिया। एक साल सात महीने बच्ची हेवनली पैलेस में पली बढ़ी और जून 2025 में वो अमेरिका पहुंच गई। चार घरों को लक्ष्मी सौंप चुका है हेवनली पैलेसलुधियाना का हेवनली पैलेस 2023 से अब तक चार घरों को लक्ष्मी (बेटियों) सौंप चुका है। यहां से बेटियां ले जाने वालों में अमेरिका के दंपती के अलावा पश्चिम बंगाल, अमृतसर और होशियारपुर के 3 परिवार भी शामिल हैं। प्रशासन इन सभी बच्चियों के पालन- पोषण पर लगातार नजर रख रहा है। चार और नवजात बच्चियां पल रहीं हेवनली पैलेस में चार नवजात बच्चियां और पल रही हैं। ये सभी बच्चियां लुधियाना जिला बाल भलाई कमेटी के जरिए यहां पहुंची हैं। इन बच्चियों को भी अब किसी के घर की लक्ष्मी बनने का इंतजार है। इन सभी बच्चियों की उम्र छह माह के आसपास है। गवर्नर ने भी बच्चियों को गोद में उठाया थाकुछ दिन पहले पंजाब के गवर्नर गुलाब चंद कटारिया ने हेवनली पैलेस का दौरा किया तो उस समय उन्होंने इन बच्चियों को गोद में रखा था। बच्चियां गवर्नर की गोद में आने पर खुश हुईं तो वो भावुक हो गए थे और उन्होंने कहा था कि इन बच्चियों की किस्मत किसी अच्छी जगह पर पहुंचने की है। इसलिए इनके मां बाप ने इन्हें छोड़ा है। हर साल नवरात्र में कन्या पूजन समारोह होता हैहेवनली पैलेस के संस्थापक अनिल के मोंगा अमेरिका में रहते हैं और वो हर साल अप्रैल व अक्टूबर में आने वाले नवरात्रों में लुधियाना आते हैं और 9-9 दिन तक हेवनली पैलेस में दुर्गा पूजन करवाते हैं। इस दौरान यहां पल रही कन्याओं का पूजन करते हैं। अनिल के. मोंगा का कहना है कि उनका मकसद उन बच्चों को एक अच्छी जिंदगी देना है जिन्हें उनके मां-बाप त्याग देते हैं। 134 बच्चे पल रहे हैं यहांहेवनली पैलेस में इस समय 134 बच्चे हैं। यहां रहने वाले बच्चों की शिक्षा, स्वास्थ्य व अन्य सुविधाओं की विशेष व्यवस्था की गई है। इस साल दो बच्चों को पंजाबी यूनिवर्सिटी पटियाला में दाखिला मिला है। दोनों बीकॉम कर रहे हैं और उन्हें स्कॉलरशिप के आधार पर दाखिला मिला है।
चंडीगढ़ में दीपावली (सोमवार) की सुबह एक महिला की हत्या कर दी गई। आरोप है कि उसके बेटे ने ही चाकू से गला काट कर हत्या की। पड़ोसियों को घर से महिला के चिल्लाने की आवाज सुनाई दी। पड़ोसी मौके पर पहुंचे तो दरवाजा अंदर से बंद था। लोगों ने दरवाजा खुलवाने की कोशिश की, लेकिन किसी ने गेट नहीं खोला। इसके बाद लोग छत से होकर घर में पहुंचे तो देखा कि वहां महिला का खून से लथपथ शव पड़ा था और आरोपी बेटा वहां से फरार हो चुका था। इसके बाद लोगों ने मामले की जानकारी पुलिस को दी। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लिया। पुलिस के मुताबिक, आरोपी मानसिक तौर पर परेशान बताया गया है। पुलिस के पहुंचने से पहले ही वह फरार हो गया था, जिसे सोनीपत से गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने मौके से साक्ष्य जुटाए हैं। मृतका की पहचान सेक्टर-40 की निवासी सुशीला नेगी के रूप में हुई। वह मूल रूप से उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल के बरसो भटौली की रहने वाली थीं और कई साल से सेक्टर 40 में रह रही थीं। हत्या उसके छोटे बेटे रवि ने की है, जो पंजाब यूनिवर्सिटी का मुलाजिम है। आरोपी की पत्नी-बेटी अलग रहती हैं। छह माह पहले ही बेटा मां के पास रहने आया था। यहां सिलसिलेवार ढंग से जानिए पूरा मामला... चाकू साथ ले गया आरोपी, पुलिस टीमों ने मौके से जुटाए साक्ष्यचंडीगढ़ पुलिस की फॉरेंसिंक टीमों ने घटना स्थल के सैंपल लिए। आरोपी वारदात में प्रयोग किया गया चाकू भी अपने साथ ले गया। पुलिस ने इस मामले में टीमें गठित कर दी हैं। पुलिस का कहना है कि मृतका के बड़े बेटे और आरोपी रवि की पत्नी आदि से भी जानकारी ली जा रही है। अभी तक यह सामने नहीं आया है कि मां-बेटे में झगड़ा किस बात को लेकर हुआ। चंडीगढ़ से सेक्टर 39 प्रभारी राम दियाल के अनुसार आरोपी को हरियाणा के सोनीपत से गिरफ्तार कर लिया गया है। टीम उसे चंडीगढ़ ला रही है। इसके बाद उससे पूछताछ की जाएगी।
कौशाम्बी में दीपावली का पर्व धूमधाम और हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। जिले भर में करोड़ों रुपये के पटाखे फोड़े गए, जिससे आसमान रंगीन हो उठा। लोगों ने शुभ मुहूर्त में माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की पूजा-अर्चना कर सुख-समृद्धि की कामना की। दीपावली को अंधकार पर प्रकाश और बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक माना जाता है। हिंदू धर्म में इस पर्व का विशेष महत्व है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, इसी दिन भगवान श्री राम 14 वर्ष के वनवास के बाद अयोध्या लौटे थे, और पूरे नगर ने दीप जलाकर उनका स्वागत किया था। तभी से हर वर्ष इस दिन दीप जलाने और खुशियां मनाने की परंपरा चली आ रही है। इस अवसर पर लोगों ने अपने घरों की साफ-सफाई की, दीप जलाए और मिठाइयां बांटीं। माता लक्ष्मी और भगवान गणेश के साथ-साथ हनुमान जी की भी पूजा कर सुख-समृद्धि की प्रार्थना की गई। बड़े और बच्चों, सभी ने उत्साहपूर्वक आतिशबाजी की, जिसका सिलसिला देर रात तक जारी रहा। पूरे दिन सोशल मीडिया साइटों पर भी दीपावली की शुभकामनाओं और तस्वीरों को साझा करने का दौर चलता रहा।
लखनऊ में वकील के सिर में गोली मारी:हालत गंभीर, पटाखा जलाने को लेकर पड़ोसियों में विवाद हुआ था
लखनऊ के ठाकुरगंज इलाके में पटाखा जलाने से मना करने के विवाद में गोली चल गई, जिसमें एक युवक घायल हो गया। युवक का इलाज ट्रामा सेंटर में चल रहा है। पीड़ित के भाई ने ठाकुरगंज थाने में तहरीर दी है। जिसके आधार पर पुलिस मामले की जांच कर रही है। एकता नगर कैम्पवेल रोड ठाकुरगंज निवासी सुरेंद्र सिंह चौहान ने बताया कि सोमवार रात करीब 9.42 बजे मोहल्ले में सब लोग दीवाली के पटाखे जला रहे थे। जिसके चलते सुरेंद्र के घर में बंधी गाय भड़क रही थी। इस पर भाई एडवोकेट दीपेंद्र कुमार सिंह ने पटाखा थोड़ा दूर जलाने के लिए कहा। दीपेंद्र के सिर में गोली मार दी इस बात से नाराज होकर विकास सिंह और उसके पिता अमर सिंह झगड़ने लगे। इस दौरान अमर सिंह के कहने पर बेटे विकास ने दीपेंद्र के सिर में गोली मार दी। जिससे दीपेंद्र वहीं गिर गया। गोली दीपेंद्र के सिर से छूते हुए निकल गई। दीपेंद्र की चीख से वहां भीड़ जमा हो गई। घायल दीपेंद्र को इलाज के लिए ट्रॉमा सेंटर पहुंचाया गया। जहां उसका गंभीर हालत में इलाज चल रहा है। मामले में इंस्पेक्टर ठाकुरगंज कहना है कि पीड़ित पक्ष की तरफ से तहरीर मिली है। मामले की जांच की जा रही है।
प्रयागराज में दिव्यांगो संग मनाई दिवाली:दिवाली के अवसर पर मिलकर बांटीं खुशियां, साथ मनाया दीपोत्सव
प्रयागराज में अनाम स्नेह परिवार द्वारा दिव्यांगजनों के साथ मिलकर दीपदान कर दीपोत्सव का आयोजन किया गया। इस आयोजन का उद्देश्य दिव्यांग साथियों के जीवन में उजाला और खुशियाँ लाना रहा, जिन्हें समाज का प्रेरणास्रोत माना गया। इस अवसर पर अनाम स्नेह परिवार के संयोजक, समाजसेवी और शिक्षक नारायण यादव ने कहा, “प्रकाश का यह पर्व दिव्यांगजनों को समाज की मुख्यधारा से जोड़ने में एक अहम कड़ी साबित होगा।” उन्होंने यह भी कहा कि अनाम स्नेह परिवार समाज के हर वर्ग के साथ सहयोग और सम्मान की भावना से कार्य करता रहेगा। कार्यक्रम के दौरान दिव्यांगजनों को उपहार देकर उनका सम्मान किया गया। इस अवसर पर रविशंकर मिश्र, मधू यादव, अनुराधा, कुशल नाथ (अधिवक्ता), तरुण, सीमा, निशा गुप्ता, पदमा सहित कई गणमान्य लोग उपस्थित रहे।
वाराणसी में कबाड़ के प्लांट में भीषण आग:दमकल की 2 गाड़ियां मौके पर पहुंची, लाखों का माल जलकर राख हुआ
वाराणसी के भेलूपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत सुंदरपुर ब्रिज एंक्लेव कॉलोनी में उस समय अफरा-तफरी मच गई जब एक कबाड़ की दुकान में अचानक भीषण आग लग गई। यह दुकान प्रदीप कुमार पुत्र रामचंद्र की बताई जा रही है, जो वर्षों से क्षेत्र में कबाड़ का व्यवसाय कर रहे हैं। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, आग की लपटें इतनी तेजी से फैलीं कि कुछ ही मिनटों में कबाड़ के ढेर में रखा सारा सामान जलकर राख हो गया। आसपास के लोगों ने तुरंत ही आग बुझाने की कोशिशें शुरू कर दीं और अपनी-अपनी छतों से पानी डालकर आग पर काबू पाने का प्रयास करने लगे। घटना की सूचना मिलते ही दमकल विभाग को कॉल किया गया, लोगों ने बताया दमकल की पहली गाड़ी मौके पर पहुंची। थोड़ी ही देर में दूसरी दमकल भी पहुंची, जिसके बाद संयुक्त प्रयास से आग पर काबू पाने का प्रयास जारी है। फिलहाल आग लगने के कारणों का पता नहीं चल सका है। माना जा रहा है कि किसी पटाखे की चिंगारी पड़ने की वजह से यह घटना हुई। स्थानीय पार्षद मदनमोहन तिवारी ने बताया कालोनी में एक खाली प्लाट है उन्होंने अपने उसे खाली स्थान को कबाड़ वाले को दिया है। कबाड़ प्लांट में आग लगने से वह भयावक रूप धारण कर लिया है। उन्होंने बताया कि शुरू में ऐसा लगा कि अगल-बगल के मकान जल जाएंगे। मौके पर तत्काल फायर ब्रिगेड की दो गाड़ी पहुंची। उन्होंने बताया कि अभी आज को ठंडा करने में कुछ वक्त लगेगा। आग की वजह से कोई हताहत नहीं हुई।
पुलिस ने वृद्धाश्रम में मनाई दीपावली:बुजुर्गों को मिठाई-वस्त्र भेंट कर खुशियां बांटीं
दीपावली के शुभ अवसर पर जनपद पुलिस ने मानवता का संदेश दिया। अपर पुलिस अधीक्षक डॉ. संजय सिंह ने फतेहगढ़ स्थित मानसिक मंदित एवं नेत्रहीन दिव्यांगजनों हेतु विद्यालय/आश्रम गृह गढ़िया ढिलाबल पहुंचकर उन्हें शुभकामनाएं दीं। इसके बाद, उन्होंने सोमवार को वृद्धाश्रम पहुंचकर वहां रह रहे बुजुर्गों के साथ दीपावली की खुशियां साझा कीं। डॉ. सिंह ने वृद्धाश्रम के बुजुर्गों को मिठाई खिलाई, नए वस्त्र भेंट किए और उनके साथ समय बिताया। पुलिस अधिकारियों के इस संवेदनशील कदम से बुजुर्गों के चेहरों पर लंबे समय बाद मुस्कान देखने को मिली। उन्होंने भावुक होकर एएसपी को आशीर्वाद दिया और पुलिस द्वारा अपनेपन का एहसास दिलाने के लिए आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर सीओ सिटी ऐश्वर्या उपाध्याय और महिला थाना प्रभारी निरीक्षक रक्षा सिंह भी मौजूद रहीं। उन्होंने भी बुजुर्गों से आत्मीयता से बातचीत की और उनके स्वास्थ्य एवं जरूरतों की जानकारी ली। पुलिस अधिकारियों ने आश्रम में दीप जलाकर और मिठाइयां बांटकर दीपावली का उल्लास फैलाया। अपर पुलिस अधीक्षक डॉ. संजय सिंह ने कहा कि दीपावली केवल रोशनी का नहीं, बल्कि प्रेम, करुणा और संवेदना का त्योहार है। उन्होंने जोर दिया कि जिनके अपने नहीं हैं, उनके चेहरों पर मुस्कान लाना ही सच्ची दीपावली है। सीओ सिटी ऐश्वर्या उपाध्याय ने समाज के उस वर्ग के प्रति संवेदना व्यक्त की, जो अक्सर अकेलेपन से जूझता है। दीपों की रोशनी के बीच जब वृद्धाश्रम में स्नेह और सम्मान की किरण जली, तो वहां मौजूद हर किसी की आंखें नम हो गईं, पर दिल गर्व और खुशी से भर उठा।
बस्ती में दीपावली पर लक्ष्मी-गणेश पूजन:पूरा शहर दीपों से जगमगाया, बाजारों में रही रौनक
बस्ती में सोमवार शाम दीपावली का पर्व धूमधाम से मनाया गया। शुभ मुहूर्त में घरों में मां लक्ष्मी और भगवान गणेश की विधिवत पूजा-अर्चना की गई। शहर से लेकर गांवों तक दीपों की रोशनी से पूरा वातावरण जगमगा उठा।शहर के प्रमुख मंदिरों जैसे हनुमानगढ़ी, श्रीराम जानकी मंदिर, देवीपाटन और भैरो मंदिर में भक्तों की भीड़ देखी गई। शाम होते ही हर गली, मोहल्ला और चौराहा दीपों की सजावट से रोशन हो गया। लोगों ने घरों की चौखटों, छतों और आंगनों में मिट्टी के दिए जलाकर पारंपरिक रूप से मां लक्ष्मी का स्वागत किया। व्यापारियों ने भी अपने प्रतिष्ठानों में नए खाते-बही की पूजा कर समृद्धि की कामना की। दीपावली के अवसर पर बाजारों में भी विशेष रौनक रही। सोनारपट्टी, चौक बाजार, गांधी नगर और स्टेशन रोड जैसे इलाकों में खरीदारों की भारी भीड़ उमड़ी। मिठाई की दुकानों पर भी ग्राहकों का जमावड़ा लगा रहा। रात में आतिशबाजी से आसमान रंग-बिरंगा हो गया, जिसका बच्चों ने खूब आनंद लिया। नगर पालिका ने मुख्य मार्गों पर विशेष सजावट की व्यवस्था की थी। जगह-जगह बिजली की झालरें और रंग-बिरंगे दीयों से सजे प्रतिष्ठान लोगों के लिए आकर्षक का केंद्र रहे। सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस और फायर ब्रिगेड की टीमें भी पूरी तरह मुस्तैद रहीं।
संभल में पारिवारिक विवाद में लाठी-डंडे चले:आधा दर्जन लोग घायल, घटना का वीडियो सामने आया
संभल में पारिवारिक विवाद के चलते लाठी-डंडों से हुई मारपीट में आधा दर्जन से अधिक लोग घायल हो गए। घटना का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। सूचना मिलने पर डायल 112 पुलिस मौके पर पहुंची और घायलों को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया। उक्त घटना संभल जनपद की तहसील गुन्नौर के थाना जुनावई क्षेत्र के गांव गनपुरा की है। बताया जा रहा है कि हरिओम और कुंवरपाल के परिवारों के बीच सोमवार शाम करीब 4 बजे मजाक को लेकर विवाद शुरू हुआ, जो बाद में खूनी संघर्ष में बदल गया। घायलों का चल रहा इलाज घायल हरिओम ने बताया कि विवाद उनके चाचा के बेटों से हुआ था। उन्होंने आरोप लगाया कि दूसरे पक्ष के कुंवरपाल, जगदीश, रविशंकर, ओबेन्दर और बंटी सहित अन्य लोगों ने उनके ताऊ के घर पर हमला कर मारपीट की। इस दौरान उनकी तरफ से शंकरपाल, योगेश और धर्मपाल भी घायल हुए हैं।जुनावई थाना इंस्पेक्टर मेघपाल सिंह ने घटना की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि पुलिस को मामले की जानकारी मिली है और जांच की जा रही है। फिलहाल, इस संबंध में कोई लिखित शिकायत प्राप्त नहीं हुई है।
सीतापुर में बस-बाइक टक्कर, एक युवक की मौत:दूसरा गंभीर घायल, जिला अस्पताल रेफर; चालक बस सहित फरार
सीतापुर के महोली कोतवाली क्षेत्र के बड़गांव मोड़ के पास सोमवार देर शाम एक दर्दनाक सड़क हादसा हो गया। एक तेज़ रफ्तार बस ने सामने से आ रही बाइक को ज़ोरदार टक्कर मार दी। हादसे में बाइक सवार एक युवक की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दूसरा युवक गंभीर रूप से घायल हो गया। जानकारी के अनुसार, मृतक की पहचान संतोष पुत्र केदारनाथ निवासी शिशिर नगर, महोली के रूप में हुई है। वहीं घायल युवक अंकित यादव पुत्र चिंटू निवासी शिशिर नगर, महोली बताया जा रहा है। टक्कर इतनी ज़बरदस्त थी कि बाइक पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई और दोनों युवक सड़क पर गिरकर बुरी तरह घायल हो गए। स्थानीय लोगों ने तत्काल पुलिस को सूचना दी। सूचना पाकर मौके पर पहुंची महोली थाना पुलिस ने दोनों को अस्पताल भेजा, जहां डॉक्टरों ने संतोष को मृत घोषित कर दिया। जबकि अंकित यादव को गंभीर हालत में ज़िला अस्पताल रेफर किया गया है। हादसे के बाद बस चालक वाहन सहित मौके से फरार हो गया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और बस की तलाश के लिए पुलिस हाइवे पर लगे सीसीटीवी फुटेज खंगाल रही है। स्थानीय लोगों का कहना है कि बड़ागांव गांव पुल के नीचे यह मोड़ काफी खतरनाक है, जहां पहले भी कई हादसे हो चुके हैं। लोगों ने प्रशासन से इस स्थान पर स्पीड ब्रेकर लगाने और यातायात व्यवस्था सुधारने की मांग की है। दिवाली के मौके पर युवक की मौत से परिवार में कोहराम मचा हुआ है।
चित्रकूट के रामघाट पर भव्य दीपदान:जिलाधिकारी, एसपी ने दी दीपावली की शुभकामनाएं
दीपावली के अवसर पर चित्रकूट के पवित्र रामघाट पर भव्य दीपदान कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस दौरान जिलाधिकारी शिवशरणप्पा जीएन, पुलिस अधीक्षक अरुण कुमार सिंह और जिलाधिकारी की धर्मपत्नी व चिकित्सा अधिकारी टी आर तनुषा ने मंदाकिनी नदी में विधिवत पूजा-अर्चना कर दीपदान किया। जिलाधिकारी शिवशरणप्पा जीएन ने उपस्थित श्रद्धालुओं और नागरिकों को दीपावली की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि दीपोत्सव का यह पर्व अंधकार पर प्रकाश और असत्य पर सत्य की विजय का प्रतीक है। उन्होंने सभी से स्वच्छता बनाए रखने, पर्यावरण की रक्षा करने और सौहार्दपूर्ण तरीके से पर्व मनाने की अपील की। दीपावली पर रामघाट का पूरा परिसर दीपों की जगमगाहट से अलौकिक प्रकाश से जगमगा उठा, जिससे अत्यंत मनमोहक दृश्य उत्पन्न हुआ। इसके बाद, जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक ने मेला क्षेत्र का भ्रमण कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया। उन्होंने ड्यूटी पर तैनात सुरक्षाकर्मियों को मुस्तैदी से कार्य करने और श्रद्धालुओं को कोई समस्या न होने देने के निर्देश दिए। तत्पश्चात, जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक और चिकित्सा अधिकारी टी आर तनुषा ने प्रांतीयकृत दीपावली अमावस्या मेला के अवसर पर बरहा के हनुमान जी परिक्रमा मार्ग पर प्रसाद वितरित किया। इस अवसर पर अपर उप जिलाधिकारी अजय यादव, उप जिलाधिकारी न्यायिक मानिकपुर पूजा गुप्ता और नगर पालिका परिषद कर्वी के लालजी यादव सहित अन्य अधिकारी भी उपस्थित रहे।
औरैया के दिबियापुर थाना क्षेत्र के रामगढ़ गांव में दीपावली की रात शॉर्ट सर्किट से आग लग गई। इस घटना में दो दुकानें जल गईं। ग्रामीणों ने कड़ी मशक्कत से आग पर काबू पाया, वहीं फायर ब्रिगेड के देर से पहुंचने पर उन्होंने नाराजगी व्यक्त की। यह घटना सोमवार रात करीब 10:30 बजे की है। रामगढ़ बाजार में विशाल गुप्ता की समोसे की दुकान में रखे फ्रिज में शॉर्ट सर्किट से आग लगी। आग तेजी से फैली और उसने बगल की दुकान को भी अपनी चपेट में ले लिया। आग लगने की सूचना तुरंत फायर ब्रिगेड को दी गई। हालांकि, दमकल वाहन के मौके पर पहुंचने में देरी हुई, जिससे ग्रामीणों में नाराजगी देखी गई। स्थानीय ग्रामीणों और बाजार के युवकों ने बाल्टी, ड्रम और मोटर पंप की मदद से आग बुझाने का प्रयास किया। करीब आधे घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका। पीड़ित दुकानदार विशाल गुप्ता ने बताया कि दीपावली की रात दुकान बंद करने की तैयारी चल रही थी, तभी फ्रिज से चिंगारी निकली और आग लग गई। कुछ ही मिनटों में दुकान का सारा सामान जल गया। भूपेंद्र गुप्ता ने जानकारी दी कि उनकी दुकान में रखे प्लास्टिक के सामान, खिलौने और गिफ्ट आइटम भी पूरी तरह जल गए। दोनों दुकानदारों ने प्रशासन से आर्थिक सहायता की मांग की है।
पटाखा फोड़ने पर विवाद, युवक की पीट-पीटकर हत्या:मऊ में लाठी-डंडे और फावड़े से मारा, एक अन्य घायल
मऊ के घोसी कोतवाली थाना क्षेत्र के कटिहारी गांव में दीपावली के दिन पटाखा फोड़ने को लेकर हुए विवाद में एक युवक की मौत हो गई और एक अन्य गंभीर रूप से घायल हो गया। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है। मृतक की पहचान अजय चौहान (19) पुत्र अरविंद चौहान, निवासी कटिहारी चौहान बस्ती के रूप में हुई है। घायल युवक राधेश्याम चौहान (19), पुत्र लालधर चौहान, अजय का चचेरा भाई बताया जा रहा है। जानकारी के अनुसार, दीपावली के दिन घर के सामने पटाखा फोड़ने को लेकर गांव के कुछ युवकों के साथ विवाद शुरू हुआ। यह विवाद जल्द ही मारपीट में बदल गया और इसमें लाठी-डंडों व फावड़े का इस्तेमाल किया गया। गंभीर रूप से घायल अजय को परिजनों ने 108 एम्बुलेंस की मदद से जिला अस्पताल पहुंचाया, जहां चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया। घटना की सूचना मिलते ही घोसी सर्कल के सीईओ जितेंद्र सिंह और अपर पुलिस अधीक्षक अनूप कुमार मौके पर पहुंचे। उन्होंने मौके का मुआयना किया और बताया कि मामले की गहन जांच की जा रही है। पुलिस आसपास लगे सीसीटीवी फुटेज और गवाहों के बयानों के आधार पर आरोपियों की तलाश कर रही है।
बदायूं में दिवाली पर शहर रोशनी से जगमगाया:लोगों ने लक्ष्मी-गणेश की पूजा कर जमकर आतिशबाजी की
बदायूं शहर में दिवाली का त्योहार धूमधाम से मनाया गया। दिवाली की रात पूरा शहर रोशनी से जगमगा उठा। आसमान में रंग-बिरंगी आतिशबाजी हुई और घरों व गलियों में दीयों की कतारें टिमटिमाती रहीं। शाम होते ही लोगों ने घरों में लक्ष्मी-गणेश की पूजा की और दीये-मोमबत्तियाँ जलाईं। इसके बाद आतिशबाजी का दौर शुरू हुआ। आसमान 'चमक रॉकेट' और 'तारों वाली अनार' से रोशन हो गया। बच्चों ने 'फूलझड़ी गोल्ड', 'चकरी क्वीन' और 'कलर बम' चलाए, वहीं 'नागिन बम' और 'गर्जन बॉम्ब' की आवाज़ों से शहर गूंज उठा। शहर के मुख्य बाजार, ककराला चौराहा, दातागंज रोड, बिसौली रोड, रेलवे स्टेशन रोड और सर्राफा बाजार रंगीन झालरों और दीयों से सजाए गए थे। महिलाओं ने घरों की चौखटों पर आकर्षक रंगोलियाँ बनाईं, जबकि बच्चों ने आतिशबाजी का खूब आनंद लिया। आतिशबाजी का यह सिलसिला देर रात तक जारी रहा। मिठाइयों की दुकानों पर भी दिनभर ग्राहकों की भीड़ लगी रही। 'मिल्क केक', 'घेवर' और 'लड्डू' जैसी मिठाइयाँ खूब बिकीं। नगर पालिका ने त्योहार के लिए सफाई और बिजली की व्यवस्था चाक-चौबंद रखी। पुलिस और प्रशासन ने भी शहरभर में गश्त कर शांतिपूर्ण माहौल सुनिश्चित किया।
दीपावली पर पूजा के दौरान बस में लगी आग:फतेहपुर में दो बसें जलकर हुईं खाक, दमकल ने पाया काबू
फतेहपुर में दीपावली पर्व पर बस की पूजा के दौरान आग लगने से दो बसें जलकर खाक हो गईं। यह घटना सदर कोतवाली क्षेत्र के गाजीपुर प्राइवेट बस स्टैंड पर हुई। सूचना मिलने पर दमकल की दो गाड़ियों ने मौके पर पहुंचकर करीब एक घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। इस घटना में लाखों रुपए का नुकसान होने का अनुमान है।जानकारी के अनुसार, दीपावली के अवसर पर बस मालिक अपनी बसों की पूजा कर रहे थे। इसी दौरान बस नंबर UP81BT6033 के मालिक राजेश अवस्थी और बस नंबर UP71AT3812 में भीषण आग लग गई। आग इतनी तेजी से फैली कि दोनों बसें पूरी तरह जलकर राख हो गईं। आग लगते ही मौके पर मौजूद अन्य बस मालिकों ने अपनी बसों को सुरक्षित स्थान पर हटाया। घटना की सूचना मिलते ही पुलिस और दमकल विभाग की टीम मौके पर पहुंची। आग लगने के समय आसपास के घरों के लोग बड़ी अनहोनी की आशंका से दहशत में आ गए थे। दमकल टीम के सदर प्रभारी दीपक कुमार ने बताया कि उन्हें रात करीब 8 बजे दो बसों में आग लगने की सूचना मिली थी। टीम में करन सिंह, नीरज कुशवाहा, संदीप यादव और विशंभर शामिल थे, जिन्होंने मिलकर आग बुझाई। आग लगने के कारणों की जांच की जा रही है।
जोधपुर में सोमवार देर रात चार अलग-अलग स्थानों पर भीषण आग से हड़कंप मच गया। भदवासिया फ्रूट मंडी, एयरफोर्स ऑफिसर्स मैस चौराहे पर महालक्ष्मी डेयरी और चौपासनी हाउसिंग बोर्ड सेक्टर 21 तथा चौहाबो थाने के बाहर आग की घटनाओं ने शहर में दहशत फैला दी। चीफ फायर ऑफिसर जयसिंह ने बताया कि दीपावली के मद्देनजर शहर में पहले से अलग-अलग स्थानों पर तैनात नगर निगम की दमकलों ने कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। गनीमत रही कि इन घटनाओं में कोई जनहानि नहीं हुई, लेकिन लाखों रुपए की संपत्ति जलकर खाक हो गई। भदवासिया फ्रूट मंडी में भीषण आग भदवासिया फ्रूट मंडी परिसर में स्थित फर्म विशनदास थावरदास की दुकान के सामने बारामदे में रखे फ्रूट कैरेट और बारदाना में अचानक आग लग गई। आग इतनी तेज़ थी कि देखते ही देखते आसपास के कई हिस्सों को अपनी चपेट में ले लिया। प्रारंभिक अनुमान के अनुसार, यह आग कचरे में मौजूद किसी बम, बारूद या रॉकेट जैसी चिंगारी से भड़की हो सकती है। संभवतया कहीं से आई पटाखे की चिंगारी से बारदाना ने आग पकड़ ली और आसपास रखे हजारों प्लास्टिक कैरेट भी आग में खाक हो गए। डेढ़-दो घंटे की मशक्कत के बाद काबू पाई आग आग की सूचना मिलने पर नागौरी गेट व मंडोर फायर स्टेशन से कई दमकलें मौके पर पहुंची। फायर ब्रिगेड के अधिकारियों ने तत्परता दिखाते हुए आग बुझाने का काम शुरू किया। वहीं, माता का थान, मंडोर और महामंदिर पुलिस की टीमों ने भीड़ को मौके से हटाया। स्थानीय लोगों का कहना है कि धमाके जैसी आवाज़ के बाद आग की लपटें उठीं, जिससे आसपास दहशत फैल गई। करीब डेढ़-दो घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका। एयरफोर्स मैस चौराहे पर पटाखों की दुकान में आग इसी तरह, देर रात एयरफोर्स ऑफिसर्स मैस चौराहा पर स्थित महालक्ष्मी डेयरी व पटाखे की दुकान पर रात करीब 10 बजे अचानक आग लग गई। जब तक कोई कुछ समझ पाता, तब तक पटाखे जलने लगे और स्थिति बेकाबू हो गई। यहां आसपास के लोगों ने आग बुझाने के प्रयास शुरू किए, लेकिन पटाखों में लगी आग फैलती चली गई। इसके बाद बासनी और शास्त्री नगर फायर स्टेशन से यहां पहुंची दमकलों ने आग बुझाने के प्रयास शुरू किए। चौहाबो सेक्टर 21 में सरस बूथ में सामान खाक चौपासनी हाउसिंग बोर्ड सेक्टर 21 स्थित सब्जी मंडी के पास लगे एक सरस बूथ में आग लग गई। इससे केबिन में रखा सामान, फ्रिज इत्यादि जलकर नष्ट हो गए। आग की सूचना के बाद यहां पहुंची दमकल टीम ने कुछ देर में आग पर काबू पा लिया। यहां भी आग लगने के कारणों का खुलासा नहीं हो पाया है। चौपासनी हाउसिंग बोर्ड थाने के बाहर जब्त ट्रक में आग आग की तीसरी घटना चौपासनी हाउसिंग बोर्ड थाने के बाहर काफी समय पहले जब्त किए गए पुराने ट्रक में पड़े कचरे में लगी। आग की लपटें उठती देख थाने का स्टाफ उधर दौड़ा और पानी डालकर समय रहते आग बुझा ली। तब तक फायर ब्रिगेड भी यहां पहुंच गई। इससे यहां बड़ा हादसा टल गया। पुलिस ने बताया कि यदि समय रहते आग पर काबू नहीं पाया जाता तो थाना परिसर में रखे अन्य वाहनों में भी आग फैल सकती थी। फायर विभाग ने शुरू की जांच फायर विभाग ने फ्रूट मंडी परिसर में घटना स्थल के आसपास के इलाके को सील कर जांच शुरू कर दी है। फिलहाल आग लगने के कारणों की जांच जारी है। प्रारंभिक जांच में भदवासिया फ्रूट मंडी में पटाखों की चिंगारी से आग भड़कने की आशंका जताई जा रही है। फायर विभाग के अधिकारियों ने कहा कि मंडी परिसर में भारी नुकसान की आशंका है। हजारों प्लास्टिक कैरेट और बारदाना जलकर खाक हो गए हैं। नुकसान का सही आकलन जांच के बाद ही हो सकेगा। अन्य व्यापारी भी घरों से निकल मंडी पहुंच रहे मंडी में आग की सूचना कुछ ही देर में पूरे शहर में फैल गई और फ्रूट मंडी के अन्य व्यापारी भी दीपावली का उत्सव भूलकर अपनी दुकानें संभालने के लिए दौड़ पड़े। इन व्यापारियों को आशंका है कि जिस ब्लॉक में आग लगी है, कहीं वहां से उठने वाली चिंगारियों की वजह से अन्य ब्लॉक की दुकानें भी चपेट में न आ जाए, क्योंकि लगभग पूरी मंडी में ही खुले बारामदों में प्लास्टिक के कैरेट रखे रहते हैं।
रायबरेली में दो बाइकों की टक्कर में युवक की मौत:शिवगढ़ में आमने-सामने की टक्कर, दूसरा घायल
रायबरेली के शिवगढ़ थाना क्षेत्र में सोमवार देर शाम दो बाइकों की आमने-सामने की भिड़ंत हो गई। इस हादसे में 18 वर्षीय युवक प्रवीण कुमार उर्फ नितिन की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दूसरा बाइक सवार घायल होकर फरार हो गया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। यह दुर्घटना महराजगंज-हैदरगढ़ हाईवे पर नेरथुवा मोड़ के पास हुई। मृतक प्रवीण कुमार उर्फ नितिन पूरे अवस्थी मजरे बसंतपुर सकतपुर गांव का निवासी था। उसे तत्काल शिवगढ़ के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) ले जाया गया, जहाँ डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। थाना प्रभारी विंध्य विनय ने बताया कि शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। आरोपी की बाइक कब्जे में ले ली गई है और तहरीर मिलने पर मुकदमा दर्ज कर आगे की कानूनी कार्रवाई की जाएगी। फरार हुआ दूसरा बाइक सवार नेरथुवा गांव का निवासी बताया जा रहा है। मृतक प्रवीण कुमार अपने चार भाई-बहनों में सबसे बड़ा था। वह दिल्ली में रहकर निजी नौकरी करता था और सोमवार सुबह ही दीपावली की छुट्टी पर अपने घर आया था।
बलरामपुर के राजपुर थाना क्षेत्र में दीपावली की रात एक घर से इन्वर्टर चोरी होने की घटना का खुलासा हुआ है। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर चोरी किया गया इन्वर्टर बरामद कर लिया है। राजपुर के खुटनपारा निवासी अमित पावले (27) ने थाना राजपुर में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि 19 अक्टूबर की रात करीब 9 बजे दीपावली पर पटाखे फोड़ने के बाद जब वह घर लौटे, तो उनका बजाज कंपनी का इन्वर्टर गायब था। इन्वर्टर की कीमत लगभग 6400 रुपए बताई गई है। रिपोर्ट दर्ज होने के बाद राजपुर पुलिस ने तत्काल कार्रवाई शुरू की। जांच के दौरान, ग्राम ऑकरा निवासी शिवभजन अगरिया उर्फ तूफ़ान (24) को संदेह के आधार पर हिरासत में लिया गया। पूछताछ के बाद आरोपी के कब्जे से चोरी हुआ इन्वर्टर बरामद कर लिया गया। पुलिस ने आरोपी शिवभजन अगरिया के खिलाफ अपराध क्रमांक 235/2025, धारा 305(क), 331(4) बीएनएस के तहत मामला दर्ज किया। उसे विधिवत गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर बलरामपुर न्यायालय भेज दिया गया है। थाना प्रभारी राजपुर ने नागरिकों से दीपावली जैसे त्योहारों के दौरान विशेष सतर्कता बरतने की अपील की है। उन्होंने कहा कि पुलिस जनता की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है और ऐसे मामलों में त्वरित कार्रवाई जारी रहेगी।
फर्रुखाबाद में दिवाली का पर्व धूमधाम से मनाया गया। घरों में लक्ष्मी पूजन के बाद दीपकों से सजावट की गई और लोगों ने देर रात तक आतिशबाजी का आनंद लिया। शहर रंग-बिरंगी झालरों से जगमग रहा।सोमवार शाम साढ़े छह बजे अंधेरा होते ही शहर रंग-बिरंगी झालरों से जगमग हो उठा। रात 8 बजे से घरों में लक्ष्मी और गणेश का पूजन किया गया। इसके बाद देसी घी के दीपक प्रज्ज्वलित कर घरों के अंदर रखे गए। पूजन के उपरांत घरों के बाहर, छतों और गांवों में चबूतरों पर दीपमालाएं सजाई गईं। इसके बाद आतिशबाजी का सिलसिला शुरू हुआ, जो देर रात तक चलता रहा। आसमान में रंग-बिरंगी आतिशबाजी का नजारा देखते ही बन रहा था। आतिशबाजी के बाद परिजनों ने एक साथ पकवानों का सेवन किया और अपने बुजुर्गों से आशीर्वाद लिया। इस दौरान लोग एक-दूसरे को दिवाली की बधाई देते भी नजर आए। दिवाली के अवसर पर शहर के भोलेपुर, बढ़पुर और घुमना मंडी में फूलों की खूब खरीदारी हुई। 11 रुपए से लेकर 100 रुपए तक की मालाएं बेची गईं। शाम तक फूलों की दुकानों पर भीड़ लगी रही, जहां लोगों ने घरों और पूजा स्थलों की सजावट के लिए फूल खरीदे। देखें तस्वीरें... खील के फुटकर विक्रेताओं ने सुबह 120 रुपए प्रति किलो के भाव से खील बेची। हालांकि, शाम होते-होते भीड़ कम होने और माल अधिक होने के कारण दाम गिरकर 70 रुपए प्रति किलो तक आ गए। विक्रेताओं ने बताया कि अंतिम दिन होने के कारण वे खरीद मूल्य निकालने की कोशिश कर रहे थे। दीपावली के त्योहार के लिए लोगों ने अपने घरों को झालर और झूमर से सजाया था। फर्रुखाबाद शहर के मुख्य बाजारों सहित देहात क्षेत्रों में भी दिवाली धूमधाम से मनाई गई।
देवरिया में पटाखा हादसों में डेढ़ दर्जन लोग झुलसे:सभी मेडिकल कॉलेज में भर्ती, तीन की हालत गंभीर
देवरिया में दीपावली की रात पटाखा जलाने के दौरान हुए हादसों में लगभग डेढ़ दर्जन लोग झुलस गए। इन सभी घायलों को इलाज के लिए महर्षि देवरहा बाबा मेडिकल कॉलेज, देवरिया में भर्ती कराया गया है।त्योहार की रात घायलों के अस्पताल पहुंचने से स्वास्थ्यकर्मी अलर्ट हो गए। डॉक्टरों और नर्सों ने तत्काल आपातकालीन वार्ड में अतिरिक्त बेड की व्यवस्था कर घायलों का प्राथमिक उपचार शुरू किया।ये हादसे दीपावली की रात जिले के विभिन्न क्षेत्रों जैसे देवरिया शहर, भटनी, गौरीबाजार, सलेमपुर, रुद्रपुर और बनकटा में हुए। कहीं पटाखा हाथ में फट गया, तो कहीं आतिशबाजी के दौरान कपड़ों में आग लग गई।झुलसने वालों में सातव, नितेश, राजेन्द्र यादव, सहबाज, राकेश कुमार, शम्झ, शकीर अली, शुभम, अश्वनी कुमार, दिलीप, शाहिल, युवराज, पूजा, पंकज यादव, रवि, श्रेयांश, सुंदरम और आठ वर्षीय सत्यम शामिल हैं। इनमें से कई लोगों के हाथ और चेहरे झुलस गए हैं।आठ वर्षीय सत्यम पटाखे से खेलते समय गंभीर रूप से झुलस गया। उसे पहले स्थानीय अस्पताल ले जाया गया, जहां से हालत नाजुक होने पर मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया। डॉक्टरों के अनुसार, उसके हाथ और पीठ पर गहरे घाव हैं। दीपावली की रात करीब 8 बजे से 11 बजे तक मेडिकल कॉलेज की आपातकालीन इकाई में घायलों का लगातार आना जारी रहा। ड्यूटी पर तैनात डॉक्टरों और नर्सों ने तीन टीमें बनाकर घायलों का इलाज किया।मेडिकल कॉलेज प्रशासन के अनुसार, सभी घायलों की स्थिति अब स्थिर है। अधिकांश को प्राथमिक उपचार के बाद घर भेज दिया गया है, जबकि गंभीर रूप से झुलसे तीन लोगों को बर्न वार्ड में रखा गया है।
राजनांदगांव के भरकापारा स्थित काली माई मंदिर में रविवार को काली चौदस का पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। इस अवसर पर मां काली युवा वाहिनी भरकापारा द्वारा एक भव्य चुनरी शोभायात्रा निकाली गई, जिसमें छत्तीसगढ़ के जसगीत सम्राट दुकालू यादव ने अपनी प्रस्तुति दी। आयोजन समिति के रघु शर्मा ने बताया कि यह भव्य चुनरी शोभायात्रा रविवार रात साढ़े सात बजे काली माई मंदिर, भरकापारा से शुरू हुई। यात्रा ने शहर के मुख्य मार्गों जैसे रामाधीन मार्ग, कामठी लाइन, गंज लाइन और मानव मंदिर चौक से होते हुए पूरे शहर का भ्रमण किया। इसका समापन पुनः काली माई मंदिर में हुआ। मंदिर में माता काली को 31 फीट की चुनरी भेंट की मंदिर में माता काली को 31 फीट की चुनरी भेंट की गई। कार्यक्रम के दौरान जस सम्राट दुकालू यादव के जसगीतों पर माता भक्त झूमते हुए दिखाई दिए। रोड शो के रूप में जसगीतों की यह प्रस्तुति शहर में पहली बार आयोजित की गई थी, जिससे जस प्रेमियों में काफी उत्साह देखा गया। इस अवसर पर मंदिर में अभिषेक पूजन और यज्ञ अनुष्ठान देर रात तक चला। शहर के कई गणमान्य नागरिकों ने इस अनुष्ठान में उपस्थित होकर भाग लिया।
कोरबा पुलिस अधिकारियों ने सर्वमंगला मंदिर स्थित वृद्धाश्रम में दीपावली मनाई। सीएसपी विमल पाठक, टीआई युवराज तिवारी और एएसआई विभव तिवारी ने वृद्धजनों को उपहार दिए, उनके साथ भोजन किया और पटाखे फोड़े। इस पहल से बुजुर्गों के चेहरों पर खुशी आई। पुलिस टीम के वृद्धाश्रम पहुंचने पर अधिकारियों ने बुजुर्गों से बातचीत की। उन्होंने दीपावली मनाने के उनके पुराने और वर्तमान अनुभवों पर चर्चा की, जिस दौरान बुजुर्गों ने अपने अनुभव साझा किए। पुलिस परिवार ने बुजुर्गों के साथ मिलकर भोजन किया। इसके बाद पटाखे फोड़े गए और उन्हें उपहार स्वरूप भेंट देकर उनका आशीर्वाद लिया गया। बुजुर्गों ने कहा – अब दुख नहीं, आश्रम में मिल रही है आत्मिक खुशी बुजुर्गों ने बताया कि जब कोई उन्हें याद करता है तो उन्हें खुशी और दुख दोनों महसूस होते हैं, लेकिन वे अब खुशी को स्वीकार कर अपना जीवन जी रहे हैं। उन्होंने कहा कि आश्रम में उनका जीवन यापन अच्छे से हो रहा है और समय-समय पर पुलिस परिवार के अलावा विभिन्न सामाजिक संगठन भी उनसे मिलने आते हैं, जिससे उन्हें आत्मिक खुशी मिलती है। चौकी प्रभारी बुजुर्गों के साथ मना रहे हर खुशी सर्वमंगला चौकी प्रभारी विभव तिवारी ने बताया कि चौकी प्रभारी बनने के बाद से वह बुजुर्गों के साथ हर खुशी मनाते हैं। उन्होंने कहा कि इससे पहले भी कई आयोजन किए जा चुके हैं, जिससे उनके बीच एक अच्छा वातावरण बनता है। आश्रम के केयरटेकर वीरू यादव ने जानकारी दी कि वर्तमान में आश्रम में 13 महिला और 13 पुरुष बुजुर्ग रहते हैं। उनका नियमित रूप से स्वास्थ्य परीक्षण भी कराया जाता है। वीरू यादव पिछले 23 सालों से बुजुर्गों की सेवा में लगे हुए हैं।
अयोध्या में बुजुर्ग के साथ मारपीट, चौकी में हंगामा:पुलिस ने बल का प्रयोग कर भीड़ को हटाया, जांच जारी
अयोध्या के तारुन थाना क्षेत्र में 80 वर्षीय बुजुर्ग रमई से मारपीट का मामला सामने आया है। शिकायत दर्ज कराने परिजन गयासपुर पुलिस चौकी पहुंचे, जहां चौकी के अंदर भी मारपीट की घटना हुई। इस घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। बुजुर्ग के बेटे विनोद कुमार ने बताया कि उनके पिता दुकान बंद कर साइकिल से घर लौट रहे थे। इसी दौरान महरई मोहम्मदपुर निवासी एक व्यक्ति की कार से उनकी साइकिल टकरा गई, जिससे वे गिर गए। कार चालक ने गाड़ी से उतरकर बुजुर्ग रमई से मारपीट शुरू कर दी। इस घटना की शिकायत करने के लिए विनोद कुमार और उनके भाई संजय गयासपुर पुलिस चौकी पहुंचे। आरोप है कि चौकी के अंदर ही उनके साथ फिर से मारपीट की गई। इस दौरान चौकी इंचार्ज विक्रम सिंह की भी झड़प हुई, जिसमें उनका नेमप्लेट और बैच टूट गया। हालांकि, दैनिक भास्कर वायरल वीडियो की पुष्टि नहीं करता है। मामला गंभीर होने पर चौकी पर भीड़ जमा हो गई, जिसे तितर-बितर करने के लिए पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा। अतिरिक्त पुलिस बल बुलाया गया और आरोपी को गाड़ी में बिठाकर थाने ले जाया गया। चौकी के अंदर हुई मारपीट का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल रहा है। इस संबंध में तारुन थाना अध्यक्ष से संपर्क करने का प्रयास किया गया, लेकिन उनका फोन नॉट रीचेबल रहा। व्हाट्सएप पर भी संदेश भेजने पर कोई जवाब नहीं मिला। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
बलौदाबाजार के गिधपुरी थाना क्षेत्र के ग्राम सुंदरावन में हॉर्न बजाकर साइड मांगने को लेकर हुए विवाद में एक कपड़ा व्यापारी और उसके रिश्तेदारों पर लाठी-डंडों, ईंट और मुक्कों से हमला किया गया। इस मामले में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए 12 घंटे के भीतर एक नाबालिग सहित चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। थाना गिधपुरी प्रभारी संदीप बंजारे ने बताया कि प्रार्थी कहर सिंह खूंटे (24 वर्ष), जो पलारी क्षेत्र का निवासी है और कपड़ा बेचने का काम करता है, 19 अक्टूबर की रात करीब 8 बजे सुंदरावन गांव से कपड़ा बेचकर लौट रहा था। गांव के मोड़ पर कुछ लोग रास्ते में खड़े थे। जब प्रार्थी ने साइड देने के लिए हॉर्न बजाया, तो आरोपियों ने आक्रोशित होकर अश्लील गाली-गलौज की, जान से मारने की धमकी दी और हाथ, मुक्का, ईंट व लाठी से हमला कर दिया। बीच-बचाव करने आए रिश्तेदारों को भी आरोपियों ने पीटा बीच-बचाव करने आए प्रार्थी के रिश्तेदारों को भी आरोपियों ने बुरी तरह पीटा, जिससे सभी को गंभीर चोटें आईं। घटना के बाद प्रार्थी की शिकायत पर थाना गिधपुरी में अपराध क्रमांक 137/2025, धारा 109, 296, 115(2), 3(5) बीएनएस के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू की गई। पुलिस अधीक्षक भावना गुप्ता के निर्देश पर थाना प्रभारी संदीप बंजारे और उनकी टीम ने तत्काल कार्रवाई की। घटना के 12 घंटे के भीतर सभी आरोपियों को हिरासत में ले लिया गया। पूछताछ में आरोपियों ने अपना अपराध स्वीकार कर लिया है। गिरफ्तार किए गए आरोपियों में ग्राम सुंदरावन निवासी योगेश पुरैना (30 वर्ष), रिकी उर्फ राकेश पुरैना (26 वर्ष), रामकिशुन डीडी (28 वर्ष) और एक अपचारी बालक शामिल हैं। सभी को 20 अक्टूबर 2025 को न्यायालय में पेश करने की प्रक्रिया जारी है।
देवरिया में दो युवकों की मौत:दीपावली से पहले दो गांवों में पसरा मातम, परिजनों में पसरा मातम
श्रीरामपुर थाना क्षेत्र में दीपावली से ठीक पहले हुए एक सड़क हादसे में दो युवकों की मौत हो गई। सोमवार शाम दो बाइकों की टक्कर में मिश्रौली कुर्मी टोला निवासी राजा गुप्ता (20) और रहीमपुर निवासी अभिषेक यादव (25) ने दम तोड़ दिया। इस घटना से दोनों गांवों में मातम छा गया और दीपावली का उत्साह फीका पड़ गया।जानकारी के अनुसार, यह घटना सोमवार शाम करीब 6 बजे हुई, जब लोग दीपावली की तैयारियों में जुटे थे। भवानी छापर-प्रतापपुर मार्ग पर श्रीरामपुर थाना और हरेराम चौराहा के बीच दो बाइकों की आमने-सामने टक्कर हो गई।हादसे में राजा गुप्ता, पुत्र अच्छेलाल गुप्ता, अपनी बाइक से कहीं जा रहे थे। वहीं, अभिषेक यादव, पुत्र दूधनाथ यादव, अपने चचेरे भाई विवेक यादव, पुत्र हंसनाथ यादव, के साथ दूसरी बाइक पर सवार थे। अभिषेक बाइक चला रहे थे। टक्कर में अभिषेक और राजा गंभीर रूप से घायल हो गए, जबकि विवेक यादव को मामूली चोटें आईं।घायलों को तत्काल पीएचसी भाटपार रानी ले जाया गया। वहां से उनकी गंभीर हालत को देखते हुए डॉक्टरों ने उन्हें मेडिकल कॉलेज देवरिया रेफर कर दिया। बताया गया कि देवरिया पहुंचने से पहले ही राजा गुप्ता ने दम तोड़ दिया। वहीं, अभिषेक यादव ने गोरखपुर में इलाज के दौरान अंतिम सांस ली।घटना की सूचना मिलते ही दोनों युवकों के परिवारों में शोक की लहर दौड़ गई। रहीमपुर के ग्राम प्रधान प्रतिनिधि घनश्याम गुप्ता और मिश्रौली के प्रधान प्रतिनिधि चंदन कुशवाहा ने इस घटना को अत्यंत दुखद बताया।
पीलीभीत। जिले के कल्याणपुर चक्रतीर्थ गांव में दीपावली के दिन एक विवाहिता ने कथित रूप से जहर खा लिया। उसे तुरंत अस्पताल ले जाया गया, लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। मृतका की पहचान ज्योति (23), पत्नी गणेश, निवासी कल्याणपुर चक्रतीर्थ के रूप में हुई है। जानकारी के अनुसार, ज्योति का विवाह लगभग पांच महीने पहले हुआ था। दीपावली के दिन अचानक उसकी तबीयत बिगड़ गई, जिसके बाद परिजन उसे अस्पताल ले गए। मायके पक्ष ने पति गणेश पर उत्पीड़न और दहेज की मांग का आरोप लगाया। मृतका के पिता ने कहा कि गणेश अक्सर पैसों की मांग को लेकर ज्योति को परेशान करता और शराब के नशे में मारपीट भी करता था। इससे ज्योति मानसिक रूप से परेशान रहती थी। वहीं, मृतका के पति गणेश ने आरोपों से इनकार किया। उन्होंने बताया कि ज्योति के पास से एक छोटा मोबाइल फोन मिला है, जो लोकेश कुमार ने दिया था। उनका कहना है कि संभवतः इसी कारण ज्योति ने यह कदम उठाया। थाना अध्यक्ष प्रदीप विश्नोई ने बताया कि शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। पुलिस दोनों पक्षों के बयानों के आधार पर मामले की जांच कर रही है।